नहीं मिले मजदूर, खेत में ही बर्बाद हो गई अरहर की फसल

नीलांबर -पीतांबरपुर (पलामू) कृषि कार्य के समय मजदूर नहीं मिलते हैं तो खेती शुरू करना मु

By JagranEdited By: Publish:Sat, 08 May 2021 06:33 PM (IST) Updated:Sat, 08 May 2021 06:33 PM (IST)
नहीं मिले मजदूर, खेत में ही बर्बाद हो गई अरहर की फसल
नहीं मिले मजदूर, खेत में ही बर्बाद हो गई अरहर की फसल

नीलांबर -पीतांबरपुर (पलामू): कृषि कार्य के समय मजदूर नहीं मिलते हैं तो खेती शुरू करना मुश्किल हो जाता है। इधर कभी-कभी मजदूरों के अभाव में खेती के बाद भी किसान की मेहनत खेत में ही रह जाती है। फसल खेत मे ही बर्बाद होने लगते हैं। ऐसा ही कुछ देखने को मिला है प्रखंड के के सुदूरवर्ती गांव डबरा में। यहां एक सीमांत किसान ध्रुव नारायण सिंह की 15 एकड़ में लगी अरहर की फसल कटनी के अभाव में खेत में ही रह गई। 15 एकड़ में अरहर की खेती में लगभग 50 से 60 हजार रुपये खर्च होने का अनुमान है। करीब 8 महीने के बाद फसल तैयार हुई है। इधर फसल काटने वाले मजदूरों ने धोखा दे दिया। मजदूर कटनी को तैयार नहीं हुए। नतीजा है कि तैयार फसल खेत में पड़ी है। अब धीरे धीरे अरहर का सारा दाना खेत में ही झड़ने लगा है। इससे किसान की खेती में किए गए खर्च की राशि के एवज में एक फूटी कौड़ी भी नसीब नहीं हुई है। अरहर की यह फसल खेत से कटकर खलिहान में पहुंच जाए तो किसान को दो से ढाई लाख रुपए की आमदनी हो सकती है। किसान ध्रुव नारायण सिंह ने बताया कि यहां हार्वेस्टिग की समस्या है। मजदूर नहीं मिलते हैं। इस कारण कई वर्षों से अरहर की खेती नहीं के बराबर करते थे। बीते वर्ष महरजा के नागेंद्र साव कंबाइन मशीन खरीदी है। बीते वर्ष आस-पास में अरहर की कटाई की थी। वे इस वर्ष आकर बोले कि आप ज्यादा से ज्यादा अरहर की खेती कीजिए। हम मशीन से कटाई कर देंगे। फसल तैयार होने के बाद वे नहीं आए। अब मजदूरों के अभाव में तैयार फसल खेत में ही बर्बाद हो गई है। पलामू प्रखंड के किसान धान खरीद नहीं किए जाने से पहले से ही परेशान हैं।

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