पैसे के भुगतान को लेकर ASI व ठेकेदार आमने-सामने, मुख्य सचिव व डीजीपी तक पहुंची शिकायत
Jharkhand Police ठेकेदार का आरोप है कि एएसआइ ने बगैर जीएसटी बिल के 12 लाख रुपये के स्टोन चिप्स की सप्लाई कर दी। वह पत्नी के नाम पर बिना लाइसेंस अवैध क्रशर चलाते हैं। एएसआइ ने कहा कि ठेकेदार ने 24 लाख का माल लिया। बदले सिर्फ 6.90 लाख दिया।
रांची, राज्य ब्यूरो। खूंटी जिले में तोरपा से रनिया तक सड़क निर्माण का कार्य करवा रहे ठेकेदार मनोज कुमार जायसवाल व झारखंड पुलिस के एएसआइ (जमादार) श्लोक यादव के बीच पैसे के भुगतान को लेकर किचकिच सामने आई है। इस मामले की शिकायत मुख्य सचिव व डीजीपी तक भी पहुंची है। दोषी कौन है, यह तो जांच के बाद ही पता चलेगा।
ठेकेदार ने जहां एएसआइ श्लोक यादव पर बिना जीएसटी बिल व माइनिंग चालान के 12 लाख रुपये का स्टोन चिप्स सप्लाई करने तथा पत्नी के नाम पर बिना लाइसेंस के तुपुदाना के बालसिरिंग में क्रशर संचालन का आरोप लगाया है, वहीं एएसआइ का कहना है कि ठेकेदार ने उनके क्रशर से 24 लाख रुपये का माल लिया और केवल 6.90 लाख रुपये का भुगतान किया। शेष राशि मांगने पर उनके बेटे अरविंद कुमार को जान से मारने की धमकी दी और उग्रवादियों के नाम पर धमकाया।
दोनों ही पक्ष ने दस्तावेज पुख्ता होने की जानकारी दी है। एएसआइ के अनुसार ठेकेदार मनोज कुमार जायसवाल ने ही कहा था कि उन्हें बिना चालान व बिना जीएसटी बिल का स्टोन चिप्स चाहिए, जबकि मनोज कुमार जायसवाल ने इसे झूठा बताते हुए कहा कि वे एक सरकारी ठेकेदार हैं। जब तक बिल जमा नहीं करेंगे, उन्हें विभाग भुगतान ही नहीं करेगा। कोई ठेकेदार ऐसा कैसे कह सकता है। मामला संवेदनशील है और इसकी निष्पक्ष जांच होगी तो बहुत सी बातें सामने आएगी।
ठेकेदार ने डीजीपी व मुख्य सचिव को दिए गए आवेदन में जमादार पर यह आरोप लगाया
ठेकेदार मनोज कुमार जायसवाल ने जमादार पर जान से मारने की धमकी देने व गाली-गलौज का आरोप लगाया है। आरोप है कि जमादार ने बिना जीएसटी बिल के ही उसे 12 लाख रुपये के स्टोन चिप्स की सप्लाई कर दी। ठेकेदार ने जमादार श्लोक यादव व जमादार की पत्नी चंदेश्वरी देवी के संयुक्त खाते में विभिन्न किश्तों में 9.55 लाख रुपये का भुगतान भी कर दिया, लेकिन उसे जीएसटी बिल नहीं दिया गया।
आरोप है कि ठेकेदार ने बिल नहीं मिलने पर भुगतान रोक दिया तो जमादार ने उन्हें जान से मारने की धमकी दी और गाली-गलौज भी की। ठेकेदार का आरोप है कि उसे अंधेरे में रखकर जमादार ने अपने अवैध क्रशर से स्टोन चिप्स की सप्लाई की। उसे न तो खनन विभाग की अनुमति मिली है और न ही उसको लाइसेंस ही मिला है। उन्होंने खनन विभाग में भी एएसआइ के उक्त क्रशर के खिलाफ शिकायत की है।
एएसआइ ने कहा, ठेकेदार ने उनके साथ जालसाजी की
एएसआइ श्लोक यादव ने कहा कि उनकी पत्नी के नाम पर माइनिंग लीज है। वे पत्नी व बेटे के साथ उक्त क्रशर का संचालन करते हैं। ठेकेदार ने लिखित रूप में ही उनसे माल लिया, जिसका उनके पास सबूत है। एएसआइ के अनुसार ठेकेदार ने उनके साथ जालसाजी की है। इसी मामले में उन्होंने तुपुदाना ओपी में ठेकेदार के खिलाफ प्राथमिकी भी दर्ज कराई है। खुद को फंसता देखकर ही ठेकेदार ने डीजीपी से उनकी शिकायत की है। जांच में दूध का दूध व पानी का पानी हो जाएगा।