छतरपुर पुलिस की कार्य संस्कृति गलत : किशोर
छतरपुर छतरपुर थाना केखोंढ़ी गांव में लोगों द्वारा पांच मोटर चोरों को मौका-ए-वारदात से पकड़कर पुलिस के हवाले करने के बाद सबूतों के अभाव में पांचों चोरों को छतरपुर थाना से छोड़ देने के मामले में अब तूल पकड़ना शुरू कर दिया है।
संवाद सूत्र, छतरपुर : छतरपुर थाना के खोंढ़ी गांव में ग्रामीणों द्वारा पांच मोटर चोरों को मौका-ए-वारदात से पकड़कर पुलिस के हवाले करने के बाद सबूतों के अभाव में थाना से छोड़ देने का मामला तूल पकड़ने लगा है। ग्रामीणों द्वारा विधायक राधाकृष्ण किशोर को संज्ञान में मामला दिए जाने के बाद उन्होंने इस पर अपनी कड़ी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने छतरपुर पुलिस कार्य संस्कृति को गलत बताते हुए पुलिस पर ग्रामीणों की बातों को ही साक्ष्य मानने की बात कही। कहा कि जैसी जानकारी है कि वे सभी संदिग्ध चोर थे और उन पर करवाई होनी चाहिए थी, लेकिन उन्हें छोड़ दिया गया। चोरों ने ट्रांसफॉर्मर से लाइन काट दिया। उन्हें मोटर चोरी करने के क्रम में ग्रामीणों ने पकड़ा। खोंढ़ी उग्रवाद प्रभावित इलाके का गांव है। इसके बावजूद ग्रामीणों ने पुलिस पर आस्था जताते हुए चोरों को उनके हवाले किया। थानेदार का कहना है साक्ष्य नहीं मिला। तो क्या चोरों के घर से चोरी का सामान मिलता, तब उसे साक्ष्य माना जाता? थानेदार का बयान है कि वे पांचों चिड़िया पकड़ने गये थे। 12 बजे रात को कौन सी चिड़िया पकड़ी जाती है? फिर चिड़िया पकड़ना भी तो गुनाह है? उन्होंने ग्रामीणों से इस मामले को लेकर उच्चस्थ पदाधिकारियों से बात करने की बात कही है।