AAP चंडीगढ़ का आरोप- नगर निगम में पादर्शिता नहीं, पेड पार्किंग पर पूछे सवालों का नहीं दिया जवाब

आम आदमी पार्टी के चुनाव प्रभारी चंद्रमुखी शर्मा नगर निगम पर कई तरह के आरोप लगाए हैं। उन्होंने निगम से पेड पार्किंग को लेकर कई सवाल पूछे थे जिनके जवाब न मिलने पर आप ने मेयर रविकांत शर्मा को घेरा है।

By Ankesh ThakurEdited By: Publish:Wed, 15 Sep 2021 10:21 AM (IST) Updated:Wed, 15 Sep 2021 10:21 AM (IST)
AAP चंडीगढ़ का आरोप- नगर निगम में पादर्शिता नहीं, पेड पार्किंग पर पूछे सवालों का नहीं दिया जवाब
चंद्रमुखी शर्मा का कहना है कि भाजपा पार्किंग माफिया का समर्थन कर रही है ।

जागरण संवाददाता, चंडीगढ़। नगर निगम में पादर्शिता की कमी है। यह आरोप आम आदमी पार्टी ने लगाया है। आप के चुनाव प्रभारी चंद्रमुखी शर्मा का कहना है कि उन्होंने नगर निगम से शहर की पेड पार्किंग को लेकर 23 सवाल सूचना के अधिकार के तहत पूछे थे, जिनमें से 20 सवालों के जवाब देने से नगर निगम ने इन्कार कर दिया है। शर्मा का कहना है कि क्या चंडीगढ़ के करदाता नागरिक जवाब के लायक भी नहीं हैं। निगम के  पास पेड पार्किंग, सीसीटीवी कैमरा इंस्टॉलेशन, ठेकेदार भुगतान और उपलब्ध पार्किंग स्लॉट के कई महत्वपूर्ण पहलुओं की जानकारी नहीं है। भाजपा के नेतृत्व वाली एमसी ने ठेकेदारों द्वारा किए गए समझौतों की प्रतियां देने से इन्कार कर दिया है।

शर्मा का कहना है कि भाजपा पार्किंग माफिया का समर्थन कर रही है और स्मार्ट पार्किंग के नाम पर जनता को परेशान कर रही है। उन्होंने आरोप लगाया है कि भाजपा द्वारा संगठित रैकेट होने के अलावा पेड पार्किंग में कुछ भी स्मार्ट नहीं है।उनका कहना है कि यह बिल्कुल स्पष्ट है कि एमसी जानबूझकर उनके सवालों के जवाब देने से टालमटोल कर रही है। शर्मा ने कहा कि चंडीगढ़ के भाजपा मेयर रविकांत शर्मा को नगर निगम की जवाबदेही सुनिश्चित नहीं करने की पूरी जिम्मेदारी लेनी चाहिए और तुरंत इस्तीफा देना चाहिए। शर्मा ने कहा कि एमसी ने खुलासा किया है कि वह 500 से लेकर दस हजार रुपये तक पार्किंग जुर्माना लगाते हैं। लेकिन नगर निगम ने जुर्माने की राशि का ब्यौरा देने से इन्कार कर दिया है। नगर निगम ने यह दावा करते हुए कहा कि जानकारी दर्जनों फाइलों में बिखरी हुई है। उन्हाेंने कहा कि इसके अतिरिक्त जिन सवालों का जवाब आया उसमे एमसी ने कहा है कि वह दोपहिया और चार पहिया वाहनों की संख्या पर बुनियादी डाटा भी नहीं रखता है, जिन्हें इसके भुगतान किए गए पार्किंग स्थलों के भीतर समायोजित किया जा सकता है।

एमसी ने यह भी दावा किया है कि उसके पास इस बारे में कोई जानकारी नहीं है कि उसके ठेकेदारसभी भुगतान किए गए पार्किंग स्थलों के बिजली कनेक्शन के लिए भुगतान कर रहे हैं या नहीं। एमसी ऐसी आवश्यक जानकारी देने से कैसे इन्कार कर सकती है। एमसी को अपने प्रत्यक्ष पर्यवेक्षण और अधिकार क्षेत्र के तहत उपलब्ध पेड पार्किंग स्लॉट की संख्या का अंदाजा कैसे नहीं हो सकता है। खासकर जब यह सीसीटीवी कैमरा प्रतिष्ठानों के आसपास महत्वपूर्ण और संवेदनशील प्रश्नों से संबंधित है। जिसका चंडीगढ़ के नागरिकों की सुरक्षा पर विशेष रूप से महिलाओं की सुरक्षा पर सीधा प्रभाव पड़ता है। पार्किंग शाखा ने यह कहते हुए कि यह मामला कार्यकारी अभियंता, रोड डिवीजन नंबर पर डाल दिया है। मालूम हो कि इस समय नगर निगम की ओर से पेड पार्किंगों को रोड डिवीजन के अंतर्गत कर दिया है। चंद्र मुखी शर्मा ने कहा कि आम आदमी पार्टी इस मुद्दे को आगे बढ़ाना जारी रखेगी और भाजपा के माफिया राज का पर्दाफाश करेगी जब तक कि जनहित में सारी जानकारी का खुलासा नहीं हो जाता।

chat bot
आपका साथी