देश में वास्तविक संक्रमितों की संख्या 30 गुना ज्यादा, चौथे सीरो सर्वे के आधार पर एक्सपर्ट का दावा

देश के 70 जिलों में कराए गए चौथे सीरो सर्वे की रिपोर्ट के मुताबिक 67.6 फीसद लोगों में कोरोना के खिलाफ एंटीबाडी मिली थी। किसी वायरस से संक्रमित होने या उसका टीका लगाने के बाद शरीर में उस वायरस के खिलाफ एंटीबाडी बनती है।

By Neel RajputEdited By: Publish:Sat, 31 Jul 2021 09:43 PM (IST) Updated:Sat, 31 Jul 2021 09:43 PM (IST)
देश में वास्तविक संक्रमितों की संख्या 30 गुना ज्यादा, चौथे सीरो सर्वे के आधार पर एक्सपर्ट का दावा
स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक अब तक मिले हैं कोरोना के कुल 3.16 करोड़ मामले

नई दिल्ली, प्रेट्र। देश में कोरोना संक्रमितों की वास्तविक संख्या 30 गुना ज्यादा है जो मौजूदा 3.16 करोड़ के आंकड़े के हिसाब से 90 करोड़ बैठती है। भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आइसीएमआर) के चौथे सीरो सर्वे के आंकड़ों के आधार पर स्वतंत्र महामारी रोग विशेषज्ञ डा. चंद्रकात लहारिया ने यह दावा किया है। उनके मुताबिक, प्रत्येक कोरोना संक्रमित पर 30 मामले छूट गए या उनका पता ही नहीं चल पाया।

हालांकि, डा. लहारिया ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि इसका मतलब यह नहीं है कि जानबूझकर मामलों को दर्ज नहीं किया गया। उनके इस विश्लेषण से मामलों पर निगरानी रखने के लिए बनाई गई प्रणाली के प्रदर्शन का पता चलता है। साथ ही यह भी मालूम होता है कि किस राज्य ने संक्रमितों का पता लगाने में कितनी सक्रियता दिखाई।

देश के 70 जिलों में कराए गए चौथे सीरो सर्वे की रिपोर्ट के मुताबिक, 67.6 फीसद लोगों में कोरोना के खिलाफ एंटीबाडी मिली थी। किसी वायरस से संक्रमित होने या उसका टीका लगाने के बाद शरीर में उस वायरस के खिलाफ एंटीबाडी बनती है।

डा. लहारिया ने कहा कि बहुत ज्यादा मामले बिना लक्षण वाले थे इसलिए उनके दर्ज नहीं किए जाने की संभावना है। अगर बेहतर तरीके से संक्रमितों के संपर्क में आए लोगों की तलाश की गई होती तो बिना लक्षण वाले मामले भी पकड़ में आ गए होते।

उत्तर प्रदेश में सबसे ज्यादा और केरल में सबसे कम अंतर

विश्लेषण के अनुसार, देश में प्रयोगशाला की जांच में संक्रमित पाए गए प्रत्येक मामले पर अप्रमाणित या अनिर्धारित मामलों की संख्या 6 से 98 तक थी। प्रमाणित और अप्रमाणित मामलों के बीच सबसे ज्यादा 98 का अंतर उत्तर प्रदेश में रहा। यानी राज्य में प्रत्येक कोरोना केस पर 98 मामले छूट गए या पकड़े नहीं गए। केरल में यह अंतर सबसे कम छह का रहा। इसी तरह मध्य प्रदेश में प्रत्येक केस पर 83 मामले, झारखंड में 63, राजस्थान में 62, गुजरात में 61 और बिहार में 59 मामले छूट गए या उनका पता नहीं चल पाया।

सीरो सर्वे के लिए सैंपल वैज्ञानिक तरीके से लिए

डा. लहारिया ने यह भी कहा कि हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि सीरो सर्वे के लिए राष्ट्रीय स्तर पर 21 राज्यों से वैज्ञानिक तरीके से सैंपल लिए गए थे और उसमें 67.6 फीसद लोगों में सीरो पाजिटिविटी पाई गई थी और इसको लेकर किसी तरह का विवाद भी नहीं है। संख्या में यह आंकड़ा 90.95 करोड़ बैठता है।

राज्यवार सीरो सर्वे जरूरी

डा. लहारिया ने कहा कि राज्य और जिला स्तर पर सीरो सर्वे कराए जाने पर संक्रमण की स्पष्ट तस्वीर मिलेगी। इसलिए सरकार को इस स्तर पर सीरो सर्वे कराने की तत्काल योजना बनानी चाहिए।

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