कोविड संकट से निपटने के लिए प्रियंका गांधी ने की पीएम मोदी की कड़ी आलोचना, पूछा- Zimmedaar Kaun? पढ़ें- क्या किए दावे

कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया और लोगों से संकट से निपटने के लिए सरकार से सवाल करने का आग्रह करते हुए कहा भारतीय पीएम के लिए पहले नहीं आते बल्कि राजनीति आती है। कहा वैक्सीन पंजीकरण मंच जटिल और टीकाकरण प्रक्रिया को धीमा करने के लिए डिजाइन किया गया है।

By Nitin AroraEdited By: Publish:Sat, 12 Jun 2021 04:09 PM (IST) Updated:Sat, 12 Jun 2021 04:09 PM (IST)
कोविड संकट से निपटने के लिए प्रियंका गांधी ने की पीएम मोदी की कड़ी आलोचना, पूछा- Zimmedaar Kaun? पढ़ें- क्या किए दावे
कोविड संकट से निपटने के लिए प्रियंका गांधी ने की पीएम मोदी की कड़ी आलोचना, पूछा- Zimmedaar Kaun?

नई दिल्ली, एजेंसी। कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने शनिवार को प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी पर देशवासियों से पहले राजनीति और प्रचार करने का आरोप लगाया। गांधी ने कोरोना वायरस (कोविड -19) महामारी की दूसरी लहर से निपटने के लिए सरकार के खिलाफ हमला बोलते हुए अपने ट्विटर हैंडल पर काफी कुछ लिखा। प्रियंका गांधी ने प्रधान मंत्री की कठोर आलोचना करते हुए 'जिम्मेदार कौन?' का एक अभियान चलाया है। उन्होंने कहा कि संकट के दौरान पीएम मोदी की 'शासन में अक्षमता' प्रदर्शित हुई थी।

प्रियंका गांधी ने अपने फेसबुक, इंस्टाग्राम और ट्विटर अकाउंट पर अपने बयान में कहा, 'वह (प्रधानमंत्री) बस पीछे हट गए और सबसे बुरे समय का इंतजार करने लगे। भारत के प्रधानमंत्री ने हारे हुए शख्स की तरह व्यवहार किया। उन्होंने देश को नीचा दिखाया है।'

कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया और लोगों से संकट से निपटने के लिए सरकार से सवाल करने का आग्रह करते हुए कहा, 'भारतीय पीएम के लिए पहले नहीं आते बल्कि राजनीति आती है।'

प्रियंका ने यह भी कहा कि पीएम मोदी ने छवि बनाने पर ध्यान केंद्रित किया जब उन्होंने दूसरे देशों को टीके निर्यात करने का फैसला किया और अपने देशवासियों के बारे में सोचने की जहमत नहीं उठाई। उन्होंने अपने बयान में यह भी कहा कि वैक्सीन पंजीकरण मंच 'जटिल' और 'टीकाकरण प्रक्रिया को धीमा करने के लिए डिजाइन किया गया' है।

अपने दो पन्नों के बयान में, कांग्रेस नेता ने यह भी आरोप लगाया कि प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने महामारी से निपटने के लिए अपनी ही सरकार द्वारा स्थापित अधिकार प्राप्त समूह की सिफारिशों को नहीं सुनना सही समझा और स्वस्थ्य पर संसदीय समिति की सिफारिशों की भी अनदेखी की। प्रियंका ने यह भी कहा कि महामारी की शुरुआत से ही मोदी के नेतृत्व वाली सरकार ने जिम्मेदारी लेने से परहेज किया और सच्चाई को छुपाया। परिणामस्वरूप, जब दूसरी लहर ने हमपर दवाब दिया, तो सरकार निष्क्रियता की स्थिति में आ गई। इस निष्क्रियता ने वायरस को कहीं अधिक तेजी से फैलने और अनकही पीड़ा का कारण बनने में सक्षम बनाया।

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