बठिंडा में आढ़ती एफसीआइ को नहीं बेचेंगे गेहूं, राज्य सरकार की एजेंसियां अलाट

केंद्र सरकार की ओर से किसानों के खातों में सीधी अदायगी करने और 30 करोड़ रुपये का बकाया जारी न करने के विरोध में कच्चा आढ़ती एसोसिएशन एफसीआइ को गेहूं नहीं बेचेगी।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 11 Apr 2021 10:03 PM (IST) Updated:Sun, 11 Apr 2021 10:03 PM (IST)
बठिंडा में आढ़ती एफसीआइ को नहीं बेचेंगे गेहूं, राज्य सरकार की एजेंसियां अलाट
बठिंडा में आढ़ती एफसीआइ को नहीं बेचेंगे गेहूं, राज्य सरकार की एजेंसियां अलाट

जागरण संवाददाता, बठिडा : केंद्र सरकार की ओर से किसानों के खातों में सीधी अदायगी करने और 30 करोड़ रुपये का बकाया जारी न करने के विरोध में कच्चा आढ़ती एसोसिएशन एफसीआइ को गेहूं नहीं बेचेगी। आढ़ती राज्य सरकार की चारों एजेंसियों को ही माल बेचेंगे। रविवार को आढ़ती एसोसिएशन, मार्केट कमेटी के अधिकारियों और खरीद एजेंसियों के इंस्पेक्टरों ने बैठक कर स्थानीय अनाज मंडी की दुकानों की अलाटमेंट की। मार्केट कमेटी बठिडा के अधीन मुख्य यार्ड बठिडा में आढ़तियों की कुल 86 दुकानें हैं। यह दुकानें चारों खरीद एजेंसियों को अलाट की गई हैं कि कौन-सी एजेंसी किन-किन दुकानों का माल खरीदेगी। बठिडा में जो एजेंसियां माल खरीदने जा रही हैं, उनमें मार्कफेड, वेयरहाउस, पनसप व पनग्रेन शामिल हैं।

कच्चा आढ़ती एसोसिएशन के प्रधान सतीश कुमार बब्बू ने बताया कि अनाज मंडी की दुकानें चारों एजेंसियों को अलाट की गई हैं। एफसीआइ को माल नहीं बेचा जा रहा है। एक तो एफसीआइ किसानों को सीधी अदायगी करने जा रही है, दूसरा इस एजेंसी की तरफ से राज्य के आढ़तियों का 30 करोड़ रुपये भी बकाया है। एफसीआइ पहले आढ़तियों के पिछले बकाए का भुगतान करे, उसके बाद ही कोई निर्णय लिया जाएगा।

रविवार को भी नहीं हुई खरीद, आज से होगी

आढ़ती एसोसिएशन पंजाब ने बीते शनिवार को शाम को हड़ताल वापस लेने के बाद रविवार को उन्होंने काम करना शुरू कर दिया है। मंडी में पहुंच रहे गेहूं को ढेर लगाकर उसकी सफाई करने का काम शुरू कया गया है। रविवार को मंडी में चारों ओर गेहूं के ढेर लगाने का काम तेजी से चलता हुआ दिखाई दिया। रविवार को भी खरीद शुरू नहीं हुई है। रविवार को केवल गेहूं की सफाई का काम ही शुरू हुआ है। दूसरे दिन भी बिक्री न होने से किसान परेशान

हालांकि खरीद शुरू न होने के कारण किसानों को परेशानी भी होने लगी है। गांव देयोण का किसान कुलवंत सिंह बराड़ बीती नौ अप्रैल को अपना गेहूं लेकर पहुंचा था। उसे उम्मीद थी शनिवार को सबसे पहले गेहूं बिक जाएगा। क्योंकि राज्य सरकार ने 10 अप्रैल से ही गेहूं की खरीद करने का एलान किया था। लेकिन आढ़तियों की हड़ताल के कारण न तो बीती 10 अप्रैल को गेहूं बिक पाया और न ही रविवार को बिका। कुलवंत सिंह ने कहा कि रात को मंडी में रहना बहुत मुश्किल है। मच्छर काटकर खा रहे हैं। इसके अलावा बेसहारा पशुओं के आने का भी भय बना रहता है कि कहीं फसल न खा जाएं।

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