अब चार प्रोजेक्ट के आधार पर विकसित होगी इटकी में मेडिको सिटी

रांची रांची के इटकी में प्रस्तावित मेडिको सिटी अब अलग-अलग चार प्रोजेक्ट के रूप में विकसित होगी। प्राइवेट कंपनियों को इसमें निवेश को लेकर आकर्षित करने के लिए इस प्रोजेक्ट में बदलाव किया गया है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने शुक्रवार को इसका प्रजेंटेशन देखा। उन्होंने इसे मेडिकल हब बनाने की बात कही है।

By JagranEdited By: Publish:Fri, 04 Dec 2020 11:40 PM (IST) Updated:Fri, 04 Dec 2020 11:40 PM (IST)
अब चार प्रोजेक्ट के आधार पर विकसित होगी इटकी में मेडिको सिटी
अब चार प्रोजेक्ट के आधार पर विकसित होगी इटकी में मेडिको सिटी

रांची : रांची के इटकी में प्रस्तावित मेडिको सिटी अब अलग-अलग चार प्रोजेक्ट के रूप में विकसित होगी। प्राइवेट कंपनियों को इसमें निवेश को लेकर आकर्षित करने के लिए इस प्रोजेक्ट में बदलाव किया गया है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने शुक्रवार को इसका प्रजेंटेशन देखा। उन्होंने इसे मेडिकल हब बनाने की बात कही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि यहां के मरीजों को इलाज के लिए दूसरे राज्यों का रुख नहीं करना पड़े, इसे लेकर राज्य सरकार अस्पतालों में अत्याधुनिक संसाधन उपलब्ध कराने का प्रयास कर रही है। मेडिको सिटी में मल्टी और सुपर स्पेशियलिटी चिकित्सा सुविधा से जुड़ी सभी तरह की सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। बता दें कि पीपीपी (पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप) मोड पर विकसित होने वाली मेडिको सिटी में मेडिकल कॉलेज, हॉस्पिटल, पारा मेडिकल संस्थान, सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल और आयुर्वेद सेंटर स्थापित किए जाएंगे। इटकी स्थित टीबी सेनेटोरियम की लगभग 70 एकड़ जमीन में मेडिको सिटी विकसित करने का प्रयास लंबे समय से चल रहा है। दो वर्ष पूर्व इसमें प्राइवेट कंपनियों से निवेश के लिए इच्छा की अभिव्यक्ति आमंत्रित की गई थी, लेकिन चार कंपनियों ने ही इसमें रुचि दिखाई थी। प्रोजेक्ट जटिल होने के कारण ये कपंनियां भी टर्नअप नहीं हो सकीं। अब राज्य सरकार ने कंपनियों को कुछ और रियायतें देने का निर्णय लिया है। इस मौके पर मुख्य सचिव सुखदेव सिंह, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव राजीव अरुण एक्का, स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव नितिन मदन कुलकर्णी आदि भी उपस्थित थे।

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प्रोजेक्ट में क्या-क्या :

अब मेडिको सिटी को चार प्रोजेक्ट के आधार पर विभाजित कर विकसित किया जाएगा। इसके तहत प्रोजेक्ट-ए में मेडिकल कॉलेज और हॉस्पिटल, प्रोजेक्ट-बी में मेडिकल एजुकेशनल हब, प्रोजेक्ट-सी में सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल और प्रोजेक्ट-डी में आयुर्वेद सेंटर बनाया जाएगा।

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मेडिकल कॉलेज में 85 फीसद सीट झारखंड के विद्यार्थियों के लिए होगी आरक्षित :

मेडिकल कॉलेज और हॉस्पिटल के निर्माण के लिए 350 करोड़ रुपये का बजट होगा तथा इसमें 85 फीसद सीट झारखंड के स्थानीय निवासी के लिए आरक्षित होगी। इसके अलावा, 20 प्रतिशत सीटों पर खुला नामांकन होगा, जिसके लिए शुल्क राज्य सरकार तय करेगी। अस्पतालों में 30 प्रतिशत बेड झारखंड के मरीजों के लिए आरक्षित रहेगा।

मेडिकल एजुकेशन हब में स्थापित होने वाले संस्थानों में नर्सिंग में बीएससी और एमएससी की पढ़ाई होगी तथा बीएससी नर्सिंग में 100 सीटें और एमएससी नर्सिंग में 60 सीट होगी। इनमें 15 प्रतिशत सीटें राज्य सरकार द्वारा चयनित किए गए विद्यार्थियों के लिए आरक्षित रहेंगी। इसके निर्माण पर लगभग 350 करोड़ रुपये पर खर्च किए जाएंगे। सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल के लिए 178 करोड़ रुपये का बजट होगा।

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