खराब सड़कें, रांग पार्किग व ओवरलोडेड वाहन बन रहे जानलेवा

सड़कों पर होने वाले हादसों की गिनती हर रोज बढ़ रही है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 25 Nov 2020 08:00 PM (IST) Updated:Wed, 25 Nov 2020 08:00 PM (IST)
खराब सड़कें, रांग पार्किग व ओवरलोडेड वाहन बन रहे जानलेवा
खराब सड़कें, रांग पार्किग व ओवरलोडेड वाहन बन रहे जानलेवा

जागरण संवाददाता, बठिडा : सड़कों पर होने वाले हादसों की गिनती हर रोज बढ़ रही है। ओवरलोड वाहनों से लेकर वाहनों की फिटनेस, जुगाड़ू वाहन, खराब सड़कें, खराब ट्रैफिक सिग्नल, सड़कों पर गलत पार्किंग या नियमों का उल्लंघन भी सड़क हादसों का कारण बन जाते हैं। मगर इस सब के बाद भी प्रशासन या पुलिस की ओर से सड़क हादसों को रोकने में कोई गंभीरता नहीं दिखाई जाती। बेशक इस संबंध में समय-समय पर आदेश भी जारी किए जाते हैं, लेकिन उन पर कभी अमल होता दिखाई नहीं होता। नतीजा, लोग हादसे का शिकार हो जाते हैं।

यही कारण है कि शु्क्रवार को बठिडा-चंडीगढ़ रोड स्थित रामपुरा के पास सड़क पर खड़े ट्रक से एक कार के टकराने से तीन लोगों की मौत हो गई थी। जबकि सड़कों पर ट्रक खड़े न करने संबंधी प्रशासन की ओर से आदेश भी जारी किए गए हैं। दूसरी तरफ जागरूकता के अभाव में चंद रुपयों के रिफ्लेक्टर नहीं लगवाने वाले वाहन मालिक दूसरे वाहन चालकों की जान जोखिम में डाल रहे हैं। ज्यादातर सड़क हादसों का कारण धुंध में वाहनों पर रिफ्लेक्टर नहीं होना है। हाईवे पर अक्सर इन्हीं कारणों से दुर्घटनाएं होती हैं। दर्जनों वाहन चालकों की जान चली जाने के बाद भी प्रशासनिक अधिकारी इस पर गौर नहीं कर रहे।

सर्दी के दिनों में तो धुंध छाने के बाद वाहन चालकों को अधिक परेशानी होगी। मौसम विभाग ने अलर्ट किया है कि आने वाले कुछ दिनों में धुंध पड़नी शुरू हो जाएगी। इसके बाद ठंड भी बढ़ेगी। इसको देखते हुए इन दिनों में वाहनों पर रिफ्लेक्टर लगाना सबसे ज्यादा जरूरी है। लेकिन जिले के ट्रांसपोर्ट विभाग की ओर से हर साल की तरह इस बार भी जनवरी में ही ट्रैफिक सुरक्षा सप्ताह मनाया जाएगा। सड़क हादसों के कारण

- ओवरलोडेड वाहन :ओवरलोड वाहनों की बात की जाए तो बठिडा-चंडीगढ़, बठिडा-मानसा दो मुख्य सड़कों पर हर समय काफी गिनती में ओवरलोड वाहनों को चलते हुए देखा जा सकता है। जबकि भुच्चो लिक रोड पर कई शैलर होने के कारण सबसे ज्यादा ओवरलोडेड वाहन यहीं पर होते हैं। इनके कारण सड़कों की हालत भी खराब हो गई है।

- सड़क किनारे खड़े वाहन : जिले के हाईवे पर सड़क किनारे खड़े वाहन हादसे की मुख्य वजह बनते हैं। नेशनल हाईवे पर तेज गति से चलने योग्य बनाने का लाभ तो मिल रहा है। लेकिन जान का जोखिम भी बढ़ गया है। जिले से निकलती मुख्य सड़कों के दोनों ओर वाहन खड़े नजर आते हैं। तेल डिपुओं के कारण मानसा रोड पर ही ज्यादा वाहन खड़े किए जाते हैं।

- ट्रैफिक लाइट्स : शहर में ट्रैफिक को कंट्रोल करने के लिए जगह-जगह पर लाइट्स को भी लगाया गया है। लेकिन वह भी सही ढंग से काम नहीं करती। बेशक बठिडा के महेश्वरी चौक, हाजीरत्न चौक, बीबीवाला रोड पर ट्रैफिक लाइट्स को हाल ही में लगाया गया है। लेकिन वह अधिकांश समय बंद ही रहती हैं। यह भी हादसों का कारण बनते हैं।

- बेसहारा पशु: शहर में घूम रहे तीन हजार से ज्यादा बेसहारा पशु हादसों का कारण बन रहे हैं। पशुओं के कारण 10 से ज्यादा लोग 2020 के 11 महीनों में अपनी जान गंवा चुके हैं। शहर का कोई चौक चौराहा या सड़क ऐसी नहीं है, जहां पर इनको नहीं देखा जा सकता। लोगों को पशुओं से बचाने की जिम्मेवारी नगर निगम की होती है, जो पूरी नहीं हो रही।

- सड़कों पर जानलेवा गड्ढे : जिले में सड़कों की हालत ऐसी है कि यहां पर कभी सीवरेज का पानी जमा रहता है, तो कभी बारिश का। ऐसे में इन गड्ढों वाली सड़कों की हालत ऐसी बन चुकी है कि सावधानी हटी तो दुर्घटना घटी। हास्यास्पद तो यह कि यह न जिला प्रशासन को दिखाई दे रहा है नगर निगम को। करोड़ों खर्च कर बनाई सड़कों की दशा को देखने वाला कोई नहीं है।

- हाईवे की बंद लाइटें : सड़कों पर अंधेरा भी हादसों का बहुत बड़ा कारण है। सर्द मौसम में जहां कोहरा एक चुनौती है तो हाइवे पर लाइटों का होना इस वक्त सबसे बड़ी जरूरत समझी जा रही है। हाइवे पर लाइट न जलने से राहगीरों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। इस कारण राहगीरों को अंधेरे में गुजरना पड़ रहा है।

आसरा सोसायटी लगाती है रिफ्लेक्टर

धुंध में होने वाले हादसों को रोकने के लिए आसरा वेलफेयर सोसायटी की ओर से वाहनों पर रिफ्लेक्टर लगाने की मुहिम को हर साल शुरू किया जाता है। संस्था के संस्थापक रमेश मेहता ने बताया कि उनकी ओर से ट्रैफिक पुलिस के सहयोग से हादसों को रोकने के लिए समय-समय पर कई प्रकार के प्रयास किए जाते हैं, जिसको धुंध के सीजन में जारी रखा जाएगा। इसके लिए बठिडा के विभिन्न क्षेत्रों में छोटे-बड़े वाहनों पर रिफ्लेक्टर व रिफ्लेक्टर टेप लगाने की मुहिम की शुरुआत की जाएगी।

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