चंडीगढ़ के SCERT में काउंसल सुरेंद्र पाल शर्मा बोले- एग्जाम के लिए मानसिक रूप से तैयार थे स्टूडेंट्स

कोरोना महामारी के बढ़ते मामलों के बाद सीबीएसई 10वीं बोर्ड परीक्षाओं को रद्द कर दी गई हैं। वहीं 12वीं बोर्ड परीक्षा को फिलहाल स्थागित किया गया है। परीक्षा रद होने पर चंडीगढ़ एससीईआरटी के काउंसलर सुरेंद्र पाल शर्मा बोले कि स्टूडेंट्स परीक्षा के लिए मानसिक रूप से तैयार थे।

By Edited By: Publish:Thu, 15 Apr 2021 07:18 AM (IST) Updated:Thu, 15 Apr 2021 12:27 PM (IST)
चंडीगढ़ के SCERT में काउंसल सुरेंद्र पाल शर्मा बोले- एग्जाम के लिए मानसिक रूप से तैयार थे स्टूडेंट्स
चंडीगढ़ के SCERT में काउंसल सुरेंद्र पाल शर्मा

चंडीगढ़, [डॉ. सुमित सिंह श्योराण]। कोरोना महामारी के बढ़ते मामलों के बाद सीबीएसई 10वीं बोर्ड परीक्षाओं को रद्द करने और 12वीं बोर्ड परीक्षा को फिलहाल स्थागित किया जाना मौजूदा स्थिति के हिसाब से लिया गया अच्छा फैसला है। यह फैसला सरकार ने स्टूडेंट्स की सेहत को देखते हुए लिया है, लेकिन इस फैसले से स्टूडेंट्स की पढ़ाई और भविष्य को लेकर तैयारी पर असर पड़ेगा। जैसा कि हमेशा कहा जाता है बेहतर रिजल्ट के लिए सेल्फ स्टडी सबसे अच्छी प्रैक्टि्स है, ऐसे में यह समय स्टूडेंट्स को खुद को मानसिक तौर पर मजबूत करने का है। कुछ इस तरह के विचार सेक्टर-32 स्थित स्टेट काउंसिल ऑफ एजुकेशनल रिसर्च एंड ट्रेनिंग (एससीईआरटी) में नियुक्त काउंसलर सुरेंद्र पाल शर्मा ने दैनिक जागरण के साथ साझा किए।

एससीईआरटी साल भर स्कूली बच्चों की करियर काउंसलिंग के लिए नार्थ रीजन में एकमात्र सरकारी इंस्टीट्यूट है। सीबीएसई बोर्ड परीक्षा को लेकर सरकार के फैसले को लेकर सुरेंद्र पाल शर्मा ने कहा की बीते साल भर से स्टूडेंट्स कोविड-19 के कारण घरों से ही पढ़ाई कर रहे हैं। स्टूडेंट्स ने भी बदले हुए माहौल में खुद को एडजेस्ट करना सीख लिया। परीक्षा के लिए भी लाखों स्टूडेंट्स इन दिनों पूरी तैयारी में जुटे थे।

शर्मा के अनुसार दसवीं की परीक्षा रद्द होने से स्टूडेंट्स को तो राहत मिलेगी, लेकिन स्टूडेंट्स अब इस ¨चता में रहेंगे कि उनका रिजल्ट किस तरह से तैयार होगा। शर्मा के अनुसार कई बार स्टूडेंट्स हाउस टेस्ट में बेहतर नहीं करते लेकिन वार्षिक परीक्षाओं में काफी बेहतर रिजल्ट देते हैं। ऐसे में सभी की निगाहें अब सीबीएसई के रिजल्ट को लेकर बनने वाले क्राइटेरिया पर होगी। स्टूडेंट्स का तनाव दूर करने में पेरेंट्स-टीचर्स की भूमिका अहम काउंसलर सुरेंद्र पाल का मानना है कि बीते साल भर में 12वीं के स्टूडेंट्स ने सारी पढ़ाई ऑनलाइन है। यह क्लास स्टूडेंट्स के करियर के हिसाब से बहुत महत्वपूर्ण हैं।

इंजीनियरिंग, मेडिकल से लेकर अन्य किसी भी फिल्ड में जाने के लिए 12वीं क्लास में बेहतर अंकों के साथ प्रतियोगी परीक्षाओं में भी बेहतर करने का दबाव रहता है। मार्च में होने वाली परीक्षाएं पहले ही तीन महीने देरी से हैं। बोर्ड परीक्षा के साथ प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी भी साथ करनी होती है। ऐसे में 12वीं के स्टूडेंट्स पर दोहरा दबाब रहता है। ऐसे समय में टीचर्स और पेरेंट्स की भूमिका बढ़ गई है, उन्हें स्टूडेंट्स के मेंटल स्ट्रेस को कम करने में मदद करना जरुरी है। केंद्र सरकार ने इंजीनिय¨रग में दाखिले के लिए होने वाले एंट्रेंस के लिए साल में चार मौके देकर स्टूडेंट्स के स्ट्रेस को काफी कम करने की कोशिश की है।

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