लड़के की पिटाई करने वाले विधायक पर हो कड़ी कार्रवाई: सुखबीर
ुसुखबीर ने कहा कि नौजवानों को आश्वासन देता है कि उनके साथ अन्याय नहीं होने देगा।
जागरण संवाददाता रामपुरा फूल: शिरोमणी अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी से पूछा है कि वह पंजाबियों को बताएं कि अनुसूचित जाति के एक लड़के की सरेआम पिटाई के बाद उनकी सरकार नौजवानों को क्या संदेश देना चाहती है। लड़के ने सिर्फ भोआ के विधायक जोगिदरपाल से उनकी कारगुजारी के बारे में ही तो पूछा था। रामपुरा में पत्रकारों से बातचीत करते हुए सुखबीर ने कहा कि शिअद इस कायरतापूर्ण हमले की निदा करता है और नौजवानों को आश्वासन देता है कि उनके साथ अन्याय नहीं होने देगा।
सुखबीर ने कहा कि मुख्यमंत्री ने अब तक कांग्रेस विधायक के खिलाफ कोई कार्रवाई के आदेश नहीं दिए, जबकि उस पर आपराधिक मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार किया जाना चाहिए। साथ ही चन्नी ने दावा किया था कि सरकार के पास पर्याप्त धन है। यदि ऐसा है तो सरकार को पूर्ण कर्जा माफी, घर-घर नौकरी, नौजवानों को 2500 रुपये प्रति माह बेरोजगारी भत्ता, शगुन योजना के तहत 51 हजार रुपये भत्ता सहित लोगों से किए गए वादों को पूरा करना चाहिए। यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि ऐसा करने के बजाय चन्नी हर रोज फोटो खिचवाने में लिप्त रहते हैं। कहा, कैप्टन की तरह चन्नी ने भी किया पंजाबियों से विश्वासघात
मुख्यमंत्री से अंदरूनी तकरार में व्यस्त रहने के बजाय लोगों के लिए लड़ने की मांग करते हुए सुखबीर ने कहा कि चन्नी ने भी पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिदर सिंह की तरह पंजाबियों के साथ विश्वासघात किया है। कैप्टन अमरिदर ने केंद्र सरकार के साथ मिलीभगत की और तीनों कृषि कानूनों को तैयार करने में हिस्सा बने। वहीं अब चन्नी ने राज्य में केंद्रीय बलों के पुलिस नियंत्रण के विस्तार पर सहमति जताते हुए पंजाब के बाके हिस्से को केंद्र को सौंप दिया। इफ्को के पूर्व अध्यक्ष बलविंदर सिंह नकई के निधन पर जताया शोक
इससे पहले सुखबीर ने इफ्को के पूर्व अध्यक्ष बलविदर सिंह नकई के भोग में शामिल होकर नकई परिवार के साथ दुख व्यक्त किया और जगदीप नकई के साथ अपने पचास साल पुराने जुड़ाव को याद किया। उन्होने इफ्को में बलविदर सिंह नकई के नाम पर पंजाब में फर्टिलाइजर फैक्ट्री स्थापित करने का भी अनुरोध करते हुए कहा कि यह एक अदभूत व्यक्तित्व के लिए एक वास्तविक श्रद्धांजलि होगी। इस अवसर पर प्रो. प्रेम सिंह चंदूमाजरा, बिक्रम सिंह मजीठिया, सिकंदर सिंह मलूका, सरूप चंद सिगला, जगमीत सिंह बराड़ सहित अन्य नेता भी मौजूद थे।