किसानी संघर्ष को समर्पित रहा राष्ट्रीय मां बोली दिवस
केंद्रीय पंजाबी लेखक सभा के आह्वान पर अमृतसर साहित्य चितन मंच ने राष्ट्रीय मां बोली दिवस पर किसानी संघर्ष को समर्पित कार्यक्रम करवाया गया।
जागरण संवाददाता, अमृतसर : केंद्रीय पंजाबी लेखक सभा के आह्वान पर अमृतसर साहित्य चितन मंच ने राष्ट्रीय मां बोली दिवस पर किसानी संघर्ष को समर्पित कार्यक्रम करवाया गया। कामरेड सोहन सिंह जोश लाइब्रेरी में आयोजित कार्यक्रम में केंद्रीय सभा के सचिव दीप दविदर सिंह सहित शायर मलविदर सिंह, डा. प्रभजोत कौर संधू. हरपाल सिंह नागरा, सर्बजीत संधू. डा. भूपिदर सिंह फेरुमान व डा. मोहन पहुंचे। उक्त लोगों ने संयुक्त रूप में कहा कि मातृ भाषा से रोजगार हासिल करने के लिए विशेष प्रयास करने होंगे, जोकि समय की मुख्य जरूरत है। डाक्टरी, कानून और तकनीकि शिक्षा की पढ़ाई के लिए पुस्तकों को पढ़ने के लिए सामग्री भी पंजाबी भाषा में उपलब्ध होनी चाहिए। स्कूलों और कालेजों सहित शैक्षणिक संस्थानों में पंजाबी के अध्यापक पक्के तौर पर भर्ती किए जाने चाहिए, ताकि मातृ भाषा में उच्च शिक्षा प्राप्त करने के बाद रोजगार आसानी से मिल सके।इस मौके पर राज पाल बाठ, सतिदर ओठी, सुरखाब ओठी, बलजिदर मांगट, चन अमरीक, जसवंत धाप, राजविदर राज, मनमोहन सिंह, तरमेस लाल बावा, बिक्रमजीत, हरजीत संधू आदि मौजूद थे। डा. हरविदर सिंह भल्ला ने संभाला प्रिसिपल का पदभार
डा. हरविदर सिंह भल्ला ने सरूप रानी सरकारी कन्या कालेज का बतौर प्रिसिपल का पद संभाल लिया है, जोकि पिछले दिनों सरकार ने उनकी नियुक्ति संबंधी आदेश जारी किए थे। कालेज के कार्यकारी प्रिसिपल के पद से प्रिसिपल बने डा. हरविदर सिंह भल्ला ने बताया कि वह इससे पहले वह राज्य के उच्च शिक्षा विभाग के डायरेक्टर के पद पर सेवा निभा चुके हैं। जबकि सरकारी कालेज अजनाला में भी वह बतौर कामर्स के प्रोफेसर के तौर पर रह चुके हैं। उन्होंने कहा कि सरकार ने उन्हें जो जिम्मेदारी सौंपी है, उसे वह तनदेही व ईमानदारी से निभाएंगे। कालेज की काउंसिल के सदस्यों सहित टीचिग व नान टीचिग स्टाफ ने उन्हें बधाई व शुभकामनाएं देकर सम्मानित किया। इस मौके पर प्रो. बलजीत कौर, प्रो. खुशपाल संधू, प्रो. परमिदर कौर, प्रो. कुसुम देवगन, प्रो. सुरिदर कौर व प्रो. जयदीप सिंह आदि मौजूद थे।