नए वेतन समझौते में विलंब से श्रमिकों को नुकसान
वेतन समझौता तथा मान्यता प्राप्त यूनियन के चुनाव में देरी होने से श्रमिकों को भारी नुकसान हो रहा है।
जागरण संवाददाता, राउरकेला : वेतन समझौता तथा मान्यता प्राप्त यूनियन के चुनाव में देरी होने से श्रमिकों को भारी नुकसान हो रहा है। राउरकेला श्रमिक संघ व गांगपुर मजदूर मंच की ओर से इस पर क्षोभ प्रकट किया गया एवं प्रबंधन से शीघ्र पहल करने की मांग की गई है।
संगठनों की ओर से बताया गया कि वेतन समझौता की 31 दिसंबर 2016 को खत्म हो चुका है। इसके चार साल बाद भी नया वेतन समझौता नहीं होने पर क्षोभ प्रकट किया गया। 2018 से 2021 तक दो हजार करोड़ से अधिक का लाभ होने के बावजूद वेतन समझौता के लिए हुई बैठक में अंतिम निर्णय लिया गया। पहले दो बार पांच वर्षीय समझौता हुआ था पर अब दस वर्षीय समझौता का शर्त प्रबंधन की ओर से रखा जा रहा है। बीएमएस को छोड़ कर दूसरे यूनियन इसका समर्थन नहीं कर रहे हैं। श्रमिक हित में अविलंब वेतन समझौता पर हस्ताक्षर करने की मांग की गई है। यूनियन चुनाव की अवधि पूरी होने के बावजूद चुनाव नहीं कराया जा रहा है। हाईकोर्ट में याचिका दायर करने एवं चुनाव के लिए आवेदन करने के बावजूद चुनाव नहीं कराया गया है। इसके लिए अधिकारी की नियुक्ति हो चुकी है इस कारण यूनियन चुनाव की प्रक्रिया शीघ्र शुरु करने की मांग भी श्रमिक संगठनों की ओर से की गई है। 261 लोगों को मिला ई-श्रमिक कार्ड : सेक्टर-7 स्थित सियर कार्यालय में रविवार को असंगठित श्रमिकों के बीच ई-श्रमिक कार्ड का वितरण किया गया। इस कार्यक्रम में चिन्हित आटो चालक, फुटपाथ पर दुकान लगाने वाले, रिक्शा चालक, ठेका श्रमिक, सफाई कर्मी समेत अन्य असंगठित क्षेत्र में काम करने वाले 261 लोगों को ई-श्रमिक कार्ड प्रदान किया गया। इसके जरिए श्रमिकों को सरकार से मिलने वाली सुविधाओं का लाभ मिल सकेगा। इस कार्यक्रम में सुंदरगढ़ ऑटो वर्कर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष व श्रमिक नेता बीएन दास, महासचिव भुवन बेहरा, मनोरंजन मिश्रा, बाबू पटनायक, बासू बनर्जी, लिपि घोष, प्रियंका साहू, लीजा महाराणा, मुक्ता मुखी समेत अन्य लोगों ने सहयोग किया।