गन्ने का भुगतान शीघ्र न होने पर किसानों ने दी आंदोलन की चेतावनी

भारतीय किसान यूनियन (तोमर) ने किसानों के मुद्दों को लेकर सरकार को चेताया है। उन्होंने शीघ्र गन्ना भुगतान न किए जाने पर प्रदेश में आंदोलन की चेतावनी दी। शनिवार को यूनियन के पदाधिकारियों ने प्रेस कान्फ्रेंस का आयोजन किया।

By Sumit KumarEdited By: Publish:Sun, 11 Jul 2021 06:05 PM (IST) Updated:Sun, 11 Jul 2021 06:05 PM (IST)
गन्ने का भुगतान शीघ्र न होने पर किसानों ने दी आंदोलन की चेतावनी
किसानों ने शीघ्र गन्ना भुगतान न किए जाने पर प्रदेश में आंदोलन की चेतावनी दी।

जागरण संवाददाता, देहरादून: भारतीय किसान यूनियन (तोमर) ने किसानों के मुद्दों को लेकर सरकार को चेताया है। उन्होंने शीघ्र गन्ना भुगतान न किए जाने पर प्रदेश में आंदोलन की चेतावनी दी।

शनिवार को यूनियन के पदाधिकारियों ने प्रेस कान्फ्रेंस का आयोजन किया। प्रदेश अध्यक्ष सोमदत्त शर्मा ने विभिन्न मुद्दों पर सरकार का ध्यान आकर्षित किया। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड सरकार गन्ने का भुगतान अतिशीघ्र ब्याज सहित करे। नए सत्र में गन्ने का समर्थन मूल्य 450 रुपये प्रति क्विंटल हो। दिल्ली की तरह यहां ग्रामीण क्षेत्रों में 200 यूनिट बिजली फ्री की जाए। कृषि कार्यों के लिए बिजली का बिल माफ हो। उत्तराखंड सरकार उत्तर प्रदेश की तरह सिंचाई व्यवस्था मुफ्त करे। पहाड़ों में बुरांस व माल्टा के जूस की फैक्ट्री लगाई जाएं। पहाड़ी क्षेत्रों में किसानों का पलायन रोकने के लिए मंडी बनाई जाएं। कृषि यंत्रों पर टैक्स माफ हो। प्रदेश में किसानों को किसी भी मार्ग पर चेकिंग के नाम पर परेशान न किया जाए। किसानों की भी पेंशन शुरू की जाए, या सांसद-विधायकों की पेंशन भी बंद की जाए। इसके अलावा भी उन्होंने कई मुद्दे उठाए और अमल न किए जाने पर आंदोलन की चेतावनी दी। पदाधिकारियों ने नए किसानों को सदस्यता भी ग्रहण कराई। इस दौरान प्रदेश प्रवक्ता अरुण शर्मा, महासचिव श्याम लाल, उपाध्यक्ष राजीव मलिक, मंडल अध्यक्ष लाल सिंह गुर्जर, नगर अध्यक्ष नितिन राठी, ब्लाक अध्यक्ष नरेंद्र चौहान, जिला संगठन मंत्री अशोक चौधरी आदि उपस्थित रहे।

पेंशनर की मांगों पर निगम प्रबंधन ने दिए सकारात्मक संकेत

देहरादून: पेयजल निगम के पेंशनर की विभिन्न मांगों को लेकर प्रबंधन ने सकारात्मक रवैया अपना है। पेंशन के समय से भुगतान से लेकर वर्ष 2016 के लंबित भुगतान को लेकर भी उम्मीद जगी है। पूर्व कार्मिकों के साथ निगम प्रबंधन की बैठक में उक्त मुद्दों पर चर्चा की गई।

शुक्रवार देर रात उत्तराखंड पेयजल पेंशनर्स अधिकारी-कर्मचारी एसोसिएशन के पदाधिकारियों की प्रबंधन के साथ देर रात तक वार्ता हुई। एसोसिएशन के संरक्षक दिनेश भंडारी ने कहा कि बैठक में प्रबंधन की ओर से हर माह 28 तारीख तक पेंशन के भुगतान पर सहमति जताई गई। साथ ही पेयजल निगम में कार्मिकों की शिकायतों के निपटारे को गठित बोर्ड में मांगों पर विचार किए जाने का आश्वासन भी दिया गया।

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एक जनवरी 2016 से 31 दिसंबर 2016 के बीच के लंबित भुगतान जल्द किए जाने की मांग भी उठाई गई। एक जनवरी 2016 से पूर्व के पेंशनर की पेंशन को संशोधित करने पर भी बोर्ड विचार करेगा। इस दौरान 15 कार्मिकों को अधिवर्षिता आयु 58 से 60 वर्ष करने को लेकर भी साक्ष्य प्रस्तुत किए गए। बैठक में कोविड से पीडि़त पूर्व कार्मिकों की चिकित्सा प्रतिपूर्ति, भुगतान के साथ ही महंगाई भत्ता, एरियर आदि के भुगतान की भी मांग की गई। जिस पर प्रबंधन ने उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया है। एसोसिएशन की ओर से चेतावनी दी गई है कि यदि सहमति के अनुरूप शीघ्र मांगों पर कार्रवाई नहीं की जाती तो अगस्त में आंदोलन शुरू किया जाएगा।

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