Tokyo Olympics 2020 में किस रणनीति से खेल रही हैं पीवी सिंधु, किया खुलासा
Tokyo Olympics 2020 में बैडमिंटन के वुमेंस सिंगल्स के क्वार्टर फाइनल में पीवी सिंधु ने जगह बना ली है और उन्होंने देश को पदक दिलाने की उम्मीद जगाई है। सिंधु ने ये भी बताया है कि उनकी रणनीति क्या है।
टोक्यो, एएनआइ। भारत के लिए टोक्यो ओलंपिक 2020 में महिला बैडमिंटन खिलाड़ी पीवी सिंधु ने पदक की उम्मीद जताई है। यहां जारी ओलंपिक खेलों की बैडमिंटन स्पर्धा के महिला एकल मुकाबलों के पीवी सिंधु क्वार्टर फाइनल में पहुंच गई हैं। मैच के बाद पीवी सिंधु ने इस बात का खुलासा किया है कि उनकी रणनीति इस मेगा इवेंट में कैसी है। उन्होंने कहा कि वह ओलंपिक की शुरुआत से ही मैच दर मैच रणनीति पर चल रही हैं और आगे भी चलती रहेंगी।
मौजूदा विश्व चैंपियन पीवी सिंधु अब कम से कम कांस्य पदक से महज एक कदम दूर हैं, लेकिन उसके लिए उन्हें जापान की अकीनो यामागुची को हराना होगा, जिनसे उनका क्वार्टर फाइनल में सामना होगा। रियो ओलंपिक में रजत पदक जीत चुकीं पीवी सिंधु ने गुरुवार को मुशाशीनो फॉरेस्ट प्लाजा कोर्ट नम्बर 3 पर डेनमार्क की मिया ब्लिचफेट को सीधे सेटों में हरा दिया। सिंधु ने 41 मिनट तक चले इस मुकाबले में मिया के खिलाफ 21-15, 21-13 से जीत दर्ज की।
यामागुची की बात की जाए तो उन्होंने प्री-क्वार्टर फाइनल में दक्षिण कोरिया की गायुन किम को 2-0 से हराया। यामागुची ने यह मैच सीधे सेटों में 21-17, 21-18 से जीता। मैच के बाद पीवी सिंधु ने कहा कि कई लोगों ने उन्हें टूर्नामेंट के महत्व को समझाया है और यह भी कहा है कि इस टूर्नामेंट में मैच दर मैच की रणनीति पर चलना बेहतर होगा। सिंधु ने बताया है कि वे यही काम इस टूर्नामेंट में कर रही हैं।
पीवी सिंधु ने बीडब्ल्यूएफ वेबसाइट से बातचीत के दौरान कहा, "बहुत से लोगों ने मुझसे यह कहा है। मैं इसे एक तारीफ के रूप में लूंगी। लेकिन मेरे लिए हर मैच महत्वपूर्ण है। हर बिंदु पर ध्यान देना महत्वपूर्ण है, न कि सिर्फ मैच पर।" सिंधु ने हमेशा बड़े टूर्नामेंटस में अच्छा प्रदर्शन किया है, जो पांच साल पहले रियो में जीते गए ओलंपिक रजत पदक और विश्व चैंपियनशिप में उनके प्रदर्शन से स्पष्ट है। विश्व चैम्पियनशिप में उन्होंने 2019 में स्वर्ण पदक जीता था। इससे पहले 2017 और 18 में सिंधु ने रजत और 2013 तथा 2014 में कांस्य पदक जीता था।