सरकार ने वापस लिया पथ निर्माण में टेडर के बाद कार्यादेश पर लगी रोक

28 जनवरी को राज्य सरकार ने लगाई थी कार्यादेश पर रोक वित्तीय अनियमितता के आरोप में अभियंता प्रमु

By JagranEdited By: Publish:Sat, 29 Feb 2020 01:51 AM (IST) Updated:Sat, 29 Feb 2020 01:51 AM (IST)
सरकार ने वापस लिया पथ निर्माण में टेडर के बाद कार्यादेश पर लगी रोक
सरकार ने वापस लिया पथ निर्माण में टेडर के बाद कार्यादेश पर लगी रोक

28 जनवरी को राज्य सरकार ने लगाई थी कार्यादेश पर रोक, वित्तीय अनियमितता के आरोप में अभियंता प्रमुख हुए थे सस्पेंड

रांची, राब्यू : राज्य सरकार ने पथ निर्माण विभाग में टेंडर के बाद कार्यादेश पर लगाई गई रोक वापस ले ली है। इससे संबंधित आदेश जारी कर दिया गया है। सरकार ने वर्तमान अधिसूचित दर पर दिए गए कार्यादेश पर लगाई गई रोक को रद कर दिया है। इसकी जानकारी विभाग के मुख्य अभियंता को पत्र लिखकर दी गई है।

दरअसल, 28 जनवरी को राज्य सरकार ने अधिसूचित दरों पर दी गई टेंडर के कार्यादेश पर रोक लगा दिया था। इसमें कहा गया था कि प्रभावी अधिसूचित दरों से अधिक पर काम के कारण सरकार को नुकसान उठाना पड़ रहा है। ऐसे में राजस्व की हानि को रोकने के लिए टेंडर कार्यादेश रद करना आवश्यक है।

आदेश के बाद पथ निर्माण विभाग के सारे टेंडर कार्यादेश रोक दिए गए। लगभग एक माह बाद इसे हटाने का फैसला लिया गया। वित्तीय अनियमितता की वजह और उसके लिए दोषियों को चिन्हित करने की कार्रवाई भी की गई। उच्च अधिकारियों द्वारा विभागीय समीक्षा के दौरान पाया गया कि ग्रामीण विकास विभाग व पथ निर्माण विभाग द्वारा सड़क निर्माण के लिए निर्धारित अधिसूचित दरों में बहुत अंतर है। इसके लिए पथ निर्माण विभाग के अभियंता प्रमुख रास बिहारी को जिम्मेदार बताते हुए उन्हें निलंबित कर दिया गया।

इसके अलावा वर्तमान वित्तीय वर्ष में उस दर पर जारी सभी टेंडर के कार्यादेश पर रोक लगा दी गई थी। इसके पीछे राजस्व हानि को रोकने की बात कही गई थी।

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