भारत की दूसरी कोरोना वैक्सीन का पहले चरण में इंसानों पर टेस्ट सफल, कल से दूसरा चरण होगा शुरू

Coronavirus Vaccine India News भारत में जायडस कैडिला की कोरोना वैक्सीन का पहले चरण में इंसानों पर परीक्षण सफल रहा है। 6 अगस्त से दूसरा चरण शुरू होगा।

By Shashank PandeyEdited By: Publish:Wed, 05 Aug 2020 03:24 PM (IST) Updated:Wed, 05 Aug 2020 03:41 PM (IST)
भारत की दूसरी कोरोना वैक्सीन का पहले चरण में इंसानों पर टेस्ट सफल, कल से दूसरा चरण होगा शुरू
भारत की दूसरी कोरोना वैक्सीन का पहले चरण में इंसानों पर टेस्ट सफल, कल से दूसरा चरण होगा शुरू

नई दिल्ली, एजेंसियां। भारत की दूसरी कोरोना वैक्सीन का पहले चरण में इंसानों पर परीक्षण सफल रहा है। देश में दूसरी स्वदेसी कोरोना वैक्सीन पर काम कर रही ड्रग फार्मा कंपनी जायडस कैडिला(Zydus Cadila) ने बुधवार को घोषणा की कि वैक्सीन के पहले चरण का ट्रायल सफल रहा है। कंपनी ने कहा कि कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए उसकी प्लास्मिड डीएनए वैक्सीन- जाइकोव-डी(ZyCoV-D) पहले फेज के ट्रायल में सुरक्षित पाई गई है। इस घोषणा के बाद कंपनी अब गुरुवार से वैक्सीन के दूसरे चरण के ट्रायल पर काम करेगी। कंपनी ने बताया कि वह अब 6 अगस्त से दूसरे चरण के क्लीनिकल ट्रायल शुरू करेगी।

कंपनी ने कहा कि पहले चरण के ट्रायल में स्वस्थ वालंटियर्स को दी जाने वाली वैक्सीन की खुराक, जिसकी शुरुआत 15 जुलाई को हुई थी उसे वालंटियर्स ने अच्छी तरह सहन किया है। जायडस कैडिला के अध्यक्ष पंकज आर पटेल ने कहा कि अब हम दूसरे चरण के मानव ट्रायल करने जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि बड़ी आबादी में कोरोना वैक्सीन के खिलाफ सुरक्षा और इम्युनोजेनेसिटी का मूल्यांकन करने के लिए हमारी कंपनी तत्पर है। 

उन्होंने यह भी कहा कि पहले चरण के ट्रायल में सभी विषयों पर क्लीनिकल फार्माकोलॉजिकल यूनिट में 24 घंटे के बाद सुरक्षा के लिए पोस्टिंग और उसके बाद सात दिनों तक टीका लगाया गया था और टीका बहुत सुरक्षित पाया गया है। जायडस कैडिला(Zydus Cadila) की ओर से यह बयान भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद के महानिदेशक बलराम भार्गव के बयान के एक दिन बाद आया है जिसमें उन्होंने बताया था कि Zydus Cadila द्वारा डीएनए वैक्सीन के पहले चरण का ट्रायल पूरा कर लिया गया है और अगले फेज के ट्रायल के लिए 11 जगहों को चुनाव किया गया है। 

गौरतलब है कि इससे पहले, इस कोरोना वैक्सीन को प्री-क्लीनिकल ट्रायल में सुरक्षित पाया गया था, प्री-क्लीनिकल टेस्ट में वैक्सीन ने सफलता पाई थी।

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