COVID Vaccine: कोरोना टीकाकरण का लक्ष्‍य पूरा करने में झारखंड के गांव आगे, शहरों को दे रहे मात

Jharkhand COVID Vaccination झारखंड के सुदूर इलाकों से आरंभ में ऐसी सूचनाएं आई कि ग्रामीण टीकाकरण करने गई टीम का सहयोग नहीं करते। इससे निपटने के लिए किए गए जागरुकता का असर है कि अब संताल परगना से लेकर पलामू प्रमंडल के गांवों में शत-प्रतिशत लक्ष्य पूरा हो रहा है।

By Sujeet Kumar SumanEdited By: Publish:Sun, 13 Jun 2021 05:38 PM (IST) Updated:Mon, 14 Jun 2021 09:38 AM (IST)
COVID Vaccine: कोरोना टीकाकरण का लक्ष्‍य पूरा करने में झारखंड के गांव आगे, शहरों को दे रहे मात
Jharkhand COVID Vaccination गांव में पहले लोग कोरोना का टीका लेने से डर रहे थे।

रांची, [प्रदीप सिंह]। कोरोना वायरस पर प्रभावी नियंत्रण का मूलमंत्र है अधिक से अधिक टीकाकरण। झारखंड के सुदूर इलाकों में अभियान की शुरुआत में इसे लेकर भ्रम फैलाने की कोशिशों की जागरुकता की वजह से हवा निकल गई। अब चाहे सुदूर संताल परगना के प्रखंड हों या पलामू के गांव, सभी स्थानों पर टीकाकरण अभियान में ग्रामीणों की भागीदारी बढ़-चढ़कर हो रही है। इसके पीछे राज्य सरकार की सफल रणनीति है। दरअसल सरकार ने क्षेत्रीय भाषाओं में संदेश जारी कर सुदूर इलाकों तक पहुंचाने का कार्य किया है।

बताते चलें कि हर क्षेत्र की स्थानीय भाषा अलग-अलग है, जिसका लोग सामान्य बोलचाल में उपयोग करते हैं। मसलन संताली भाषा की लिपि ओलचिकी में भी संदेश जारी किया गया। इसका सकारात्मक असर पड़ा। संदेश के साथ मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की टीकाकरण लेते हुए तस्वीर ने भी कमाल दिखाया। इसका परिणाम हुआ कि अब सामान्य गति से अभियान को संचालित किया जा रहा है।

दुमका के शिकारीपाड़ा, काठीकुंड और दुमका प्रखंड में 70 प्रतिशत से अधिक और मसलिया प्रखंड के रांगा पंचायत के गांवों में 85 प्रतिशत से अधिक टीकाकरण हो चुका है। पलामू प्रमंडल के लातेहार का गारू प्रखंड नक्सल प्रभावित है। यहां 18 वर्ष से लेकर 44 वर्ष के लोगों के टीकाकरण का कार्य तेजी से चल रहा है। लोग टीकाकरण केंद्रों पर स्वेच्छा से आ रहे हैं। ओडिशा की सीमा से सटे कुरडेग प्रखंड से लेकर छत्तीसगढ़ के करीब बनमारा तक टीकाकरण अभियान ने गति पकड़ ली है। बनमारा में शत-प्रतिशत टीकाकरण हुआ है।

जिलों में उपायुक्तों ने कसी कमर

टीकाकरण को लेकर तमाम जिला उपायुक्तों को भी सख्त निर्देश दिए गए हैं। राज्य सरकार की टास्क फोर्स इस पर नजर रख रही है। ज्यादातर जिला उपायुक्तों ने अभियान की कमान खुद संभाल रखी है। वे सुदूर इलाकों में कैंप कर लोगों को टीकाकरण के लिए प्रेरित कर रहे हैं। कई स्थानों पर जिला प्रशासन ने ग्राम प्रधानों समेत मुंडा, पाहन की मदद भी ली है।

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