जमशेदपुर के होटल अलकोर मामले के सात आरोपितों को मिली जमानत

रांची जमशेदपुर के होटल अलकोर में देह व्यापार व लॉकडाउन उल्लंघन के सात आरोपितों को झारखंड हाई कोर्ट से राहत मिल गई है। जस्टिस आर मुखोपाध्याय की अदालत ने सभी को जमानत की सुविधा प्रदान कर दी। सभी पक्षों की दलील सुनने के बाद अदालत ने दो जुलाई को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। सोमवार को अदालत ने फैसला सुनाया।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 07 Jul 2020 12:45 AM (IST) Updated:Tue, 07 Jul 2020 12:45 AM (IST)
जमशेदपुर के होटल अलकोर मामले के सात आरोपितों को मिली जमानत
जमशेदपुर के होटल अलकोर मामले के सात आरोपितों को मिली जमानत

रांची : जमशेदपुर के होटल अलकोर में देह व्यापार व लॉकडाउन उल्लंघन के सात आरोपितों को झारखंड हाई कोर्ट से राहत मिल गई है। जस्टिस आर मुखोपाध्याय की अदालत ने सभी को जमानत की सुविधा प्रदान कर दी। सभी पक्षों की दलील सुनने के बाद अदालत ने दो जुलाई को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। सोमवार को अदालत ने फैसला सुनाया। जमानत मिलने वालों में होटल मालिक राजीव सिंह दुग्गल, राजेश कुमार मंगोतिया, राहुल अग्रवाल, शरद पोद्दार, दीपक अग्रवाल, राजकुमार अग्रवाल व धनंजय सिंह शामिल हैं। निचली अदालत से जमानत खारिज होने के बाद सभी ने हाई कोर्ट में याचिका दाखिल कर जमानत की गुहार लगाई थी।

पिछली सुनवाई के दौरान वरीय अधिवक्ता अजीत कुमार व विकास कुमार ने अदालत को बताया कि इस मामले में पकड़ी गई लड़की को निचली अदालत से जमानत मिल गई है। उक्त लड़की उस होटल में ठहरी थी। उसने पुलिस को दिए बयान में सारी बातें बताई है, जिसमें उसने शरद पोद्दार को अपना पुरुष मित्र बताया है। वह उससे पहले भी मिल चुकी है। ऐसे में देह व्यापार का आरोप सही नहीं है। इसी तरह सभी आरोपितों की ओर से पुलिस द्वारा देह व्यापार के आरोपों को नकारते हुए जमानत दिए जाने की गुहार लगाई गई थी। बता दें कि इन आरोपितों के खिलाफ देह व्यापार किए जाने व लॉकडाउन उल्लघन करने की प्राथमिकी दर्ज की गई है। पुलिस ने अप्रैल में ही सभी आरोपितों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था, तभी से वे जेल में बंद हैं।

-------------- कोर्ट ने पूछा, गैर अनुसूचित जिलों के अभ्यर्थियों का क्यों नहीं जारी हुआ परिणाम

रांची : झारखंड हाई कोर्ट के जस्टिस एसके द्विवेदी की अदालत में सोमवार को गैर अनुसूचित जिले के अभ्यर्थियों के परिणाम जारी करने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई हुई। सुनवाई के बाद अदालत ने राज्य सरकार और झारखंड कर्मचारी चयन आयोग (जेएसएससी) को जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया। अदालत ने जेएसएससी से पूछा है कि गैर अनुसूचित जिलों के अभ्यर्थियों का परिणाम क्यों नहीं निकाला जा रहा है। मामले में अगली सुनवाई सितंबर में होगी। इस संबंध में श्याम सुंदर यादव ने हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की है।

सुनवाई के दौरान प्रार्थी की ओर से अदालत को बताया गया कि जेएसएससी गैर अनुसूचित जिलों के अभ्यर्थियों का परिणाम प्रकाशित नहीं कर रहा है। उनका मामला सोनी कुमारी के मामले से प्रभावित नहीं हो रहा है, क्योंकि इस मामले में अदालत ने नई नियुक्ति नहीं होने की बात कही थी। लेकिन, गैर अनुसूचित जिले में होने वाली नियुक्ति पर कोई आदेश नहीं है। आयोग के अधिवक्ता संजय पिपरवाल ने कहा कि यह मामला सोनी कुमारी वाले मामले से प्रभावित है। इस कारण परिणाम का प्रकाशन नहीं हो पा रहा है। इस पर अदालत ने राज्य सरकार व आयोग से जवाब मांगा है।

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