कोविशील्ड की दूसरी खुराक पहले देने की अनुमति के खिलाफ केंद्र की अपील

हाई कोर्ट ने तीन सितंबर को किरटेक्स गार्मेट्स लिमिटेड की याचिका पर अपने आदेश में निर्धारित 84 दिन की अवधि से पहले वैक्सीन की दूसरी डोज देने की अनुमति दे दी थी। कंपनी ने अपने कर्मचारियों का जल्द से जल्द टीकाकरण पूरा करने के लिए याचिका दायर की थी।

By Monika MinalEdited By: Publish:Thu, 23 Sep 2021 12:41 AM (IST) Updated:Thu, 23 Sep 2021 02:19 AM (IST)
कोविशील्ड की दूसरी खुराक पहले देने की अनुमति के खिलाफ केंद्र की अपील
कोविशील्ड की दूसरी खुराक पहले देने की अनुमति के खिलाफ केंद्र की अपील

कोच्चि, प्रेट्र।  केंद्र ने बुधवार को केरल हाई कोर्ट (Kerala High court) के उस आदेश के खिलाफ अपील दायर की है जिसमें कोविशील्ड वैक्सीन की दूसरी डोज निर्धारित 84 दिन से पहले देने की अनुमति दी गई है। केंद्र ने कहा कि यदि यह आदेश वापस न लिया गया तो टीकाकरण का पूरा काम पटरी से उतर जाएगा। केंद्र ने अपनी अपील में कहा कि केरल हाई कोर्ट की एकल पीठ द्वारा तीन सितंबर को जारी आदेश वापस न होने की स्थिति में केंद्र का टीकाकरण अभियान लड़खड़ा जाएगा।

इससे पहले की सुनवाई में केरल हाई कोर्ट ने केंद्र को चार सप्ताह बाद कोविशील्ड की दूसरी खुराक की अनुमति देने को कहा था। कोर्ट ने अपने निर्देश में कहा कि जो कोविशील्ड टीके की पहली खुराक ले चुके हैं और वर्तमान के निर्धारित 84 दिनों के अंतराल से पहले ही दूसरी खुराक लेना चाहते हैं, उन्हें को-विन पोर्टल पर पहली खुराक लेने के चार सप्ताह बाद दूसरी खुराक का समय लेने की अनुमति दी जाए। जस्टिस पीबी सुरेश कुमार ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकारें विदेश यात्रा करने वालों को कोविड-19 से जल्दी और बेहतर सुरक्षा के बीच चयन करने की अनुमति दे सकती हैं। ऐसे में रोजगार या शिक्षा के संबंध में जल्द सुरक्षा चाहने वालों को समान विशेषाधिकार नहीं देने का कोई कारण नहीं है।

अदालत ने कहा, 'केंद्र सरकार को-विन पोर्टल में जरूरी बदलाव करे ताकि लोग शुरुआती प्रोटोकाल के अनुसार पहली खुराक के चार सप्ताह के बाद कोविशील्ड टीके की दूसरी खुराक ले सकें।' याचिका में 84 दिनों तक प्रतीक्षा किए बिना अपने कर्मचारियों को कोविशील्ड टीके की दूसरी खुराक देने की अनुमति प्रदान करने का अनुरोध किया गया था।

उल्लेखनीय है कि हाई कोर्ट ने तीन सितंबर को किरटेक्स गार्मेट्स लिमिटेड की याचिका पर अपने आदेश में निर्धारित 84 दिन की अवधि से पहले वैक्सीन की दूसरी डोज देने की अनुमति दे दी थी। कंपनी ने अपने कर्मचारियों का जल्द से जल्द टीकाकरण पूरा करने के लिए याचिका दायर की थी। 

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