भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के घर काम कर रहे थे संदिग्ध बांग्लादेशी, पोहा खाने से हुई पहचान

जेड प्लस सुरक्षा प्राप्त भाजपा के महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने गुरुवार को एक आयोजन में चौंकाने वाला राजफाश किया।

By Arun Kumar SinghEdited By: Publish:Thu, 23 Jan 2020 11:17 PM (IST) Updated:Fri, 24 Jan 2020 07:27 PM (IST)
भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के घर काम कर रहे थे संदिग्ध बांग्लादेशी, पोहा खाने से हुई पहचान
भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के घर काम कर रहे थे संदिग्ध बांग्लादेशी, पोहा खाने से हुई पहचान

इंदौर, जेएनएन। जेड प्लस सुरक्षा प्राप्त भाजपा के महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने गुरुवार को एक आयोजन में चौंकाने वाला राजफाश किया। उन्होंने कहा कि उनके घर संदिग्ध बांग्लादेशी काम कर रहे थे। गौरतलब है कि विजयवर्गीय का निवास इंदौर में है और वे भाजपा की ओर से बंगाल के प्रभारी भी हैं।

जेड प्लस सुरक्षा प्राप्त विजयवर्गीय ने खुद किया राजफाश

विजयवर्गीय ने बताया कि उनके छोटे बेटे का विवाह अगले महीने है। मजदूर उसका कमरा तैयार कर रहे थे। जब मैं घर पहुंचा तो पांच-छह मजदूर एक ही थाली में पोहे खा रहे थे। मैंने नौकर से पूछा कि उन्हें खाना क्यों नहीं दिया तो नौकर ने कहा कि ये सिर्फ पोहे ही खाते हैं। मैंने मजदूरों से पूछा कि कहां से हो तो वे बता नहीं पाए, क्योंकि उन्हें हिंदी नहीं आती थी। बाद में मैंने ठेकेदार के कर्मचारी से पूछा कि मजदूर कहां के थे तो उसने बताया कि बंगाल के। मैंने बंगाल में जिले का नाम पूछा तो वे कुछ नहीं बता पाए।

छोटे बेटे की शादी की तैयारियों के लिए आए मजदूरों पर शक

अगले दिन ठेकेदार से पूछा कि मजदूर कहां के रहने वाले हैं तो उसने कहा कि शायद दूसरे देश के हैं। मैंने उससे पूछा कि तुम उन्हें मेरे यहां क्यों लाए तो ठेकेदार ने कहा कि वे पैसे कम लेते हैं। सुबह नौ से रात नौ बजे तक काम करते हैं। हम दोनों समय खाना और 300 रुपये देते हैं, जबकि हमारे यहां के मजदूर 600 रुपये लेते हैं। बाद में जब विजयवर्गीय से इस संबंध में सवाल पूछा गया तो उन्होंने कहा कि मैंने इस मामले में शिकायत नहीं की, आशंका थी कि मजदूर बांग्लादेश के हैं। हालांकि, विजयवर्गीय ने यह नहीं बताया कि घटनाक्रम कितने समय पहले का है और वे मजदूर अब कहां हैं।

डेढ़ साल से आतंकी कर रहा था रैकी

विजयवर्गीय ने यह भी बताया कि उन्हें ज्यादा सुरक्षा पसंद नहीं है। मंत्री था तब भी साथ में सुरक्षाकर्मी नहीं रखता था। लेकिन, घुसपैठिए देश के कई हिस्सों में हैं। जब मैं घर से बाहर निकलता हूं तो छह-छह बंदूकधारी मेरे साथ रहते हैं, क्योंकि इंदौर में डेढ़ साल से एक आतंकी उनकी रैकी कर रहा था, इसलिए उन्हें सुरक्षा मिली है।

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