भुवनेश्वर में कंकाल के ऊपर पुनः शव दफनाने को मजबूर लोग, अंतिम संस्कार के लिए जगह की समस्या
ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर में अंतिम संस्कार करने के लिए शवों को जगह नहीं मिल रही है। समाधि स्थल एवं मुसलमानों के कब्रिस्तान में जगह की गंभीर समस्या देखी जा रही है। जिसके चलते कंकाल के ऊपर पुनः शव को दफनाना पड़ रहा है।
भुवनेश्वर, जागरण संवाददाता। राजधानी भुवनेश्वर में शव के अंतिम संस्कार के लिए जगह की समस्या देखी जा रही है। सत्य नगर स्थित श्मशान घाट, समाधि स्थल एवं कब्रिस्तान को लेकर जटिल परिस्थिति उत्पन्न हो गई है। जगह की कमी के साथ प्रदूषण से जुड़ी समस्या को लेकर विरोध के स्वर उठने लगे हैं।
मुसलमानों के कब्रिस्तान में जगह की गंभीर समस्या
भुवनेश्वर सत्य नगर के एक इलाके में कई सालों से हिंदू, ईसाई एवं मुसलमानों के अंतिम संस्कार का स्थल है। राजधानी में एक तरफ जहां अस्पताल एवं निजी नर्सिंग होम में प्रदेश भर से लोग इलाज कराने आते हैं तो वहीं दूसरी तरफ कोरोना महामारी है। इसके चलते वर्तमान समय में मृतकों की संख्या बढ़ गई है। ऐसी स्थिति में समाधि स्थल एवं मुसलमानों के कब्रिस्तान में जगह की गंभीर समस्या देखी जा रही है। परिणाम स्वरूप कंकाल के ऊपर पुनः शव को दफनाना पड़ रहा है। ऐसे में वे लोग समाधि स्थल एवं कब्रिस्तान को अन्य किसी जगह पर बनाने की मांग कर रहे हैं।
प्रदूषण की समस्या के साथ कोविड की चिंता
यहां आस-पास रहने वाले लोगों प्रदूषण की समस्या के साथ कोविड की चिंता सता रही है। ऐसे में सत्य नगर के साथ ही शहीद नगर के लोग भी इस स्थानांतरण की मांग में शामिल हो गए हैं। स्थानीय लोगों ने किसके लिए हस्ताक्षर अभियान चलाकर बीएमसी अधिकारियों को एक ज्ञापन दिया है और अगले 6 महीने के अंदर मांग पूरी ना होने पर आंदोलन करने की चेतावनी दी है। वहीं दूसरी तरफ इस समस्या के समाधान के लिए पटिया एवं भरतपुर दो जगह पर श्मशान घाट बनाए गए हैं। बावजूद इसके विभिन्न धर्म की समस्या होने से विचार विमर्श के बाद इस पर जरूरी कदम उठाए जाने की जानकारी बीएमसी के अतिरिक्त कमिश्नर ने दी है।
जरूरी कदम उठाने के लिए बीएमसी को निर्देश
श्मशान घाट एवं समाधि स्थल से जुड़ी स्थानीय लोगों की समस्या को ध्यान में रखते हुए एक पिटिशन की सुनवाई कर राज्य मानवाधिकार आयोग ने इस दिशा में जरूरी कदम उठाने के लिए बीएमसी को निर्देश देने की बात पता चली है।