जंगली हाथियों के डर से रतजगा कर रहे ग्रामीण

सिकिदिरी अनगड़ा प्रखंड में पिछले एक माह से लगातार जंगली हाथी उत्पात मचा रहे हैं। इससे ग्रामी

By JagranEdited By: Publish:Fri, 13 Aug 2021 06:00 AM (IST) Updated:Fri, 13 Aug 2021 06:00 AM (IST)
जंगली हाथियों के डर से रतजगा कर रहे ग्रामीण
जंगली हाथियों के डर से रतजगा कर रहे ग्रामीण

सिकिदिरी : अनगड़ा प्रखंड में पिछले एक माह से लगातार जंगली हाथी उत्पात मचा रहे हैं। इससे ग्रामीणों का रात में सोना मुश्किल हो रहा है। शाम होते ही ग्रामीण अपने-अपने घरों में दुबक जा रहे हैं। हाथी शाम होते ही जंगलों से निकलकर गांवों की ओर कूच कर जाते हैं। कभी इस गांव में तो कभी उस गांव में उत्पाद मचाते हुए घरों को तोड़ रहे हैं और फसलों को नुकसान पहुंचा रहे हैं। इस दौरान कई स्कूलों में धावा बोलकर हाथियों ने उसमें रखे बच्चों के मध्याह्न भोजन को खाकर बर्बाद कर दिया। आंगनबाड़ी केंद्रों में भी धावा बोला।

ग्रामीण रात भर इस चिंता में नहीं सो पाते हैं कि कब हाथियों का झुंड उनके घरों पर धावा बोल देगा। अभी भी 10 हाथियों का दल क्षेत्र में डेरा जमाए हुए है। ग्रामीण दिन में हाथियों को जंगल की ओर खदेड़ कर भगाने का प्रयास करते हैं, लेकिन सफल नहीं हो पाते। अगर हाथियों को भगाने में सफल हो भी जाते हैं, तो रात को फिर से हाथियों का झुंड किसी न किसी गाव में आ धमकता है। आए दिन हाथियों के उत्पात से क्षेत्र के ग्रामीणों को नुकसान उठाना पड़ रहा है।

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जंगली हाथियों ने गांव के निकट डाला डेरा, दहशत

संसू, रनिया (खूंटी) : रनिया प्रखंड क्षेत्र के जयपुर गांव के निकट गुरुवार को दो जंगली हाथियों ने अपना डेरा डाला है। गांव के सामने हाथियों को घूमते देखकर ग्रामीणों में भय का माहौल है। जंगली हाथी के गांव के निकट पहुंचने के बाद जयपुर के किसान भी चितित और परेशान हैं। पिछले दिनों जंगली हाथी के उत्पात मचाए जाने से किसानों के खेत पर लगे धान के बिचड़ा को भारी नुकसान पहुंचा था। गांव के आसपास जंगली हाथी के पहुंचने के बाद अब गांव के किसान जंगलों के निकट खेतों पर जाने से डर रहे हैं। खेत में लगी फसलों के साथ ग्रामीणों को अपने मकानों के सूरक्षित रखने की भी चिता हो रही है। ग्रामीणों के सामूहिक प्रयास से लगातार जंगली हाथियों को खदेड़ कर गांव से जंगल की ओर भगाया जा रहा है। जंगली हाथियों के गांव में घुसने या गांव के सामने आने के बाद वन विभाग द्वारा हाथियों को वापस जंगल की ओर खदेड़ने का प्रयास भी नहीं किया जाता है। हाथी भगाने के लिए वन कर्मी ग्रामीणों को सहयोग भी नहीं करते हैं। ऐसे में ग्रामीणों में आक्रोश व्याप्त है।

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