Jharkhand News : 1400 शिक्षकों की Service Confirmation का कार्य पूरा, झारखंड में पहली बार होगा सामूहिक सेवा संपुष्टि
Jharkhand News झारखंड के सरकारी शिक्षकों के लिए उम्मीद की किरण और पूर्वी सिंहभूम के गुरुजी में खुशी की लहर। राज्य में पहली बार शिक्षकों की सेवा संपुष्टि कर दिया जाएगा। जिला शिक्षा अधीक्षक ने पूर्वी सिंहभूम के उपायुक्त के पास फाइल अनुमोदन के लिए भेज दिया है।
जासं, जमशेदपुर : अखिल झारखंड प्राथमिक शिक्षक संघ पूर्वी सिंहभूम का एक प्रतिनिधिमंडल वरीय शिक्षक नेता सुनील कुमार तथा जिलाध्यक्ष सुनील कुमार यादव के नेतृत्व में जिला शिक्षा अधीक्षक पूर्वी सिंहभूम से मिलकर विभिन्न समस्याओं के समाधान हेतु वार्ता किया। शिक्षकों की सेवा संपुष्टि के संबंध में जिला शिक्षा अधीक्षक ने बताया कि लगभग 1400 शिक्षकों का सेवा संपुष्टि अनुमोदन के लिए उपायुक्त पूर्वी सिंहभूम के पास जमा है।
जिले के उन शिक्षकों का जिनकी सेवा पुस्तिका किसी कारणवश जमा नहीं हो पाई है, उनके लिए शीघ्र ही आदेश जारी किया जाएगा। विभागीय आदेश अनुसार अनुकंपा पर नियुक्त तथा इंटर पास शिक्षक जिनकी 12 साल सेवा पूर्ण होने पर भी अब तक ग्रेड वन का लाभ नहीं मिला है ,ऐसे शिक्षकों को नियुक्ति तिथि से ग्रेड वन देने हेतु संघ के निवेदन पर उन्होंने कहा कि ऐसे सभी शिक्षकों का वेतन निर्धारण हेतु निकासी एवं व्ययन पदाधिकारी के माध्यम से सेवा पुस्तिका उनके कार्यालय में जमा किया जाएगा।
शिक्षकों को जल्द मिलेगा स्नातक प्रशिक्षित वेतनमान
हाल ही में जारी विभागीय आदेश के आलोक में भूतलक्षी प्रभाव से प्रोन्नति देने हेतु संघ के मांग पर जिला शिक्षा अधीक्षक ने कहा कि शीघ्र ही ऐसे शिक्षकों को स्नातक प्रशिक्षित वेतनमान तथा प्रधानाध्यापक के पद पर प्रोन्नति देने हेतु कार्रवाई की जाएगी। मालूम हो कि 35-40 साल से कार्यरत शिक्षकों की सेवा संपुष्टि का कार्य पहली बार झारखंड सरकार के आदेश पर हो रहा है।
इस मामले में प्रखंड शिक्षा प्रसार पदाधिकारियों की सुस्ती पर उपायुक्त से भी शिकायत की गई थी। प्रतिनिधि मंडल ने भी धालभूमगढ़, मुसाबनी, डुमरिया के प्रखंड शिक्षा प्रसार पदाधिकारी की शिथिलता की शिकायत की गई है। प्रतिनिधिमंडल में अनिल प्रसाद ,सचिव सरोज कुमार लेंका , संजय केसरी , मधुसूदन प्रसाद, देवाशीष एवं प्रेस प्रवक्ता ओम प्रकाश सिंह मौजूद थे।
इधर, पूर्वी सिंहभूम जिले में सेवा संपुष्टि की खबर सुनते ही सरकारी शिक्षकों में खुशी की लहर दौड़ गई। उधर झारखंड के अन्य जिलों के शिक्षकों को भी उम्मीद होने लगी है कि उनके भी अच्छे दिन आएंगे।