एनसीबी मुंबई के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े पर हो रहे राजनीतिक हमलों का जवाब देने को पत्नी और बहन ने संभाला मोर्चा

एनसीबी मुंबई के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े पर हो रहे राजनीतिक हमलों का जवाब देने के लिए अब वानखेड़े की पत्नी क्रांति रेडकर एवं बहन यास्मीन ने मोर्चा संभाल लिया है। यास्मीन ने नवाब मलिक से सवाल किया है कि उन्हें क्यों दिक्कत हो रही है ?

By Vijay KumarEdited By: Publish:Tue, 26 Oct 2021 05:23 PM (IST) Updated:Tue, 26 Oct 2021 05:23 PM (IST)
एनसीबी मुंबई के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े पर हो रहे राजनीतिक हमलों का जवाब देने को पत्नी और बहन ने संभाला मोर्चा
एनसीबी मुंबई के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े पर राजनीतिक हमलेे

राज्य ब्यूरो, मुंबई। एनसीबी मुंबई के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े पर हो रहे राजनीतिक हमलों का जवाब देने के लिए अब वानखेड़े की पत्नी क्रांति रेडकर एवं बहन यास्मीन ने मोर्चा संभाल लिया है। यास्मीन ने नवाब मलिक से सवाल किया है कि समीर वानखेड़े द्वारा की जा रही कार्रवाइयों पर उन्हें क्यों दिक्कत हो रही है ? उधर नवाब मलिक ने आज एक और पत्र जारी कर समीर वानखेड़े पर अपना हमला जारी रखा है।

महाराष्ट्र की महाविकास आघाड़ी सरकार में मंत्री एवं राकांपा प्रवक्ता नवाब मलिक ने सोमवार को समीर वानखेड़े का जन्म एवं जाति प्रमाणपत्र अपने ट्वीटर पर पोस्ट कर कई सवाल खड़े किए थे, और कहा था कि समीर दाऊद वानखेड़े का फर्जीवाड़ा यहां से शुरू होता है। उसके बाद से ही समीर वानखेड़े एवं उनका परिवार खुलकर इन आरोपों का जवाब सामने आ गया है। कल ही समीर के पिता ज्ञानदेव वानखेड़े ने मीडिया के सामने आकर अपने पैतृक गांव तक के कागजात सार्वजनिक कर कहा था कि समीर पर लगाए जा रहे सभी आरोप झूठे हैं। आज समीर की बहन एवं उनकी पत्नी ने भी मीडिया के सामने आकर नवाब मलिक पर पलटवार किया है।

समीर की पत्नी क्रांति रेडकर न कहा है कि हमारे पास सबूत हैं कि वे (नवाब मलिक) अब जो कुछ भी डाल रहे हैं, हम उसका मुकाबला कर सकते हैं। उनकी रिसर्ज और दलील कमजोर है। मेरा पति झूठा नहीं है। हम अपनी मजबूत न्यायपालिका एवं लोगों में विश्वास रखते हैं। क्रांति ने कहा कि मैंने कभी नहीं सोचा था कि कोई अपने निजी कारणों से इतना नीचे गिर सकता है। मुझे लगा कि कुछ तो मानवता बची होगी।

बता दें कि क्रांति का इशारा नवाब मलिक के दामाद समीर खान की ओर था, जिस पर पिछले वर्ष समीर वानखेड़े ने कार्रवाई की थी। इसी ओर इशारा करते हुए क्रांति ने पूछा है कि यदि समीर वानखेड़े को एनसीबी से हटा दिया जाता है, तो सबसे ज्यादा फायदा किसे हो सकता है ? क्रांति ने इंटरनेट मीडिया के जरिए उनके परिवार पर किए जा रहे सुनियोजित हमले पर भी टिप्पणी करते हुए कहा कि हमें ट्रोल करने, गड़ी हुई चीजों को उखाड़ने और संदिग्ध बनाने के लिए एक संपूर्ण पीआर सिस्टम का इस्तेमाल किया जा रहा है।

पेशे से वकील समीर वानखेड़े की बहन यास्मीन वानखेड़े सवाल करती हैं कि अभी तो वह (समीर वानखेड़े) छापेमारी कर रहा है और सिस्टम की सफाई कर रहा है। क्या इसके बजाय उसे आरोपों का जवाब देना चाहिए ? क्या उनके पिता को भी दस्तावेज दिखाने होंगे ? यास्मीन कहती हैं कि नवाब मलिक सोचते हैं कि ट्वीटर एक कोर्ट है। जाति-धर्म का ड्रग रैकेट से क्या लेना-देना है ? यास्मीन ने कहा कि उनके परिवार को उन चीजों के लिए निशाना बनाया जा रहा है, जिनका कोई सबूत नहीं है।

यास्मीन ने कहा कि उनके परिवार को लगातार जान से मारने की धमकियां मिल रही हैं। समीर की भी जान को खतरा है। बता दें कि नवाब मलिक ने आज भी चार पन्नों एक नया पत्र जारी कर समीर वानखेड़े पर हमला जारी रखा है। उनका दावा है कि उन्हें यह बेनामी पत्र एनसीबी के ही किसी कर्मचारी ने भेजा है। जिसे उन्होंने कार्रवाई के लिए एनसीबी के डायरेक्टर जनरल को भेज दिया है।

समीर के जन्म प्रमाणपत्र में हुए सुधार को छुपाया नवाब मलिक ने

राकांपा प्रवक्ता नवाब मलिक ने सोमवार को एनसीबी अधिकारी समीर वानखेड़े जन्म प्रमाणपत्र अपने ट्वीटर हैंडल पर साझा करते हुए लिखा था कि यहां से शुरू होता है समीर दाऊद वानखेड़े का फर्जीवाड़ा। इस जन्म प्रमाणपत्र में समीर का नाम समीर दाऊद वानखेड़े लिखा है। लेकिन जन्म प्रमाणपत्र तैयार करनेवाले अधिकारी या कर्मचारी ने उसी स्थान पर स्टार बनाकर प्रमाणपत्र के दाहिने हिस्से में स्पष्ट रूप से समीर का नाम समीर ज्ञानदेव वानखेड़े लिखा है। लेकिन ट्वीटर पर यह प्रमाणपत्र पोस्ट करते हुए एवं मीडिया से बात करते हुए नवाब मलिक सुधार किया गया यह तथ्य छुपा गए। बल्कि इस प्रमाणपत्र के आधार पर ही समीर को मुस्लिम सिद्ध करते हुए उन्होंने समीर को अनुसूचित जाति का जन्म प्रमाणपत्र भी नकली बता डाला, और कहा कि आईआरएस की नौकरी के लिए उन्होंने फर्जी जाति प्रमाणपत्र का इस्तेमाल कर अनुसूचित जाति के एक व्यक्ति का हक मारा है। इसके लिए समीर वानखेड़े के पिता को स्वयं मीडिया के सामने आकर अपनी पिछली दो पीढ़ियों के जाति प्रमाणपत्र पेश करके यह सिद्ध करना पड़ा कि वह महाराष्ट्र के महार समाज से आते हैं।

chat bot
आपका साथी