कोरोना का ने सिखाया परिवर्तन और मजबूत वित्तीय प्रबंधन

कोरोना संक्रमण ने पूरी मानवता के समक्ष गंभीर चुनौती पेश की। कुछ लोगों ने चुनौती का जमकर मुकाबला किया।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 22 Oct 2020 08:04 PM (IST) Updated:Thu, 22 Oct 2020 08:04 PM (IST)
कोरोना का ने सिखाया परिवर्तन और मजबूत वित्तीय प्रबंधन
कोरोना का ने सिखाया परिवर्तन और मजबूत वित्तीय प्रबंधन

जासं, रांची : कोरोना संक्रमण ने पूरी मानवता के समक्ष गंभीर चुनौती पेश की। कुछ लोगों ने चुनौतियों के आगे हार मानने की बजाए इसका डटकर मुकाबला किया। व्यापारियों के लिए संक्रमण काल ने चुनौतियों के साथ व्यापार की कमियों को भी समझने का बड़ा वक्त दिया। सैलून का बिजनेस इस कोरोना संक्रमण काल में बुरी तरह से प्रभावित हुआ है। रांची में ब्यूटी एरा की संचालिका प्रीति ने सभी परेशानियों का डटकर मुकाबला किया। वहीं अनलाक में ग्राहकों की अपेक्षा और सैलून में सुरक्षा मानकों के इस्तेमाल पर खरी उतरीं। केवल दो वर्ष में ही सैलून बिजनेस में अपनी एक विशेष पहचान बनाने वाली प्रीति बताती हैं कि कोरोना का संक्रमण काल सैलून व्यापारियों के लिए बड़ा सबक बनकर सामने आया। हमने समझ लिया कि वक्त से साथ परिवर्तन और मजबूत वित्तीय प्रबंधन के साथ ही व्यापार चलाया जा सकता है। अनलाक की चुनौतियों ने सिखाया असल व्यापार:

ब्यूटी एरा की संचालिका प्रीति बताती है कि अनलाक के बाद सैलून खोलते ही देनदारों की लाइन लग गई। सरकार के स्तर से बैंक से लोन पर थोड़ी राहत मिली मगर लोकल वेंडर को संभालना मुश्किल था। उनके पैसे ब्लाक होने से उन्हें भी पेमेंट की जरूरत थी। इसके अलावा एक बड़ा खर्च दुकान का किराया भी था। इस मुश्किल वक्त में कुछ समझ नहीं आ रहा था कि व्यापार को कैसे खड़ा किया जाए। कई बार मन हुआ कि सैलून को बंद कर दिया जाए मगर फिर हिम्मत की। शांत दिमाग और लगन से दिन-रात एक करके अपना काम शुरू किया। इसका सफल परिणाम मिल रहा है।

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सुरक्षा के भाव से लोगों में जगाया विश्वास :

प्रीति बताती हैं कि कोरोना के बाद सैलून बिजनेस एकदम शिथिल पड़ गया। लोगों में डर था कि सैलून जाने पर कहीं संक्रमित न हो जाएं। ऐसे में विभिन्न माध्यमों का इस्तेमाल करके लोगों तक ये संदेश दिया कि ब्यूटी एरा में कोरोना संक्रमण से बचने संबंधी गाइडलाइन का पूरा पालन किया जाता है। सैलून में आने वाले ग्राहकों के शरीर का तापमान लेने के साथ ही एक ग्राहक पर इस्तेमाल करने के बाद टूल को दूसरे ग्राहकों पर इस्तेमाल नहीं किया जाता। इसके साथ ही ज्यादातर डिस्पोजेबल आइटम का इस्तेमाल किया जाता है। प्रीति बताती हैं कि सैलून के काम में लोगों के सीधे संपर्क में आना पड़ता है। ऐसे में कर्मचारियों और अन्य ग्राहकों की सुरक्षा को हमने पूरी तरह से सुनिश्चित किया। लोगों को संक्रमण के बारे में जागरूक करने के लिए हमने ग्राहकों को काम्प्लीमेंट्री सैनिटाइजर देना भी शुरू किया। इससे लोगों में सुरक्षा का भाव बढ़ा।

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ग्राहकों को सर्विस देने के लिए कम किया रेट:

प्रीति बताती हैं कि कोरोना संक्रमण और लॉकडाउन के कारण लोगों के पाकेट पर काफी असर पड़ा। लोग पैसे की कमी के कारण सैलून में आने से कतरा रहे थे। हालांकि सैलून की जरूरत हर किसी को थी। ऐसे में हमने अपने ग्राहकों के बजट का भी ध्यान रखा। कई महंगे ट्रीटमेंट की दरों में कटौती की। सैलून खुलने के बाद नो प्राफिट नो लॉस पर हम काम कर रहे हैं। हालांकि दामों में कटौती करने का ये मतलब ये नहीं है हमने अपनी सर्विस की क्वालिटी से कोई समझौता किया। हमारे सैलून को अपने ग्राहकों को हमेशा एक जैसी क्वालिटी सर्विस देने के लिए जाना जाता है। प्रीति बताती हैं कि बाजार में कई लोग हैं जो बेहतर सर्विस देने का वादा करते हैं। मगर हम रिजल्ट ओरिएंटेड सर्विस देते हैं। ग्राहक को अगर एक सर्विस में रिजल्ट नहीं मिलेगा तो वो किसी भी हाल में दूसरी बार सर्विस के लिए हमारे पास नहीं आएगा। इसलिए हम अपने सैलून में केवल ब्रांडेड और ट्रस्टेड एंड टेस्टेड उत्पादों का इस्तेमाल करते हैं।

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मेहनत से तैयार की व्यापार की जमीन :

प्रीति ने रांची वीमेंस कॉलेज से स्नातक की पढ़ाई की है। इसके बाद मुंबई के लॉरियल एकेडमी से मेकअप की ट्रेनिग ली। पिछले पांच वर्ष से सैलून व्यवसाय में कई ब्रांड के साथ जुड़कर काम कर रही हैं। वर्तमान में अपने माता-पिता के साथ रह रही हैं। प्रीति का मानना है कि व्यापार में इमानदारी और मेहनत दो ऐसी चीज हैं जो किसी भी हाल से आपको निकालकर सफल मुकाम तक पहुंचा सकती हैं।

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