Jamshedpur News: ड्रग्स, डांस और ड्रिंक्स के बीच उड़ता Jharkhand का कोल्हान, हर कोने में आबाद है नशे की अंधेरी दुनिया

नशे ने कोल्हान का हर कोना को प्रभावित किया है। अफीम और पोस्त के बाद अब हेरोइन स्मैक मेडिकेटेड टेबलेट्स व इंजेक्शन ने भी रंग दिखाना शुरू कर दिया है। जमशेदपुर व उससे सटे आदित्यपुर में 20 से 30 साल के युवा नशे का ज्यादा शिकार हो रहे हैं।

By Rakesh RanjanEdited By: Publish:Thu, 17 Jun 2021 11:20 AM (IST) Updated:Thu, 17 Jun 2021 12:03 PM (IST)
Jamshedpur News: ड्रग्स, डांस और ड्रिंक्स के बीच उड़ता Jharkhand का कोल्हान, हर कोने में आबाद है नशे की अंधेरी दुनिया
जमशेदपुर का कोई ऐसा क्षेत्र बचा नहीं जहां ड्रग्स पहुंचा नहीं।

जमशेदपुर, जितेंद्र सिंह।  ड्रग्स, डांस और ड्रिंक्स के बीच सिसकती जिंदगी। अपना कोल्हान कभी भी ऐसा नहीं था। जमशेदपुर से लेकर आदित्यपुर, गम्हरिया, सरायकेला से लेकर चाईबासा तक मौत के जाल में फंसती जिंदगी अपने पीछे बर्बादी के निशान छोड़ रही हैं। हर हफ्ते पुलिस ड्रग्स पैडलर्स को गिरफ्तार कर रही है, लेकिन सप्लाई चेन को नहीं तोड़ पाना उसकी नाकामी है। ड्रग्स के मायाजाल में फंसते युवा अपराध की दुनिया में कदम रखते हैं, फिर वहां से वापसी मुश्किल हो जाती है।

जमशेदपुर शहर के एक प्रतिष्ठित कॉलेज का छात्र। पिता टाटा स्टील में बड़े अधिकारी हैं। प्लस टू करने के बाद हॉस्टल में रहने का मौका मिला। जिंदगी में पहली बार आजादी मिली। दोस्तों संग खूब मस्ती होती थी। तभी एक दिन दोस्तों ने ड्रग्स के बारे में बतलाया। छात्र तो पहले डरा, लेकिन दोस्तों ने हौसला दिया और पहली बार ड्रग्स से पहली बार साबका पड़ा। वापस घर लौटने के बाद माता-पिता को पता चला तो उन्हें धक्का लगा। सिदगोड़ा स्थित रिहैबिलिटेशन सेंटर ले जाया गया, जब जाकर स्थिति में सुधार हुई। आज यह छात्र मल्टीनेशनल कंपनी में नौकरी कर रहे हैं। लेकिन इंजीनियरिंग कॉलेज के इस छात्र जैसा हर कोई भाग्यशाली नहीं होता, जो नशे की अंधेरी दुनिया से वापस हो पाया।

कोल्हान का हर कोना प्रभावित

नशे ने कोल्हान का हर कोना को प्रभावित किया है। अफीम और पोस्त के बाद अब हेरोइन, स्मैक, मेडिकेटेड टेबलेट्स व इंजेक्शन ने भी रंग दिखाना शुरू कर दिया है। औद्योगिक नगरी जमशेदपुर व उससे सटे आदित्यपुर में नशे के इन आतंकियों ने छोटे-छोटे बच्चों से लेकर महिलाओं तक को अपना शिकार बनाकर लाखों की कमाई कर रहे हैं। 20 से 30 साल के युवा नशे का ज्यादा शिकार हो रहे हैं। नशा करने के लिए पहले तो घर से पैसे लेते हैं। जब घर के पैसे खत्म हो जाता है तो फिर घर का सामान बेचना शुरू कर देते हैं। इसके बाद लूटपाट, चोरी, ठगी व रिश्तेदारों से रुपये मांगने के बाद यहां तक की भीख मांगने की नौबत आ जाती है। कई बार तो जेल जाने तक की नौबत आ जाती है।

