तीसरी लहर से पहले तैयारी: 152 बेड और 291 आक्सीजन कंसंट्रेटर तैयार
कोरोना महामारी की पहली लहर से ज्यादा दूसरी लहर खतरनाक साबित हुई।
नितिन धीमान, अमृतसर: कोरोना महामारी की पहली लहर से ज्यादा दूसरी लहर खतरनाक साबित हुई। अब तीसरी लहर के आने की संभावना व्यक्त की जा रही है। आशंका यह भी है कि तीसरी लहर में कोरोना वायरस पूर्व की दोनों लहरों से अधिक खतरनाक होगा। बच्चों पर संक्रमण का अधिक जोखिम होगा। पहली लहर में चिकित्सा जगत अनजान था, दूसरी लहर आने तक हम इस वायरस के खिलाफ वैक्सीन तैयार कर चुके थे। वहीं कई दवाओं के जरिए संक्रमितों का उपचार किया जाने लगा।
अब तीसरी लहर बच्चों को नुकसान न पहुंचाए, इसके लिए भी तैयारियां जोरों पर हैं। तीसरी लहर के आने का अंदेशा सितंबर-अक्टूबर में है। लिहाजा अमृतसर में पीडिएट्रिक वार्ड तैयार हैं। आक्सीजन कंसट्रेटर भी इंस्टाल किए जा चुके हैं। सिविल सर्जन डा. चरणजीत सिंह ने इंडियन मेडिकल एसोसिशन से संबंधित डाक्टरों से बैठक कर लेवल-टू व लेवल थ्री के बेड उपलब्ध करवाने को कहा है। जिले के निजी अस्पतालों में 57 बेड एल टू के व 25 बेड एल थ्री के आरक्षित किए गए हैं। इसके अतिरिक्त सरकारी मेडिकल कालेज गुरुनानक देव अस्पताल में 60 व सिविल अस्पताल में दस बेड तैयार हैं। दोनों सरकारी अस्पतालों के अतिरिक्त अजनाला, मानांवाला व बाबा बकाला में बेड तैयार हैं। वहीं 291 आक्सीजन कंसट्रेटर भी इंस्टाल किए गए हैं। तीसरी लहर पर नजर रखेगी कमेटी
बच्चों पर कोरोना के होने वाले संभावित हमले को मद्देनजर रखते हुए सिविल सर्जन डा चरणजीत सिंह ने कमेटी का गठन किया है। कमेटी में शिशु रोग विशेषज्ञ डा. अश्विनी सरीन, डा. सरताज, एनेस्थीसिया डाक्टर, डिप्टी मेडिकल कमिश्नर सहित पंजाब हेल्थ सिस्टम कारपोरेशन के अधिकारी को शामिल किया गया है। कमेटी की बैठक हर सप्ताह सिविल सर्जन कार्यालय में हो रही है। कमेटी सदस्य सिर्फ बच्चों की संक्रमण दर पर नजर रख रहे हैं। यदि इनके संक्रमण दर में वृद्धि होती है तो इसकी जानकारी तत्काल स्टेट को दी जाएगी। खतरा है, इसलिए बच्चों का रखें ख्याल
-मास्क और शारीरिक दूरी जरूर रखें।
-किसी भी गैरजरूरी वस्तु को न छूने दें
-बच्चे की पाकेट में सैनिटाइजर रखें।
-किसी का मोबाइल, पैन या कोई भी वस्तु उपयोग न करने दें।