Maharashtra: शरद पवार बोले, युद्ध के बजाय चीन पर अंतरराष्ट्रीय दबाव बनाएं

Sharad Pawar भारत के पड़ोसी देशों से चीन के घनिष्ठ होते रिश्तों का उल्लेख करते हुए शरद पवार ने कहा कि चीन हमारे सभी पड़ोसी देशों को हमसे दूर करता जा रहा है।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Publish:Sun, 12 Jul 2020 10:46 PM (IST) Updated:Sun, 12 Jul 2020 11:12 PM (IST)
Maharashtra: शरद पवार बोले, युद्ध के बजाय चीन पर अंतरराष्ट्रीय दबाव बनाएं
Maharashtra: शरद पवार बोले, युद्ध के बजाय चीन पर अंतरराष्ट्रीय दबाव बनाएं

राज्य ब्यूरो, मुंबई। Sharad Pawar: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) अध्यक्ष शरद पवार का मानना है कि चीन के साथ युद्ध से दोनों देशों का नुकसान होगा। इसके बजाय भारत को चीन पर अंतरराष्ट्रीय दबाव बनाने पर ध्यान देना चाहिए। पवार ने यह बात रविवार को शिवसेना के मुखपत्र 'सामना' में प्रकाशित हो रहे अपने साक्षात्कार में कही धारावाहिक साक्षात्कार की दूसरी किस्त में पूर्व रक्षामंत्री शरद पवार ने कार्यकारी संपादक संजय राउत के सवालों का जवाब देते हुए कहा कि जब हम एक शत्रु के बारे में सोचते हैं, तो प्रथमदृष्ट्या पाकिस्तान का ही नाम सामने आता है। लेकिन हमें पाकिस्तान की ओर से चिंता नहीं होनी चाहिए। बल्कि लंबी अवधि में चीन की शक्ति, दृष्टि और उसकी योजनाएं भारत के खिलाफ जा सकती हैं। चीन भारत के लिए ज्यादा बड़ा खतरा है।

पवार के अनुसार चीन के पास हमसे 10 गुना बड़ी सैन्य शक्ति है। वह आर्थिक दृष्टि से भी हमसे काफी मजबूत है। अपने कुछ ही दिन पहले दिए बयान का उल्लेख करते हुए पवार ने कहा कि जब हम कहते हैं कि इस मुद्दे पर राजनीति नहीं होनी चाहिए, तो इसलिए, क्योंकि हम उस पर हमला तो कर सकते हैं। लेकिन इसकी भारी कीमत पूरे देश को चुकानी पड़ सकती है। इसलिए पर हमले के बजाय हमें उस पर अंतरराष्ट्रीय राजनीतिक दबाव बनाने पर ध्यान देना चाहिए। भारत के पड़ोसी देशों से चीन के घनिष्ठ होते रिश्तों का उल्लेख करते हुए पवार ने कहा है कि चीन हमारे सभी पड़ोसी देशों को हमसे दूर करता जा रहा है।

प्रधानमंत्री बनने के बाद नरेंद्र मोदी नेपाल गए थे। उन्होंने नेपाल की प्रशंसा करते हुए कहा था कि यह भारत का मित्र एवं एकमात्र हिंदू राष्ट्र है। लेकिन आज नेपाल हमारे साथ नहीं, बल्कि चीन की ओर जाता दिखाई दे रहा है। बांग्लादेश को भी आजादी भारत ने दिलवाई। लेकिन अब वह भी चीन के साथ एक समझौता पत्र पर हस्ताक्षर कर चुका है। चीन ने हमारे सभी पड़ोसियों को अपनी ओर कर लिया है। कभी कांग्रेस के बड़े नेता रहे शरद पवार ने कहा कि आज चीन और पाकिस्तान के साथ बिगड़े संबंधों के लिए नेहरू और इंदिरा गांधी को जिम्मेदार ठहराया जाता है। लेकिन नेहरू जानते थे कि चीन एक दिन सुपर पावर बनेगा, इसलिए उसके साथ अच्छे संबंध बनाए रखने चाहिए। इसीलिए उन्होंने पंचशील का सिद्धांत अपनाया था।

पवार ने मोदी सरकार की आर्थिक नीतियों पर प्रहार करते हुए एक और मनमोहन सिंह की आवश्यकता पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा है कि मनमोहन सिंह ने देश के वित्तमंत्री रहते देश की अर्थव्यवस्था को नई दिशा दी थी। मैं भी उस समय प्रधानमंत्री नरसिम्हाराव के मंत्रिमंडल का हिस्सा था। पवार ने कहा कि मोदी को आर्थिक मामलों में विशेषज्ञों की राय लेनी चाहिए। मनमोहन सिंह, प्रणब मुखर्जी एवं पी.चिदंबरम के वित्तमंत्री रहते आर्थिक क्षेत्र के विशेषज्ञों से राय मशविरा किया जाता रहा है। लेकिन मोदी सरकार में विपक्षी दलों के नेताओं से बातचीत बंद हो गई है।

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