भारत में 83 फीसद कर्मचारी कोरोना के खिलाफ वैक्सीन आने से पहले नहीं जाना चाहते दफ्तर

भारत में करीब 83 फीसद कर्मचारी वापस दफ्तर लौटने को लेकर डरे हुए हैं। आइटी कंपनी अटलस्सियन की तरफ से कराए गए सर्वे के मुताबिक कोरोना के खिलाफ वैक्सीन आने से पहले ये कर्मचारी दफ्तर नहीं जाना चाहते।

By Bhupendra SinghEdited By: Publish:Fri, 27 Nov 2020 08:38 PM (IST) Updated:Fri, 27 Nov 2020 08:38 PM (IST)
भारत में 83 फीसद कर्मचारी कोरोना के खिलाफ वैक्सीन आने से पहले नहीं जाना चाहते दफ्तर
कोरोना के चलते टीम के सदस्यों के बीच रिश्ते मजबूत हुए।

नई दिल्ली, प्रेट्र। भारत में करीब 83 फीसद कर्मचारी वापस दफ्तर लौटने को लेकर डरे हुए हैं। आइटी कंपनी अटलस्सियन की तरफ से कराए गए सर्वे के मुताबिक कोरोना के खिलाफ वैक्सीन आने से पहले ये कर्मचारी दफ्तर नहीं जाना चाहते।

महामारी के चलते घर से काम करने की अनुमति मिली

हालांकि, 88 फीसद भारतीय कर्मचारियों को मानना है कि उनकी कंपनी वापस दफ्तर से काम करने के लिए पूरी तरह तैयार हो गई हैं, लेकिन 78 फीसद कर्मचारियों को इस बात से नाराजगी थी कि इस महामारी के चलते उन्हें घर से काम करने की अनुमति मिली।

सर्वे: कोरोना काल में बाद टीम वर्क बेहतर हुआ

यह सर्वे अक्टूबर के महीने में कराया गया था। इसमें यह देखने को मिला कि 86 फीसद कर्मचारियों का मानना था कि कोरोना संकट के बाद उनकी टीम के सदस्यों के बीच नजदीकियां बढ़ी है। वहीं, 75 फीसद ने माना कि पहले की तुलना में उनके बीच टीम वर्क बेहतर हुआ है।

सर्वे से मिली जानकारियां वास्तविक हैं 

अटलस्सियन के इंजीनियरिंग (बेंगलुरु) इकाई के प्रमुख दिनेश अजमेरा का कहना है कि यह पता लगाने के लिए यह सर्वे कराया गया था कि कोरोना काल में सबकुछ कैसा चल रहा है। जो जानकारियां मिली हैं, वह वास्तविक हैं क्योंकि जिन लोगों ने इसमें भाग लिया है वह वास्तविक परेशानियों का सामना कर रहे हैं।

89 फीसद ने कहा- कोरोना के चलते टीम के सदस्यों के बीच रिश्ते हुए मजबूत

जूम के जरिये लोगों से संर्पक किया गया। टायर एक, दो और तीन स्तर के शहरों के करीब डेढ़ हजार लोगों को इसमें शामिल किया गया था। सर्वे में यह देखने को मिला कि लोग अब अपनी टीम के साथ निजी अनुभवों को ज्यादा साझा करते हैं। 89 फीसद कर्मचारियों ने माना कि पहले की अपेक्षा अब वो अपनी टीम के साथ ज्यादा जुड़ा महसूस करते हैं।

50 फीसद मैनेजरों ने कहा- मेरी  नौकरी अब ज्यादा सुरक्षित है

50 फीसद मैनेजरों ने माना कि उनकी नौकरी अब ज्यादा सुरक्षित है। महामारी ने मैनेजरों की भूमिका भी बदल दी है। अब मैनेजर काम के प्रति ज्यादा जुड़ाव महसूस करते हैं। 

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