Shaving Myths: शेव करने से क्या सच में बालों और त्वचा को पहुंचता है नुकसान?

Shaving Myths वैक्सिंग करवाने में सबसे ज़्यादा दर्द होता है लेकिन यह तरीका सबसे पॉपुलर है। वहीं दूसरी तरफ शेविंग के बारे में लोगों की धारणा है कि इससे त्वचा को नुकसान पहुंचता है। आज हम शेविंग से जुड़े सभी मिथकों को दूर करने की कोशिश करेंगे।

By Ruhee ParvezEdited By: Publish:Wed, 06 Oct 2021 12:46 PM (IST) Updated:Wed, 06 Oct 2021 12:46 PM (IST)
Shaving Myths: शेव करने से क्या सच में बालों और त्वचा को पहुंचता है नुकसान?
शेव करने से क्या सच में बालों और त्वचा को पहुंचता है नुकसान?

नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। Shaving Myths: जब बात आती है स्किन केयर और ग्रूमिंग की , तो ज़ाहिर है इसमें हेयर रिमूवल भी शामिल होता है। त्वचा से बालों को हटाना एक आम बात है, लेकिन किस तरह से हटाया जाए, इसे लेकर आज भी कई तरह की धारणाएं कायम हैं। लोग आमतौर पर थ्रेडिंग, वैक्सिंग, क्रीम्स, शेविंग या फिर लेज़र ट्रीटमेंट के ज़रिए बालों से छुटकारा पाते हैं। वैक्सिंग करवाने में सबसे ज़्यादा दर्द होता है, लेकिन यह तरीका सबसे पॉपुलर है। वहीं, दूसरी तरफ शेविंग के बारे में लोगों की धारणा है कि इससे त्वचा को नुकसान पहुंचता है। आज हम शेविंग से जुड़े सभी मिथकों को दूर करने की कोशिश करेंगे।

शेविंग से जुड़े 5 मिथक और उनका सच

पहला मिथक: शेविंग की वजह से मोटे और गहरे रंग के बाल आते हैं?

सच: बिल्कुल भी नहीं। यह शेविंग से जुड़ा सबसे बड़ा मिथक है जिसकी वजह से लोग वैक्सिंग जैसे दर्दनाक विकल्प का सहारा लेते हैं। जब आप शेव करते हैं, जो ब्लेड आपकी त्वचा की सतह से बालों को काटता है। जब बालों की मुलायम और पतली टिप कट जाती है, इसलिए बचा हिस्सा मोटा और गहरे रंग का लगता है। हालांकि, जब बाल पूरी तरह से उग जाते हैं, तो उनका प्राकृतिक रंग और टेक्सचर वापस आ जाता है।

दूसरा मिथक: रेज़र को किसी के साथ भी शेयर किया जा सकता है?

सच: अगर आप त्वचा को नुकसान नहीं पहुंचाना नहीं चाहतीं, तो कभी भी किसी के साथ अपना रेज़न शेयर न करें। रेज़र शेयर करने से बैक्टीरियस, वायरल या फिर त्वचा से जुड़े गंभीर इंफेक्शन भी हो सकते हैं।

तीसरा मिथक: साबुन और शेविंग क्रीम में कोई फर्क नहीं

सच: अगर आप इस मिथक को मानते हैं और लंबे समय से इसका पालन कर रहे हैं, तो आपने अभी अपनी त्वचा को काफी नुकसान पहुंचाया है। शेविंग क्रीम न सिर्फ बालों को मुलायम बनाने का काम करती है बल्कि त्वचा को मॉइश्चर भी करती है। वहीं, साबुन त्वचा को रूखा बनाता है जिससे शेव करने पर त्वचा ख़राब होती है।

चौथा मिथक: गीला हो या सूखा, कैसी भी त्वचा पर शेव कर सकते हैं

सच: कई लोग रूखी त्वचा पर शेव कर लेते हैं। हालांकि, रूखी त्वचा पर शेव करने से इनग्रोन हेयर, जलन, और रेज़र से बर्न का जोखिम बढ़ जाता है।

पांचवां मिथक: कम धार वाले ब्लेड से कटने का जोखिम कम होगा

सच: नया ब्लेड पुराने के मुकाबले काफी पैना होता है, ज़रा से प्रेशर से भी त्वचा कट जाती है। लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि कम धार वाले ब्लेड से कटने का डर कम होता है।

Disclaimer:लेख में उल्लिखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।

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