Type-2 Diabetes: टाइप-2 डायबिटीज़ के मरीज़ों के इंसुलिन में सुधार ला सकता है Resveratrol
Type-2 Diabetes इंसुलिन आपके शरीर में एक हार्मोन होता है जो कोशिकाओं में ब्लड शुगर स्तर को नियंत्रित करता है। सामान्य ब्लड शुगर स्तर को बनाए रखने के लिए शरीर को इंसुलिन की ज़रूरत होती है। डायबिटीज़ से पीड़ित सभी लोगों को इंसुलिन की ज़रूरत नहीं होती।
नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। Type-2 Diabetes: जो लोग टाइप-2 डायबिटीज़ से पीड़ित होते हैं, तो उन्हें अपनी लाइफस्टाइल से लेकर खानपान में कई तरह के बदलाव करने होते हैं। डायबिटीज़ एक बार हो जाए, तो इसे ठीक नहीं किया जा सकता, लेकिन राहत की बात यह है कि इस स्थिति को थोड़े से बदलाव की मदद से मैनेज किया जा सकता हैं। टाइप-2 डायबिटीज़ में, आपका शरीर या तो पर्याप्त इंसुलिन नहीं बनाता है या इस हार्मोन के प्रभावों का विरोध करता है, जिससे आपके रक्तप्रवाह में ग्लूकोज़ का निर्माण होता है।
इंसुलिन आपके शरीर में एक हार्मोन होता है, जो कोशिकाओं में चीनी की गति को नियंत्रित करता है। सामान्य ब्लड शुगर स्तर को बनाए रखने के लिए शरीर को इंसुलिन की ज़रूरत होती है। ऐसा ज़रूरी नहीं है कि टाइप-2 डायबिटीज़ से पीड़ित सभी लोगों को इंसुलिन की ज़रूरत पड़े। जो मरीज़ करते हैं, तो इसका मतलब यह हुआ कि उनके अग्न्याशय (Pancreas) अपने दम पर पर्याप्त इंसुलिन नहीं बना पा रहे हैं।
रिसर्च में पता चला है कि कुछ खाद्य पदार्थ इंसुलिन संवेदनशीलता को बढ़ाने में मदद कर सकते हैं और रक्त शर्करा के स्तर को बनाए रख सकते हैं। रेसवेराट्रॉल (Resveratrol) एक ऐसा खाद्य पदार्थ है, जो डायबिटीज़ के प्रबंधन के लिए फायदेमंद माना जाता है। इस सप्लीमेंट के रक्तचाप कम करने, कैंसर कोशिकाओं को दबाने और मस्तिष्क कोशिकाओं की रक्षा करने जैसे कई फायदे हैं।
रेस्वेराट्रॉल एक ऐसा कम्पाउंड है, जो एंटीऑक्सिडेंट्स के रूप में काम कर सकता है, जिससे डायबिटीज़ के प्रबंधन में मदद मिलती है। यह रेड वाइन, जामुन और मूंगफली जैसी चीज़ों में पाया जाता है।
कुछ ऐसे तरीके जिनसे Resveratrol डायबिटिक लोगों को फायदा पहुंचा सकता है:
- Resveratrol एक शक्तिशाली एंटी-इंफ्लामेटरी कम्पाउंड है, ये इंफ्लामेशन यानी सूजन को कम या ज़्यादा करने में मदद करता है। जिससे डायबिटीज़ या अन्य बीमारियों में काफी फायदा पहुंचता है।
- रेस्वेराट्रॉल में एंटीऑक्सीडेंट्स होते हैं, जो ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस से सुरक्षा देता है, जिसकी वजह से डायबिटीज़ से जुड़ी परेशानियां नहीं होती।
- रेस्वेराट्रॉल AMPK को एक्टीवेट करने में भी मदद कर सकता है, एक ऐसा प्रोटीन जो ग्लूकोज़ को मेटाबोलाइज़ करने में शरीर की मदद करता है।
- यहां तक कि ये जानवरों में डायबिटीज़ में भी काफी फायदेमंद पाया गया है। एक्सपर्ट्स को उम्मीद है कि ये प्राकृतिक कम्पाउंड भविष्य में डायबिटीज़ के इलाज और इससे जुड़ी समस्याओं को दूर करने के काम आ सकता है।
Disclaimer: लेख में उल्लेखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।