EPFO खाताधारकों के लिए बड़ी खबर, PF व Pension Fund को अलग करने की तैयारी

कोरोना काल में नौकरियां कम हो गई। कई लोगों को आर्थिक मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा है। स्थिति ऐसी हो गई है कि लोग पीएफ से जमा पूंजी निकालने को मजबूर हैं। अब सरकार पीएफ फंड व पेंशन फंड को अलग करने जा रही है।

By Jitendra SinghEdited By: Publish:Tue, 22 Jun 2021 06:00 AM (IST) Updated:Tue, 22 Jun 2021 09:40 AM (IST)
EPFO खाताधारकों के लिए बड़ी खबर, PF व Pension Fund को अलग करने की तैयारी
EPFO खाताधारकों के लिए बड़ी खबर, PF व Pension Fund को अलग करने की तैयारी

जमशेदपुर : केंद्र सरकार का भविष्य निधि और पेंशन खातों को अलग-अलग करने की योजना है। सरकार मासिक पेंशन भुगतान की सुरक्षा के लिए कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) द्वारा कवर किए गए लगभग छह करोड़ से अधिक लोगों के लिए भविष्य निधि और पेंशन खातों को अलग कर सकती है। जानकारी के मुताबिक ऐसा इसलिए किया जा रहा है क्योंकि जब कर्मचारी अपना भविष्य निधि निकालते हैं तो वे अपने पेंशन फंड से भी पैसा निकाल लेते हैं। इसका सबसे बड़ा कारण है कि पीएफ और पेंशन एक ही खाते में जमा होती है।

कोरोना महामारी के साथ ही लोगों की आर्थिक स्थिति खराब हो गई है। घर बैठे लोग पीएफ की रकम निकाल रहे हैं। सरकारी आंकड़ों के अनुसार बीते साल महामारी के प्रकोप के बाद 31 मई 2021 तक कोविड एडवांस के तहत साढ़े 70 लाख से अधिक लोगों ने पैसा निकाला है। यही नहीं एक अप्रैल 2020 से ईपीएफओ ने 19 जून 2021 तक कोविड एडवांस के तहत 3.90 करोड़ दावों का निपटारा किया है। जानकारी हो कि कर्मचारियों और नियोक्ताओं दोनों ने प्रत्येक माह 24 प्रतिशत वैधानिक ईपीएफओ योगदान में से 8.33 प्रतिशत ईपीएस कर्मचारी पेंशन योजना और बाकि ईपीएफ में जाता है। ईपीएफओ से किसी भी कारण से राशि निकासी करते समय ग्राहक अक्सर पेंशन राशि समेत सारी बचत निकाल लेती है।

ईपीएफ और पेंशन के लिए अलग-अलग खातों की जरूरत

ईपीएफओ के केंद्रीय बोर्ड के सदस्य बृजेश उपाध्याय ने कहा है कि कोविड की दूसरी लहर खत्म होने जा रही है। आने वाले समय में ईपीएफ और पेंशन के लिए अलग-अलग खातों की जरूरत है। एक बार जब दोनों खाते अलग-अलग हो जाते हैं तो एक ग्राहक पेंशन में अधिक योगदान कर सकता है। इसके बाद रिटायर होने के बाद अधिक पेंशन प्राप्त कर सकते हैं। आने वाले समय में दो अलग-अलग योजनाओं को लागू हो सकती है। पहला प्रत्येक महीने 15 हजार रुपये की वेतन सीमा से कम आय वाले कर्मचारियों के लिए और दूसरी उन कर्मचारियों के लिए जो 15 हजार से अधिक रुपये कमा रहे हैं। सरकार वर्तमान समय में ईपीएफओ की कर्मचारी पेंशन योजना के हिस्से के रूप में 15 हजार रुपये से कम मासिक वेतन पाने वाले प्रत्येक कर्मचारियों की पेंशन में 1.16 प्रतिशत का योगदान देती है।

पीएफ व पेंशन के खाते अलग होना जरूरी

केंद्र सरकार के एक अधिकारी ने कहा है कि ईपीएफओ के तहत भविष्य निधि व पेंशन के खाते अलग-अलग होना चाहिए। नियमानुसार आवश्यकता पड़ने पर पीएफ से राशि निकालने में कोई समस्या नहीं होनी चाहिए, जबकि पेंशन खाते को आदर्श के रूप में अछूता रखा जाना चाहिए। इसका फायदा उपभोक्ताओं को ही होगा। उन्हें पेंशन की राशि अधिक मिलेगी। केंद्र सरकार के अधिकारियों के मुताबिक इस साल के शुरूआत में एक आंतरिक सरकारी पैनल द्वारा ईपीएफ और इपीएस खातों को अलग करने की सलाह देने के बाद इपीएफओ बोर्ड की बैठक में इस पर चर्चा हो चुकी है। 

chat bot
आपका साथी