जमशेदपुर के हर कोने में ड्रग्स का धंधा

जमशेदपुर का कोई ऐसा क्षेत्र बचा नहीं जहां ड्रग्स पहुंचा नहीं। जी हां यह बिल्कुल सत्य है। सरायकेला-खरसावां जिले के आदित्यपुर की मुस्लिम बस्ती के बाद जमशेदपुर के हर इलाके में ब्राउन शुगर का धंधा हर हर कोने तक फैल गया है। धंधा बेरोकटोक जारी है और चलते-फिरते हो रहा है। हर जगह नशे की पुड़िया उपलब्ध है। ब्राउन शुगर के साथ गांजा की भी खरीद-बिक्री हो रही है। जिन-जिन इलाकों में नशे की पुड़िया की बिक्री हो रही है। उस इलाके में चोरी और छिनतई की घटनाएं अधिक हो रही हैं और इन घटना में पकड़े जाने पुलिस के सामने यहीं बयां करते हैं कि नशे की आदत है इसकी पूर्ति के लिए चोरी करते हैं।

धंधेबाजों ने पूरे शहर को जाल में फंसाया

धंधा करने वालों ने पैसों के बल पर पूरे शहर को अपने जहर के जाल के फंसा लिया है और धंधे से जुड़े लोग संगठित रूप से काम कर रहे हैं इसमें विशेष कर महिलाएं भी शामिल हैं। युवाओं को अपराध की ओर मोड़ रहे हैं और मौत के मुंह में धकेल रहे हैं। सबसे कम कीमत एक पुड़िया 100 रुपये की है। हर इलाके में नशे का हर सामान आराम से उपलब्ध है। जितना रुपये उतना माल। जैसा ग्राहक वैसी कीमत। नशा युवाओं को गिरफ्त में लेता जा रहा हैं। समय-समय पर जमशेदपुर पुलिस कार्रवाई करती है और ड्रग्स बेचने वाले पकड़े जाते हैं, लेकिन सरगना का ना तो नाम सामने आता है और ना ही धंधा कैसे संचालित होता है इसके पीछे कौन लोग है किसका संरक्षण है इसका पता चल पाता है। परिणाम धंधा जारी है। गांजा की तो खुलेआम बिक रहा है।

यहां हो रहा नशे की पुड़िया का धंधा

शहर के परसुडीह थाना क्षेत्र कीताडीह गाड़ीवान पट्टी इलाका, संजय नगर तालाब से सटा क्षेत्र, बर्मामाइंस का कैरेज कालोनी, चूना भठ्ठा बस्ती, भक्तिनगर, जुगसलाई में गौरीशंकर रोड, गरीब नवाज कालोनी और खरकई नदी तट से सटे बस्ती क्षेत्र, सीतारामडेरा के छायानगर, कल्याणनगर, चंडीनगर, मानगो बस स्टैंड के आस-पास का क्षेत्र, मानगो और आजादनगर और उलीडीह का क्षेत्र, सिदगोड़ा के कान्हू भठ्ठा और इसके आस-पास के क्षेत्र, डिमना लेक क्षेत्र, बिष्टुपुर का बाजार और धतकीडीह का इलाका।

जमशेदपुर पुलिस ने धंधा से जुड़े 32 लोग गिरफ्तार किए, इनमें महिलाएं भी

जमशेदपुर पुलिस ने शहर के विभिन्न इलाकों में 32 लोगों को गिरफ्तार किया। इनमें छह महिलाएं भी शामिल हैं। 16 फरवरी को धंधे से जुड़ी महिलाएं समेत बंगाल से नशे की पुड़िया लाकर सप्लाई करने वाले आपूर्तिकर्ता को 16 फरवरी को जुगसलाई थाना की पुलिस ने गिरफ्तार किया था। इसके बाद आगे की कार्रवाई नहीं हुई। 30 लाख कीमत की 400 ग्राम ब्राउन शुगर बरामद किया गया था। गिरफ्तार सदस्यों में एक पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद का हसीउर रहमान भी शामिल था जो ड्रग्स की सप्लाई करता था। ड्रग्स मामले में सबसे अधिक गिरफ्तारी मानगे और सीतारामडेरा से की गई है।

पश्चिम सिंहभूम में एक साल के अंदर दो बार ड्रग्स के मामले में 7 लोग हो चुके हैं गिरफ्तार

