कर्नाटक में क्लास रूम में हेडमास्टर ने महिला से कराई मसाज, वीडियो हुआ वायरल
कर्नाटक में एक हेडमास्टर को क्लास रूम में महिला द्वारा मालिश करवाने पर सस्पेंड कर दिया गया है। रिपोर्ट में बताया गया है कि एक महिला अपनी बच्ची के एडमिशन के लिए स्कूल गई थी जिससे हैडमास्टर ने मालिश करवाई।
बेंगलुरु, आइएएनएस। कर्नाटक में एक हेडमास्टर को क्लास रूम में महिला द्वारा मालिश करवाने पर सस्पेंड कर दिया गया है। रिपोर्ट में बताया गया है कि एक महिला अपनी बच्ची के एडमिशन के लिए स्कूल गई थी, जिससे हेडमास्टर ने मालिश करवाई। आरोपित हेडमास्टर ने अपना जुर्म भी कबूल कर लिया है।
सोशल मीडिया पर वायरल हुई फोटो-वीडियो
बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका (BBMP) ने एक हाई स्कूल के हेडमास्टर द्वारा मालिश करवाने के बाद जांच शुरू कर दी है। बीबीएमपी द्वारा बुधवार शाम को सस्पेंड आदेश जारी किया गया था क्योंकि हेडमास्टर की मालिश करने वाला वीडियो और तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थीं।
आरोपी लोकेशप्पा बीबीएमपी द्वारा संचालित कोडंदरामपुरा हाई स्कूल में प्रभारी हेडमास्टर के रूप में काम करता था। सोशल मीडिया पर वायरल हुए वीडियो के बाद हेडमास्टर ने एक महिला से मालिश की बात कबूल कर ली है। बीबीएमपी के विशेष आयुक्त, शंकर बाबू रेड्डी ने इसकी जानकारी देते हुए बताया कि हेडमास्टर ने कर्नाटक सिविल सेवा विनियमों के अनुसार बीबीएमपी के कोडंदरामपुरा हाई स्कूल में निजी काम के सरकारी काम के घंटों के दौरान अपने कर्तव्य की अवहेलना की। इसलिए उन्हें सस्पेंड कर दिया गया है। वह 1958 के केसीएसआर नियम 98 के तहत निर्वाह भत्ता के लिए पात्र होंगे।
सूत्रों ने बताया कि ब्यूटी पार्लर चलाने वाली महिला ने अपनी बेटी के प्रवेश के लिए स्कूल में हेडमास्टर लोकेशप्पा से संपर्क किया था। लोकेशप्पा ने महिला की पृष्ठभूमि के बारे में पूछताछ करने के बाद उससे मालिश करने को कहा। दबाव में आकर महिला ने हेडमास्टर को मसाज देने को तैयार हो गई थी। बाद में लोकेशप्पा ने सभी शिक्षकों को बाहर भेज दिया और एक क्लास रूम में अपनी शर्ट उतारकर मालिश करवाई।
वहीं बीते दिन कर्नाटक धार्मिक संरचना (संरक्षण) विधेयक, 2021 राज्य विधानसभा में सार्वजनिक स्थानों पर धार्मिक संरचनाओं की रक्षा के लिए पेश किया गया था। इस पर बात करते हुए कर्नाटक के राजस्व मंत्री आर अशोक कहते हैं, 'हमने मंदिरों की सुरक्षा के लिए विधेयक पेश किया। हमें सभी धर्मों की संस्थाओं की रक्षा करनी है।'