पहली अगस्त से महंगी हो जाएगी जमीन की रजिस्ट्री
दो वर्षों के बाद शहरी क्षेत्र में आशियाना हो या फिर
संवाद सहयोगी, झुमरीतिलैया (कोडरमा): दो वर्षों के बाद शहरी क्षेत्र में आशियाना हो या फिर जमीन खरीदनेवाले लोगों की जेब और हल्की होनेवाली है। कोडरमा जिले के झुमरीतिलैया, कोडरमा व डोमचांच के अलावा कोडरमा अंचल के दो मौजा करमा व बेकोबार में जमीन, फ्लैट और मकान का सरकारी मूल्य (सर्किल रेट) महंगा होने जा रहा है। 31 जुलाई की संध्या में नई सूची जारी हो जाएगी तथा 1 अगस्त से 10 से 20 प्रतिशत की वृद्धि फ्लैट, मकान और जमीन पर होगी। झुमरी तिलैया में 28 वार्डों में सबसे महंगी जमीन वर्तमान समय में वार्ड नं0 11 में दो लाख 45 ह•ार प्रति डिसमिल है, जबकि अन्य वार्डों में डेढ़ लाख से 1 लाख 75 हजार प्रति डिसमिल है। प्रत्येक दो साल में सरकारी दर पूर्णनिर्धारित की जाती है। बताते चलें पटना और रांची की राजधानी के बीच कोडरमा जिला अवस्थित है। यहां की भूमि अधिकारियों के साथ-साथ पड़ोसी राज्यों को काफी भाती है। जिले के सभी सरकारी विभागों में सालाना राजस्व वसूली दो साल से कोरोना काल में ठप है। लेकिन जमीन रजिस्ट्री कमाऊ पूत के रूप में लक्ष्य से ऊपर राजस्व वसूली कर रिकॉर्ड बना रहा है। वित्तीय वर्ष 2020 - 2021 मे कोडरमा का लक्ष्य 12 करोड़ 59 लाख था। जो लक्ष्य से बढ़कर 129 प्रतिशत 16 करोड़ 30 लाख की वसूली की गई। जबकि चार महीना रजिस्ट्री पूरी तरह से बंद था। एक फायदा यह भी मिला कि वर्तमान हेमंत सोरेन सरकार ने महिलाओं को एक रुपये में होने वाली रजिस्ट्री को रद कर दिया था। इससे पूर्व कोडरमा मे इस वजह से 3 से चार करोड़ ही राजस्व वसूली होती थी।