बारहसिंगा, घड़ियाल और गिद्ध को भी भाया मध्य प्रदेश, संख्या में बढ़ोत्तरी के मिले संकेत
फरवरी में शुरू होने वाली गणना से पहले ही टाइगर स्टेट कहलाने वाले मध्य प्रदेश में तेंदुआ बारहसिंघा घड़ियाल और गिद्ध की संख्या में बढ़ोत्तरी के संकेत मिल रहे हैं। उधर नैनीताल के जंगलों में लंबे अरसे बाद फिर एक विशेष प्रजाति की तितली नजर आई है।
भोपाल, मनोज तिवारी। बाघ, तेंदुआ, बारहसिंगा, गिद्ध और घड़ियालों की संख्या में देश में शीर्ष बने मध्यप्रदेश को अब इस मामले में श्रेष्ठता के पंख भी लगने वाले हैं। प्रदेश में फरवरी में गिद्ध एवं मार्च में घड़ियालों की गिनती शुरू हो रही है। वन अधिकारियों को उम्मीद है कि इस बार 10 हजार से ज्यादा गिद्ध और 2200 से अधिक घड़ियाल गिने जाएंगे। इन जीवों की संख्या में देशभर में शीर्ष पर होने की उपलब्धि को भुनाने के हरसंभव प्रयास किए जा रहे हैं। प्रचार-प्रसार से लेकर पर्यटकों को लुभाने के जतन शुरू हो गए हैं। वन और पर्यटन विभाग बता रहे हैं कि मध्यप्रदेश न सिर्फ टाइगर बल्कि तेंदुआ, घड़ियाल, बारहसिंगा और गिद्ध स्टेट भी है। हर अभियान में अब इसका जिक्र होने लगा है। देशभर में लॉकडाउन के बाद जब अनलॉक हुआ, तो प्रदेश में पर्यटन बूम आ गया। यहां पिछले तीन महीने में आठ लाख से ज्यादा पर्यटकों ने सैर की है।
बाघ: वर्ष 2003 तक प्रदेश में सात सौ से अधिक बाघ थे, पर वर्ष 2010 में एक दौर ऐसा भी आया, जब महज 257 बाघ बचे। राज्य सरकार ने बाघ की सुरक्षा और संरक्षण पर काम किया और वर्ष 2018 के बाघ आकलन में सफलता मिली। वर्तमान में देश में सर्वाधिक 526 बाघ प्रदेश में हैं। प्रदेश ने टाइगर स्टेट का खोया तमगा फिर से प्राप्त कर लिया।
तेंदुआ: तेंदुआ की संख्या में प्रदेश लगातार शीर्ष पर है। पहले प्रदेश में 1857 तेंदुआ थे। वर्ष 2018 में कराई गई गिनती में 3421 तेंदुआ होने की पुष्टि हुई है। यह रिपोर्ट दिसंबर 2020 में ही जारी हुई है। यह संख्या देशभर में पाए जाने वाले तेंदुओं की संख्या की 25 फीसद है।
घड़ियाल: मध्यप्रदेश अकेला ऐसा राज्य है, जहां 1859 घड़ियाल हैं। यह संख्या अकेले चंबल घड़ियाल अभयारण्य की है। चार दशक पहले देश में 200 घड़ियाल रह गए थे।
बारहसिंगा: हार्डग्राउंड प्रजाति का बारहसिंगा मध्य प्रदेश के कान्हा टाइगर रिजर्व के एक वन परिक्षेत्र में पाई जाती है। वर्ष 1980 के दशक में प्रदेश में सिर्फ 60 बारहसिंगा बचे थे। पांच साल पहले होशंगाबाद के सतपुड़ा टाइगर रिजर्व और भोपाल के वन विहार नेशनल पार्क में शिफ्ट किए गए। आज संख्या बढ़कर 950 हो गई है। यह प्रदेश का राज्यपशु भी है।
गिद्ध: मध्यप्रदेश में पिछली बार 8200 गिद्ध गिने गए हैं, जो देश में सर्वाधिक है। फरवरी में फिर से गिद्धों की गिनती होना है। एसीएफ रजनीश सिंह के मुताबिक इस बार आंकड़ा 10 हजार को पार कर सकता है। इस हिसाब से मप्र अव्वल होगा।