फेल हो गया खलारी का कोविड सेंटर अस्पताल

खलारी कोयलंाचल के लिए सीसीएल द्वारा बनाया गया कोविड सेंटर फेल होता दिख रहा है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 19 May 2021 07:00 AM (IST) Updated:Wed, 19 May 2021 07:00 AM (IST)
फेल हो गया खलारी का कोविड सेंटर अस्पताल
फेल हो गया खलारी का कोविड सेंटर अस्पताल

संसू, खलारी : खलारी कोयलंाचल के लिए सीसीएल द्वारा बनाया गया कोविड सेंटर फेल होता दिख रहा है। दस दिन पहले जिस उत्साह से इसका उद्घाटन फीता काटकर किया गया वह मजाक बनकर रह गया है। 15 बेड के इस कोविड सेंटर में मात्र बेड लगाकर उपायुक्त को जानकारी दे दी गई कि खलारी कोयलाचल के लिए सीसीएल ने कोविड सेंटर खोल दिया है। परंतु, पिछले दस दिनों में यह कोविड सेंटर किसी भी कोरोना पीड़ित के काम नहीं आया। 12 मई को उपायुक्त के निर्देश पर खलारी आए वरीय प्रभारी को भी इस कोरोना सेंटर में लगाया गया बेड दिखा दिया गया। शुरुआत में ही सेंट्रल अस्पताल के सीएमओ डा. ललन दास ने इस कोविड सेंटर के भविष्य की ओर इशारा करते हुए कह दिया था कि चिकित्सकों और नसरें की कमी दूर होते ही यह सेंटर सुचारू रूप से चालू हो जाएगा। इस कोविड सेंटर के बारे में जब डा. ललन दास से बात की गई, तो उन्होंने साफ-साफ कहा कि डकरा सेंट्रल अस्पताल में कोई विषेशज्ञ नहीं है। जो भी हैं एमबीबीएस हैं। कहा कि कोरोना एक नई बीमारी है। इस बीमारी के इलाज के लिए हमलोगों को प्रशिक्षण चाहिए होगा। हम लोगों ने इसकी पढ़ाई नहीं की है। उन्होंने कहा कि इस कोविड सेंटर को चलाने के लिए 15 डाक्टर, 15 नर्स तथा 15 वार्ड ब्वाय की आवश्यकता है। इसका डिमाड उन्होंने राज्य सरकार तथा सीसीएल हेडक्वार्टर दोनों जगह भेज दिया है। हेडक्वार्टर से कह दिया गया कि डाक्टर नहीं दे सकते हैं। डा. दास ने कहा कि डाक्टर ही नहीं रहेगा तो क्या करेंगे। हमलोग मार खाने का काम तो नहीं करेंगे।

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सेंट्रल अस्पताल एनके एरिया के साथ सौतेला व्यवहार कर रहा सीसीएल

खलारी : सीसीएल अपने एनके एरिया डकरा स्थित सेंट्रल अस्पताल के साथ सौतेला व्यवहार कर रहा है। सीसीएल के 14 एरिया और हेडक्वार्टर के लिए बनाए गए चार सेंट्रल अस्पताल में किसी की सबसे दयनीय स्थिति है तो वह है एनके एरिया स्थित सेंट्रल अस्पताल का। यहा के सीएमओ डा. ललन दास का कहना है कि हमलोग किसी तरह सेंट्रल अस्पताल चला रहे हैं। इस अस्पताल में केवल आठ डाक्टर पदस्थापित हैं। जिनमें तीन के कोरोना पॉजिटिव हो जाने के कारण अभी केवल पाच डाक्टर के ऊपर ही पूरे अस्पताल की जवाबदेही है। इसके विपरीत सीसीएल के अन्य तीन सेंट्रल अस्पतालों में गाधीनगर (राची) में 60 डाक्टर हैं, नई सराय सेंट्रल अस्पताल में 40 तथा ढोरी सेंट्रल अस्पताल में 20 डाक्टर हैं। एनके सेंट्रल अस्पताल में कम डाक्टर के होते हुए भी जवाबदेही सबसे ज्यादा है। पिपरवार का बचरा अस्पताल डाक्टर के कोरोना पॉजिटिव होने के कारण बंद है। जिससे पिपरवार के भी मरीज डकरा सेंट्रल अस्पताल में आ रहे हैं। इसके अलावा मगध, आम्रपाली और रजहारा एरिया की भी जवाबदेही इसी अस्पताल की है। गैर सीसीएलकर्मी भी इलाज के लिए आ रहे हैं। अस्पताल में जो भी डाक्टर व अन्य स्वास्थ्यकर्मी हैं उन्हें 8-8 घटे की तीन शिफ्ट के अलावा इमरजेंसी में ड्यूटी दिया गया है। ओपीडी करीब करीब बंद रखा गया है। डा. ललन दास ने कहा कि मरीज को एंबुलेंस देना प्रबंधन का काम है। डाक्टर मरीज देखेगा, इलाज करेगा कि दूसरी व्यवस्था देखेगा। उन्होंने कहा कि व्यक्तिगत परेशानियों के बावजूद वे इलाज में कोई कमी नहीं कर रहे हैं। कहा कि डॉक्टर भी इंसान है। वह भी इसी समाज से आया है। काम करने के बाद भी आलोचना होने पर तकलीफ होती है।

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