सेहत कर्मियों व पैरामेडिकल स्टाफ को आठ माह से नहीं मिला वेतन

सेहत विभाग के कर्मियों को पिछले आठ माह से वेतन नहीं मिला है

By JagranEdited By: Publish:Thu, 17 Jun 2021 10:23 PM (IST) Updated:Thu, 17 Jun 2021 10:23 PM (IST)
सेहत कर्मियों व पैरामेडिकल स्टाफ को आठ माह से नहीं मिला वेतन
सेहत कर्मियों व पैरामेडिकल स्टाफ को आठ माह से नहीं मिला वेतन

जासं,बठिडा: राज्य वित्त विभाग की तरफ से सेहत विभाग में काम कर रहे कर्मचारियों, पैरामेडिकल स्टाफ को छह माह पहले वेतन ड्रा करने संबंधी छूट प्रदान की गई थी। ऐसा फैसला सरकार ने कोरोना काल को देखते हुए लिया था। इसमें एक अप्रैल 2020 से 31 मार्च 2021 तक के बिल व बकाया शामिल किए गए थे। वर्तमान में उक्त फैसले को पुलिस समेत कई विभागों में प्राथमिकता के आधार पर लागू कर कर्मियों के वेतन जारी कर दिए गए थे, लेकिन कोरोना के खिलाफ सबसे बड़ी जंग लड़ने वाले सेहत विभाग के कर्मियों को इस आदेश के बाद भी पिछले आठ माह से वेतन नहीं मिला है, जिसके चलते उन्हें राशन तक के लिए मोहताज होना पड़ रहा है।

वित्त विभाग की तरफ से छह माह पहले 15 दिसंबर 2020 को पत्र जारी कर इसे लागू करने के आदेश दिए गए थे। यह पत्र पंजाब वित्त विभाग के बजट अफसर हरविदर सिंह की तरफ से पंजाब के अतिरिक्त मुख्य सचिव व सेहत परिवार भलाई विभाग को जारी किया गया था। सरकार ने इस बाबत विभिन्न विभागों की तरफ से जारी पत्रों के आधार पर इस नियम में छूट प्रदान करते हुए पिछले एक साल के बकाया वेतन व भत्तों को विशेष छूट के तहत जारी करने के लिए कहा था। वहीं स्पष्ट किया गया था कि इस आदेश में एक साल के बाद के बिलों व भत्तों को शामिल नहीं किया जा सकेगा। वर्तमान में इस आदेश के तहत कई विभागों ने अपने कर्मचारियों को भत्ते व वेतन जारी कर दिए, लेकिन सेहत विभाग में अभी भी समस्या पूर्व की तरह बरकरार है। बठिडा में करीब 100 पैरामेडिकल स्टाफ के अलावा सिविल अस्पताल में आइसोलेशन वार्ड, ओटी, लेबर रूम, टेस्टिग लैब, एक्सरे विभाग, सिविल सर्जन कार्यालय में तैनात करीब 50 से अधिक स्टाफ मेंबरों का वेतन जारी नहीं हो सका है। इसके पीछे तर्क दिया गया कि पैरा-मेडिकल स्टाफ नई नियुक्ति पर आया है। एक आदेश के कारण रुक गया वेतन

सिविल अस्पताल सहित पूरे जिला बठिडा में करीब 100 पैरा-मेडिकल स्टाफ की नई तैनाती हुई है, लेकिन वित्तीय विभाग के एक आदेश ने उनके ऊपर तलवार को लटका दिया है। वित्तीय विभाग के एक आदेश के अनुसार सेहत विभाग में जिस भी स्टाफ की अपने पद के बजाय डेपुटेशन के पद पर नियुक्ति हुई है, उनका वेतन रोक लिया जाए। ऐसे में पिछले करीब आठ माह से उनका वेतन रुका हुआ है जबकि उनकी ड्यूटी बेहद सख्त चल रही हैं। दोस्तों और रिश्तेदारों से उधार लेकर चला रहे परिवार वेतन न मिलने के कारण कोरोना जंग में आगे होकर काम कर रहे नए पैरामेडिकल स्टाफ आर्थिक तंगी से जूझ रहा है। कर्मचारियों का कहना है कि एक तरफ वे दिन-रात एक कर कोरोना महामारी की जंग में काम कर रहे हैं, वही उन्हें वेतन जारी नहीं किया जा रहा है। घर में राशन, बच्चों की फीसें व दूसरे खर्च पूरा करने के लिए उन्हें अपने दोस्तों व रिश्तेदारों से उधार लेना पड़ रहा है।

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