गांवों में सरकार व खेती कानूनों के विरोध में फूंकेंगे पुतले
संयुक्त किसान मोर्चा की अगुआई में स्थानीय रेलवे स्टेशन पार्किंग में केंद्र सरकार के कृषि कानूनों को रद करवाने व एमएसपी की गारंटी देने वाला नया कानून बनाने की मांग को लेकर विभिन्न किसान संगठनों की अगुआई में जारी धरना शनिवार को 227वें दिन में प्रवेश कर गया।
संवाद सहयोगी, बरनाला
संयुक्त किसान मोर्चा की अगुआई में स्थानीय रेलवे स्टेशन पार्किंग में केंद्र सरकार के कृषि कानूनों को रद करवाने व एमएसपी की गारंटी देने वाला नया कानून बनाने की मांग को लेकर विभिन्न किसान संगठनों की अगुआई में जारी धरना शनिवार को 227वें दिन में प्रवेश कर गया।
इसी तरह बडबर व महल कलां टोल प्लाजा व भाजपा नेता यादविदर शैंटी के निवास स्थान के बाहर किसानों का धरना लगातार जारी है। शनिवार को शहीद भगत सिंह के साथ शहीद सुखदेव सिंह के जन्म दिवस, किसान नेता महिदर टिकैत को उसकी 10वीं बरसी व शहीद भगत सिंह के भतीजे अभय सिंह संधू की मौत पर दो मिनट का मौन धारण कर श्रद्धांजलि भेंट की गई। शहीद सुखदेव सिंह को भगत सिंह व राजगुरु के साथ ही 23 मार्च 1931 को फांसी देकर शहीद किया गया था। किसान नेता राकेश टिकैत के पिता महिदर टिकैत ने किसानों के लिए संघर्ष किया। अभय सिंह संधू शहीद भगत सिंह के भाई कुलबीर सिंह के बेटे थे, जिनका निधन हो गया है।
संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा 26 मई को ग्रामीण स्तर पर केंद्र सरकार व खेती कानूनों के विरोध में पुतले फूंक रोष प्रदर्शन किए जाएंगे व अपने घरों पर काले झंडे लगाकर तीनों खेती कानूनों के खिलाफ आवाज बुलंद की जाएगी।
धरने को संबोधित करते किसान नेता बलवंत सिंह उप्पली, करनैल सिंह गांधी, नारायण दत्त, मनजीत राज, गुरमेल शर्मा, पवित्र सिंह लाली, बाबू सिंह, चरणजीत कौर, लाल सिंह, हरचरण सिंह, बलजीत सिंह ने कहा कि किसानों द्वारा लंबे समय से संघर्ष को निचले स्तर पर मजबूत किया जा रहा है। किसानों की एकता ही इस लोक विरोधी नीति पर लगाम लगा सकती है। राजविदर सिंह मल्ली व धनौले के पाठक भाईयों के कविश्री जत्थे ने वारें सुनाई।