पश्चिम सिंहभूम जिला में पिछले एक वर्ष के दौरान दो बार ड्रग्स के मामले में पुलिस ने सात लोगों को गिरफ्तार किया है। पहला मामला 31 अगस्त 2020 को चाईबासा जैसे छोटे शहरो में प्रकाश में आया था। जिसमें ब्राउन शुगन के खरीद-बिक्री करने वाले गिरोह का पर्दाफाश पुलिस ने किया था। इसके कारोबार में लिप्त तीन लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार किया था। जिसमें मुफस्सिल थाना के गुटूसाई में रहने वाले अमन राज व अश्विनी झा के साथ सदर थाना गाड़ीखाना में रहने वाले रीकेश कुमार विश्वकर्मा को गिरफ्तार किया गया था। उन लोगों के पास से चार छोटी पुडिया में लपेटा हुआ ब्राउन शुगर जब्त किया गया था। दूसरी मामला 4 मई 2021 को चाईबासा पुलिस ने उजागार किया था। जिसमें पुलिस ने 50 ग्राम ब्राउन शुगर के साथ चार लोगों को गिरफ्तार किया था। गिरफ्तार लोगों में एक महिला लक्ष्मी सवैंया, रिचर्ड लोमग, विशाल एक्का व दिलीप सामड शामिल थे। ड्रग्स के कारोबार पूर्वी सिंहभूम जिले के बागबेडा थाना क्षेत्र के हरहरगुटू व सरायकेला-खरसावां जिला के आदित्यपूर क्षेत्र से ड्रग्स सप्लाई करने का मामला प्रकाश में आया था।

नशा के खिलाफ लोगों को जागरूक होना होगा : कोल्हान डीआइजी

कोल्हान डीआइजी राजीव रंजन सिंह की माने तो नशा के खिलाफ लोगों को जागरूक होना होगा। जब तक नशाखोरी नहीं रुकेगी तब तक नशा के धंधे से जुड़े लोगाें का मनोबल नहीं टूटेगा। कारण नशा की डिमांड और सप्लाई एक-दूसरे के पूरक है। लोग नशा नहीं करेंगे तो स्वाभाविक नशा की डिमांड नहीं होगी तो इसकी सप्लाई नहीं होगी। खरीदने-बेचने वाले सक्रिय नही होंगे। इसलिए सामाजिक रूप से नशा का बहिष्कार करना होगा। अभिभावकों को देखना होगा। उनके बच्चे क्या कर रहे हैं। कोल्हान में बड़े पैमाने पर ड्रग्स की खरीद-बिक्री करने वाले गैंग पकड़े गए हैं। आदित्यपुर की ड्रग्स की तस्कर डॉली पकड़ी गई। ड्रग्स जब्त किया गया। विगत एक साल में सरायकेला-खरसावां और जमशेदपुर में लगातार ड्रग्स के खिलाफ अभियान चलाया गया। डीआइजी ने कहा जमशेदपुर और सरायकेला-खरसावां जिले की पुलिस को संयुक्त रूप से ड्रग्स के खिलाफ अभियान चलाने के निर्देश दिए गए हैं। कार्रवाई की जा रही है। लोग ड्रग्स बेचने वालों की सूचना दें। पुलिस अवश्य कार्रवाई करेगी। नशा करने वाले ही चोरी-छिनतई की घटना में शामिल रहते हैं। कई बार गिरोह के पकड़े जाने के बाद ऐसी बातें सामने आती है।

ड्रग्स तस्करों के चैनल को तोड़ना होगा : आर दयाल

जमशेदपुर के सेवानिवृत्त डीएसपी आर दयाल ने कहा ड्रग्स तस्करों के चैनल को तोड़ना होगा। धंधे में शामिल लोग संगठित रूप से काम करते है। मुख्य किंगपिन कोई और होता है। अड्डों तक नशा पहुंचाने वाला कोई दूसरा होता है। कई चैनल इनके बने होते है। पुलिस को कड़ी कार्रवाई करनी होगी। स्पीडी ट्रायल के माध्यम से सुनवाई हो ताकि तस्करों को सजा मिले। धंधे में शामिल लोगों में भय बने। नशा के अड्डे पर लगातार छापामारी होनी चाहिए। लोग भी नशा के खिलाफ गोलबंद हो और लोगों में सामाजिक सोच भी होनी चाहिए। युवाओं को नशा से होने वाले नुकसान को बताने होंगे। उनके बीच जाकर पहल करनी होगी। ताकि युवा नशा से बच सके। पूर्व डीएसपी ने कहा कि नशा का धंधा करने वाले की काली कमाई पर चोट करनी होगी। इसके लिए सबको आगे आना होगा। तभी कुछ होगा।

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