अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर अखिल भारतीय योग शिक्षक महासंघ 21 लाख बच्चों को कराएगा वर्चुअल योगाभ्यास

अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर अखिल भारतीय योग शिक्षक महासंघ के अध्यक्ष योग गुरु मंगेश त्रिवेदी के निर्देशन में योग में देश के 26 राज्यों केंद्र शासित प्रदेशों के 585 से अधिक जनपदों में 21 लाख बच्चों को वर्चुअल योगाभ्यास कराया जाएगा।

By Vikram GiriEdited By: Publish:Sun, 20 Jun 2021 07:45 AM (IST) Updated:Sun, 20 Jun 2021 07:45 AM (IST)
अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर अखिल भारतीय योग शिक्षक महासंघ 21 लाख बच्चों को कराएगा वर्चुअल योगाभ्यास
अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर अखिल भारतीय योग शिक्षक महासंघ 21 लाख बच्चों को कराएगा वर्चुअल योगाभ्यास। जागरण

रांची, जासं। अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर अखिल भारतीय योग शिक्षक महासंघ संस्था के अध्यक्ष योग गुरु मंगेश त्रिवेदी के निर्देशन में योग में उच्च शिक्षा प्राप्त 3000 से अधिक योग शिक्षकों द्वारा भारतवर्ष के 26 राज्यों, केंद्र शासित प्रदेशों के 585 से अधिक जनपदों में 21 लाख बच्चों को महामारी की तीसरी संभावित लहर से बचाने व उनके उत्तम स्वास्थ्य के लिए वर्चुअल योगाभ्यास कराएगा। इस कार्यक्रम को ऑनलाइन एवं ऑफलाइन माध्यम से आयोजित कराने के लिए व्यापक स्तर पर योग में उच्च शिक्षा प्राप्त योग शिक्षकों को जिम्मेदारियां सौंपी गई हैं।

अखिल भारतीय योग शिक्षक महासंघ के संस्थापक, अध्यक्ष योग गुरु मंगेश त्रिवेदी ने बताया कि बच्चों के शारीरिक, मानसिक एवं भावनात्मक उन्नति हेतु योग असरदार तो है ही लॉकडाऊन में उनके स्वास्थ्य पर पड़ने वाले दुष्प्रभाव को दूर करने का बेहतरीन साधन भी है। इस कार्यक्रम के तहत दैनिक जागरण ब्रांड झारखंड के द्वारा आयोजित कार्यक्रम तहत शीतली प्राणायाम का बच्चों को आनलाइन अभ्यास कराया गया। शीतली प्राणायाम से गर्मी के मौसम से निजात पाई जा सकती है। इसके अलावा यह मन की शांति और शारीरिक शीतलता प्रदान करता है।

विधि : सर्व प्रथम रीढ़ को सीधा रखते हुए किसी भी सुखासन में बैठ जाएँ। फिर जीभ को बाहर निकालकर उसे इस प्रकार मोड़े ही वह एक ट्यूब या नली के आकार जैसी बन जाए। फिर इस नली के माध्यम से ही धीरे-धीरे मुँह से साँस लें। हवा नलीनुमा इस ट्यूब से गुजरकर मुँह, तालु और कंठ को ठंडक प्रदान करेगी। इसके बाद जीभ अंदर करके साँस को धीरे-धीरे नाक के द्वारा बाहर निकालें। साँस भरते हुए आपको आवाज़ सुनाई देगी जिस प्रकार तेज़ हवा चलने पर हमारे आसपास आवाज़ सुनाई देती है। इस प्राणायाम का अभ्यास दस बार कर सकते हैं। प्राणायाम का अभ्यास होने के बाद गर्मी के मौसम में इसकी अवधि आवश्यकता अनुसार बढ़ा सकते हैं।

लाभ-

शीतली प्राणायाम के अभ्यास से भूख-प्यास पर नियंत्रण प्राप्त होता है। शरीर को ठंडक मिलती है। इससे मानसिक स्तर पर शाँति मिलती है और भावनात्मक संतुलन आता है। शरीर में प्राणों का प्रवाह नियमित होता है। इससे माँसेपेशियों में स्थिरता और ढ़ीलापन आता है। रक्तचाप भी कम होता है। इसलिए उच्च रक्तचाप वालों के लिए शीतली प्राणायाम फायदेमंद है। एसिडिटी की शिकायत होने पर भी इससे लाभ होता है। प्राणायाम से ह्रदय, फेफड़े, और तंत्रिका तंत्र मज़बूत होते हैं। उनकी कार्यक्षमता बढ़ती है।

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