पोस्ट कोविड सिम्टम्स का शिकार बन रहे कोरोना से रिकवर हुए मरीज
कोरोना वायरस में पूरी दुनिया को बेहद पीछे धकेल दिया है। पहली लहर से दूसरी लहर में पहुंचा यह वायरस बेशक धीरे-धीरे कमजोर पड़ रहा है लेकिन कोरोना की चपेट में आने के बाद स्वस्थ हुए लोग पोस्ट कोविड-19 सिम्टम्स का शिकार बन रहे हैं।
जागरण संवाददाता, अमृतसर : कोरोना वायरस में पूरी दुनिया को बेहद पीछे धकेल दिया है। पहली लहर से दूसरी लहर में पहुंचा यह वायरस बेशक धीरे-धीरे कमजोर पड़ रहा है लेकिन कोरोना की चपेट में आने के बाद स्वस्थ हुए लोग पोस्ट कोविड-19 सिम्टम्स का शिकार बन रहे हैं। कोविड-19 के कारण माइल्ड से सीवियर अवस्था में जाने वाले 70 प्रतिशत मरीजों में रिकवरी के एक महीने के भीतर विभिन्न लक्षण देखने को मिल रहे हैं। इन लक्षणों में सिरदर्द, थकान, खड़े होने पर चक्कर आना, सीने में दर्द, सांस फूलने की समस्या, खांसी, जोड़ों व मांसपेशियों में दर्द, चिता व अवसाद, बुखार, स्वाद लेने व सूंघने की क्षमता कम होना आदि हैं।
रंजीत एवेन्यू स्थित डॉक्टर मक्कड़ न्यूरो साइकेट्रिक सेंटर के संचालक व मनोचिकित्सक डा. हरजोत सिंह मक्कड़ का कहना है कि कोरोना की वजह से इंसान शारीरिक रूप से कई परेशानियों में घिर जाता है। कोरोना नेगेटिव होने के बाद उपरोक्त लक्षण दिखने लगते हैं। इसे पोस्ट कोविड सिम्टम्स कहा जाता है। मरीज गहरे तनाव का शिकार हो जाता है। कोविड से पीड़ित होने वालों में 30 फीसद लोगों में अवसाद या डिप्रेशन और 96 प्रतिशत में पोस्ट ट्रामेटिक स्ट्रेस डिसआर्डर जैसी समस्या देखी जा रही है, और ये समस्या बढ़ भी सकती है। यदि खड़े होने पर चक्कर आने लगे तो यह गंभीर हो सकता है। डा. मक्कड़ के अनुसार पोस्ट कोविड का तत्काल इलाज करवा लेना चाहिए। 1 सप्ताह से 10 दिनों के भीतर दवा का सेवन करने के पश्चात इंसान पूरी तरह स्वस्थ हो सकता है।