अस्पताल को बना लिया घर, मरीजों को स्वजन
संवाद सहयोगी पतना (साहिबगंज) कोरोना संक्रमण की रफ्तार लगातार बढ़ रही है। ऐसे में स्वा
संवाद सहयोगी, पतना (साहिबगंज) : कोरोना संक्रमण की रफ्तार लगातार बढ़ रही है। ऐसे में स्वास्थ्य कर्मियों को ड्यूटी अवधि से अधिक करना पड़ रहा है। आपदा काल में स्वास्थ्य कर्मियों के लिए अब काम के लिए घंटे यानी समय अवधि कोई मायने नहीं रखती। वे 16-18 घंटे तक ड्यूटी करते हैं।
इसी दौरान दुमका जिले के काठीकुंड प्रखंड की सालदाहा गांव निवासी सालोमी मुर्मू भी मरीजों की सेवा में जुटी है। वह पतना प्रखंड के केंदुआ स्थित कल्याण हॉस्पिटल में एएनएम पद पर कार्यरत है। वह अस्पताल परिसर में ही रहती है और मरीजों की सेवा करती है। बताया कि पिछली बार इस हॉस्पिटल को प्रशासन ने कोविड अस्पताल बनाया था। शुरुआती समय में कोरोना महामारी हमारे लिए बड़ी चुनौती थी। सीमित संसाधनों में यहां आनेवाले मरीजों की बेहतर देखभाल की। प्रारंभिक दिनों में थोड़ा डर भी लगता था। इस वजह से सावधानीपूर्वक कार्य करती थी। जैसे-जैसे समय बीतता गया काम की आदत पड़ गई। उसकी लगन और निष्ठा से अस्पताल के सभी चिकित्सक काफी खुश हैं। सालोमी लगातार हॉस्पिटल में ही रहकर मरीजों को सेवा दे रही है। वह कोविड-19 गाइडलाइन का पालन करते हुए लोगों को इसके लिए जागरूक भी करती है। वह कहती है कि सेवा ही धर्म है। यह सोच कर ही अपनी ड्यूटी निभाई। घर में माता-पिता के अलावा चार भाई व तीन बहन है। फरवरी में मात्र दो दिन के अवकाश में घर गई थी।
------------
सेवाभाव ने मन से निकाला डर
संवाद सूत्र, हिरणपुर (पाकुड़) : सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में प्रतिनियुक्त है एएनएम पुष्पा कुमारी। यह पहले स्वास्थ्य उप केंद्र वीरग्राम में कार्यरत थीं। लोग इनके जज्बे को सलाम कर रहे हैं। घर-परिवार छोड़कर लोगों की सेवा में जुटी है। कोरोना काल में उन्होंने अब तक 7220 लोगों को कोरोना का टीका लगा चुकी है। एएनएम पुष्पा ने बताया कि शुरुआत में थोड़ा डर महसूस होता था, लेकिन बाद में सबकुछ ठीक हो गया। सेवाभाव ने डर को समाप्त कर दिया। कोरोना काल में लोगों की सेवा कर काफी खुश हूं। उन्होंने लोगों को संदेश दिया कि कोरोना का टीका लगाने से ही संक्रमण से बचा जा सकता है। इसलिए सभी वर्गों को टीकाकरण केंद्रों में आकर टीका लेना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि कोरोना का टीका काफी कारगर है। इसका कोई साइड इफैक्ट भी नहीं है। टीका लगाने वाले लोगों को डरने की जरूरत नहीं है।