नारी शक्ति को सम्मान देने के लिए दहेज प्रथा हटाना जरूरी
रामनवमी के अवसर पर भैयाडीह युगल बिहार कुंज मानस मंदिर में धार्मिक अनुष्ठान का कार्यक्रम जारी है। गुरुवार को भैयाडीह में नवल किशोर शरण जी महाराज तथा युगल किशोर शरण जी महाराज ने प्रवचन के माध्यम से भगवान नारायण की लीला का गुणगान किया। महाराज ने मां जानकी की विदाई के बाद प्रभु श्री राम केवट प्रसंग की कथा भक्तों को सुनाई।
संवाद सहयोगी, नारायणपुर (जामताड़ा) : रामनवमी के अवसर पर भैयाडीह युगल बिहार कुंज मानस मंदिर में धार्मिक अनुष्ठान का कार्यक्रम जारी है। गुरुवार को भैयाडीह में नवल किशोर शरण जी महाराज तथा युगल किशोर शरण जी महाराज ने प्रवचन के माध्यम से भगवान नारायण की लीला का गुणगान किया। महाराज ने मां जानकी की विदाई के बाद प्रभु श्री राम केवट प्रसंग की कथा भक्तों को सुनाई।
कहा अति आनंद उमगि अनुरागा। चरण सरोज पखारन लागा।। अर्थात जिस चरण धुली के लिए देवी-देवता भी तरसते है। आज केवट का भाग्य देखिए उन्हीं चरणों को धोकर चरणामृत का पान कर रहे हैं। अपने साथ- साथ अपने पूर्वजों को भी भवसागर से तार रहे हैं। महाराज ने मानस में वर्णित द्वादश ज्योतिर्लिंग के बारे में विस्तार से बताया। इनकी महिमा का वर्णन किया गया। प्रवचन में कहा कि आज दहेज रूपी दानव हमारे समाज को खोखला कर रहा है। लोग हैं कि दहेज बिना शादी नहीं कर रहें है। उन्होंने कहा कि बड़ी रकम, सोना, चांदी, फ्रीज, टीवी, आलमीरा को छोड़कर सुशील, संस्कारी, सुंदर वधू लाएं तभी समाज का कल्याण हो सकेगा। दहेज प्रथा को बंद करने के लिए सभी को आगे आना होगा। नारी शक्ति को सम्मान देने के लिए दहेज प्रथा को हटाया जाना आवश्यक है। सभी रामराज चाहते हैं परंतु इसके लिए ईमानदारी से पहल कोई नहीं करना चाहता। वास्तव में राम राज्य प्रतिकूलता का ही सृजन है और रावण राज अनुकूलता के दुरुपयोग का प्रतीक है। इस अवसर पर दिनेश मिश्र के संगीतमय भजन जन्म लियो रघुरेया अवध में बाजे बधइया को सुनकर श्रोता मंत्रमुग्ध हो गए। भैयाडीह के दोनों ही धार्मिक आयोजनों में श्रीकांत तिवारी, परितोष तिवारी, भागवत तिवारी, भानू तिवारी, उमेश मिश्र, मिथलेश मिश्र, गणेश पंडित, राजेश मिश्रा, नरेश पाठक समेत अन्य भक्त शामिल थे।