कोरोना काल में नौकरी गंवाने वाले ESIC सदस्यों को मिलेगा तीन माह का वेतन- श्रम मंत्री
कोरोना काल में नौकरी गंवाने वाले ईसीएसआई सदस्यों के लिए राहत की खबर है दरअसल केंद्र सरकार ने फैसला लिया है कि इन्हें तीन माह का वेतन दिया जाएगा और कोरोना से जान गंवाने वाले सदस्यों के स्वजन को आजीवन वित्तीय मदद भी देगी केंद्र सरकार
नई दिल्ली, एएनआइ। केंद्र सरकार कोरोना के दौरान नौकरी गंवाने वाले कर्मचारी राज्य बीमा निगम यानी ESIC सदस्यों को तीन महीने का वेतन देगी। केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री भूपेंद्र यादव ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि उनका मंत्रालय कोरोना के चलते जान गंवाने वाले ईसीएसआइ सदस्यों के स्वजन को आजीवन वित्तीय मदद भी मुहैया कराएगा।
मीडियाकर्मियों से बातचीत में यादव ने कहा कि प्रत्येक राज्य में श्रमिक संहिता बनाने पर भी काम चल रहा है। नए श्रम कानून को लागू करने की प्रक्रिया चल रही है और कई राज्यों ने अपने कानून बना लिए है। उन्होंने कहा कि श्रमिकों से जुड़े 29 श्रम कानूनों को चार श्रमिक संहिता से बदल दिया गया है। ई-श्रम पोर्टल के बारे में केंद्रीय मंत्री ने कहा कि लगभग 400 अनधिकृत वेंडरों की श्रेणियां बनाई गई हैं और कोई भी वेंडर पोर्टल पर अपना पंजीकरण करा सकता है। उन्होंने कहा कि सरकार का लक्ष्य निर्माण क्षेत्र, प्रवासी कार्यबल, स्ट्रीट वेंडर और घरेलू कामगारों समेत अन्य असंगठित क्षेत्र के 38 करोड़ श्रमिकों को पंजीकृत करने का है।
इन मजदूरों को 12 विशिष्ट अंकों वाला ई-श्रम कार्ड जारी किया जाएगा। आगे चलकर इस कार्ड के जरिए मजदूरों को सामाजिक सुरक्षा की योजनाओं में शामिल किया जाएगा। बता दें कि ईएसआइ के दायरे में आने वाले कर्मचारियों के ईएसआइ कार्ड आधार से लिंक होंगे। इसके बाद अगले चरण में वन नेशन-वन राशन कार्ड की तर्ज पर 'वन नेशन-वन ईएसआइ कार्ड' की दिशा में आगे कदम बढ़ाए जाएंगे। इसके आकार लेने पर निकट भविष्य में संबंधित कर्मचारी देश के किसी भी हिस्से में ईएसआइ व उससे संबद्ध अस्पतालों में स्वास्थ्य सुविधा का लाभ ले सकेंगे।
इसी माह उत्तराखंड में केंद्रीय मंत्री ने कहा था कि कर्मचारी राज्य बीमा निगम के माध्यम से कर्मचारियों को मिलने वाली स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ किया जाएगा। केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री भूपेंद्र यादव की अध्यक्षता में हुई निगम की 185 वीं बैठक में यह निर्णय लिया गया। इसके तहत ईएसआइ के अस्पतालों में जो चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध नहीं हैं, उनका लाभ लेने के लिए मरीज को पैनल में शामिल चिकित्सा सेवा प्रदाताओं के पास भेजा जाएगा। यदि किसी क्षेत्र में ईएसआइ की सुविधा 10 किलोमीटर से अधिक की दूरी पर है तो ऐसी स्थिति में मरीज सीधे पैनल में शामिल अस्पतालों से इलाज के लिए संपर्क कर सकते हैं।