पीजीआइ में कैंसर के मरीजों को मिलेंगी बेहतर चिकित्सा सुविधां

कैंसर से ग्रस्त मरीजों को पीजीआइ में जल्द ही एक ही छत के नीचे बेहतर चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध होंगी। इस तरह अब कैंसर पीड़ितों को इलाज के लिए पीजीआइ के अलग-अलग विभागों में धक्के खाने की जरूरत नहीं पड़ेगी।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 24 Jun 2021 08:17 PM (IST) Updated:Thu, 24 Jun 2021 08:17 PM (IST)
पीजीआइ में कैंसर के मरीजों को मिलेंगी बेहतर चिकित्सा सुविधां
पीजीआइ में कैंसर के मरीजों को मिलेंगी बेहतर चिकित्सा सुविधां

विशाल पाठक, चंडीगढ़

कैंसर से ग्रस्त मरीजों को पीजीआइ में जल्द ही एक ही छत के नीचे बेहतर चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध होंगी। इस तरह अब कैंसर पीड़ितों को इलाज के लिए पीजीआइ के अलग-अलग विभागों में धक्के खाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। मंगलवार को नई दिल्ली में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर हर्षवर्धन के नेतृत्व में हुई पीजीआइ चंडीगढ़ गवर्निंग बॉडी की मीटिग में इस मुद्दे पर निर्णय लिया गया। इस दौरान कैंसर के मरीजों को राहत पहुंचाने के लिए अलग से ऑन्कोलॉजी डिपार्टमेंट बनाने की मंजूरी दी गई। अभी तक यह डिपार्टमेंट मेडिसिन विभाग के तहत आते थे।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने पीजीआइ की गवर्निंग बॉडी की मीटिग में जिन तीन नए विभागों के निर्माण की मंजूरी दी है, उनमें ऑन्कोलॉजी, सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी और हेमेटोलॉजी विभाग अलग से बनाए जाएंगे। अभी तक यह तीनों विभाग मेडिसिन विभाग के तहत आते थे। - 15 हजार के करीब कैंसर पीड़ित मरीजों का इलाज हर साल होता पीजीआइ में ऐसे मिलेगी कैंसर पीड़ितों को राहत

अलग से ऑन्कोलॉजी विभाग का निर्माण होने से एक ही छत के नीचे मेडिकल ऑन्कोलॉजी, रेडिएशन ऑन्कोलॉजी और सर्जिकल ऑन्कोलॉजी के स्पेशलिस्ट डॉक्टर पीड़ितों को इलाज मुहैया कराएंगे। कैंसर पीड़ित मरीजों को पहले रेडिएशन थेरेपी कीमोथेरेपी के अलावा अन्य कई जांच के लिए पीजीआइ के अलग-अलग विभागों में धक्के खाने पड़ते थे। चंडीगढ़ में बढ़ रहे कैंसर के मरीज

उत्तर भारत में दिल्ली के बाद चंडीगढ़ में सबसे ज्यादा कैंसर का खतरा दर्ज किया गया है। पीजीआइ चंडीगढ़ और टाटा मेमोरियल सेंटर की बीते वर्ष आई रिपोर्ट में यह तथ्य सामने आए थे। दिल्ली में एक लाख लोगों की आबादी पर 149 पुरुषों को कैंसर है। वहीं, चंडीगढ़ में एक लाख लोगों की आबादी पर 96 कैंसर के मरीज दर्ज किए गए। इसी तरह दिल्ली में एक लाख की आबादी पर 144 महिलाएं कैंसर की मरीज पाई गईं। जबकि चंडीगढ़ में एक लाख पर 102 महिलाएं कैंसर की मरीज हैं। एक लाख की आबादी पर 102 महिलाएं हैं कैंसर की मरीज

दिल्ली में एक लाख की आबादी पर 41 और चंडीगढ़ में 33 महिलाएं ब्रेस्ट कैंसर की मरीज हैं। पूरे देश में प्रोस्टेट कैंसर का सर्वाधिक खतरा दिल्ली और चंडीगढ़ में दर्ज किया गया है। दिल्ली में एक लाख पर 12 और चंडीगढ़ में 10 लोगों में प्रोस्टेट कैंसर दर्ज किया गया। शोध के मुताबिक महिलाओं में स्तन और गर्भाशय ग्रीवा कैंसर के अलावा पित्ताशय कैंसर का ग्राफ भी तेजी से बढ़ रहा है। चंडीगढ़ में एक लाख की आबादी पर 5.7 फीसद महिलाओं में, मोहाली एसएएस नगर में 4.8, संगरूर और मानसा में 3.2 फीसद महिलाओं में पित्ताशय कैंसर की मरीज पाई गई हैं।

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