Land Record Fraud: फर्जी जमीन म्यूटेशन मामले में नहीं हुई कार्रवाई, अपर सचिव ने फिर मांगी रिपोर्ट

Land Record Fraud राजधानी रांची के रातू अंचल में फर्जी जमीन म्यूटेशन के मामले में दोषी अधिकारियों के खिलाफ आरोप सिद्ध होने के बावजूद कार्रवाई नहीं होने पर सरकार के अपर सचिव ने उपायुक्त से रिपोर्ट मांगी है। जांच में रातू अंचल में म्यूटेशन संख्या 873/20-21 अवैध पाया गया।

By Vikram GiriEdited By: Publish:Fri, 15 Jan 2021 05:16 PM (IST) Updated:Fri, 15 Jan 2021 06:20 PM (IST)
Land Record Fraud: फर्जी जमीन म्यूटेशन मामले में नहीं हुई कार्रवाई, अपर सचिव ने फिर मांगी रिपोर्ट
Land Record Fraud: फर्जी जमीन म्यूटेशन मामले में दोषियों पर कार्रवाई का जिला प्रशासन ने नहीं दिया ब्यौरा। जागरण

रांची, जासं । Land Record Fraud, Jharkhand Land Record Fraud राजधानी रांची के रातू अंचल में फर्जी जमीन म्यूटेशन के मामले में दोषी अधिकारियों के खिलाफ आरोप सिद्ध होने के बावजूद कार्रवाई नहीं होने को लेकर सरकार के अपर सचिव ने रांची उपायुक्त से रिपोर्ट मांगी है। बताया गया कि इस मामले में, राजस्व निबंधन एवं भूमि सुधार विभाग के सचिव को लिखे गए क्षेत्रीय जन विकास परिषद के अध्यक्ष दयानंद मिश्रा की शिकायत पर मामले की जांच हुई थी। उपायुक्त की तरफ से जांच में रातू अंचल में म्यूटेशन संख्या 873/20-21 अवैध पाया गया।

इसके बावजूद इस मामले में अब तक दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई करते हुए म्यूटेशन रद्द करने की प्रक्रिया पूरी नहीं की गई है। अपर सचिव की ओर से भेजे गए पत्र में कहा गया है कि इस मामले में की गई जांच और कार्रवाई का ब्यौरा विभाग को भेजने के लिए कहा गया था। यह अब तक आप्राप्त है। लिहाजा उपायुक्त से कहा गया है कि वह तत्काल इस मामले जांच उपरांत की गई कार्रवाई के मामले में अपनी रिपोर्ट भेज कर स्थिति से अवगत कराएं। शिकायतकर्ता को भी रिपोर्ट की प्रति देने के लिए कहा गया है।

32 डिसमिल जमीन का किया गया था अवैध म्यूटेशन, जांच में सीओ दोषी करार

रात को अंचल की रहने वाली नईम खातून की जमीन 37 वर्ष पुराने संदिग्ध डीड के आधार पर कडरू के रहने वाले दूसरे व्यक्ति के नाम पर कर दिया गया। विभागीय निर्देश के आलोक में उपायुक्त की ओर से मामले की जांच अपर समाहर्ता सीलिंग से कराई गई। जांच में सीओ रातू सहित अंचल के कई और कर्मचारियों को दोषी करार दिया गया था। इसके बावजूद अब तक पीड़ित पक्ष को न्याय नहीं मिल सका है।

सीओ, सीआई, कर्मचारी को दोषी पाए जाने के बावजूद कार्रवाई में हो‌ रहे विलंब पर संज्ञान लेते हुए राजस्व सचिव के आदेशानुसार सरकार के अवर सचिव ने उपायुक्त, रांची को अपेक्षित कारवाई करते हुए प्रतिवेदन उपलब्ध करवाने का निर्देश दिया है। साथ ही परिषद अध्यक्ष  भी इसकी सूचना देने का हिदायत दिया है। उम्मीद है कि दागी अधिकारियों पर संभव कारवाई के जरिए प्रशासन अपनी छवि को जल्द ही आमजनों के बीच साफ करने का प्रयत्न करे। - दयानंद मिश्रा, अध्यक्ष, क्षेत्रीय जन विकास परिषद

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