देरी से मिल रही रिपोर्ट, कैसे लगे कोरोना पर लगाम

रविद्र नाथ कोडरमा कोरोना की दूसरी लहर अधिक भयावह रूप ले रही है। पिछले तीन दिनों मे

By JagranEdited By: Publish:Thu, 15 Apr 2021 07:31 PM (IST) Updated:Thu, 15 Apr 2021 07:31 PM (IST)
देरी से मिल रही रिपोर्ट, कैसे लगे कोरोना पर लगाम
देरी से मिल रही रिपोर्ट, कैसे लगे कोरोना पर लगाम

रविद्र नाथ, कोडरमा : कोरोना की दूसरी लहर अधिक भयावह रूप ले रही है। पिछले तीन दिनों में करीब तीन सौ मामले सामने आ चुके हैं, वहीं तीन लोगों को कोरोना संक्रमण से मौत हो चुकी है। वहीं जांच रिपोर्ट मिलने में हो रही देरी से भी संक्रमण पर लगाम नहीं लग पा रही है। ट्रूनेट जांच की रिपोर्ट जहां एक दिन बाद मिल रही है, वहीं आरटी पीसीआर की रिपोर्ट आने में आठ से दस दिन लग रहे हैं। कोरोना की दूसरी लहर तेजी से पांव पसार रही है। विभिन्न राज्यों में पहली लहर की तुलना में तेजी से मामले बढ़ रहे हैं। कई राज्यों में कई तरह की पाबंदियां भी लगाई गई हैं। झारखंड में भी नाइट क‌र्फ्यू लगाया गया है। कोडरमा जिला प्रशासन ने भी कई एहतियाती कदम उठाए हैं। झुमरीतिलैया शहर में सब्जी बाजार को फिर से खुले स्थान पर स्थानांतरित कर दिया गया है। मास्क पहनने और शारीरिक दूरी का पालन करने को लेकर लोगों को जागरूक किया जा रहा है और पालन नहीं करने पर जुर्माना वसूला जा रहा है। वहीं कोरोना की रिपोर्ट जल्दी नहीं आने से भी इस पर लगाम लगाने में मदद नहीं मिल पा रही है। ट्रूनेट की रिपोर्ट एक दिन बाद मिल रही है तो आरटी पीसीआर की रिपोर्ट आने में आठ से दस दिन लग जा रहे हैं। दरअसल आरटी पीसीआर जांच के लिए सैंपल हजारीबाग भेजे जाते हैं। वहां से रिपोर्ट आने में देरी होती है। इस दौरान सैंपल देने वाले आइसोलेट होने के बजाय लोगों से मिलते-जुलते रहते हैं। जांच रिपोर्ट आने में देरी और लोगों को आइसोलेट होने के बारे में जागरूक करने के बारे में बात करने के लिए सिविल सर्जन डा. एबी प्रसाद के मोबाइल फोन कई बार कॉल किया गया, लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया। :::जांच के बाद लोग नहीं हो रहे आइसोलेट:::

सर्दी, खांसी, बुखार और सांस लेने में तकलीफ होने पर चिकित्सक कोरोना की जांच कराने की सलाह देते हैं। लोग जांच कराते भी हैं। वहीं जांच के बाद रिपोर्ट आने तक लोग सामान्य तरीके से लोगों से मिलते रहते हैं। ऐसे में अगर वह संक्रमित होते हैं तो उनसे दूसरों को संक्रमण फैलने की आशंका रहती है। रिपोर्ट पाजिटिव होने के बाद वे खुद को आइसोलेट करते हैं। ::::जागरूक करने की भी व्यवस्था लचर ::::

सदर अस्पताल व विभिन्न स्वास्थ्य केंद्रों पर लोग जांच कराने पहुंचते हैं। सैंपल लेने के दौरान उन्हें यह जानकारी नहीं दी जाती है कि अगर उनमें लक्षण हैं तो वह अभी से खुद को आइसोलेट कर लें। सैंपल लेते समय या नाम-पता दर्ज करते समय यह जानकारी देने की व्यवस्था की जानी चाहिए। बता दें कि लक्षण नहीं होने पर ऐसे लोग भी जांच कराते हैं जो हवाई जहाज या ट्रेन से अन्य राज्य या महानगर जा रहे होते हैं। ::::::::::

पिछले दिनों में आए मामले और आरटी पीसीआर जांच की स्थिति

तारीख कुल मामले रिपोर्ट आना बाकी

11 अप्रैल 70 6000

12 अप्रैल 125 5999

13 अप्रैल 90 5931

14 अप्रैल 125 5873

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