फादर लिवंस का आगमन स्मृति दिवस के रूप में मना

सवांद सूत्र बसिया(गुमला)बसिया प्रखंड के तेतरा गांव स्थित चर्च परिसर में फादर कोंसटंट लिवंस क

By JagranEdited By: Publish:Sun, 28 Feb 2021 09:14 PM (IST) Updated:Sun, 28 Feb 2021 09:14 PM (IST)
फादर लिवंस का आगमन स्मृति दिवस के रूप में मना
फादर लिवंस का आगमन स्मृति दिवस के रूप में मना

सवांद सूत्र, बसिया(गुमला):बसिया प्रखंड के तेतरा गांव स्थित चर्च परिसर में फादर कोंसटंट लिवंस के आगमन का स्मृति दिवस मनाया गया। फादर लिबन्स 23 फरवरी 1888 ई में तेतरा में अपना पड़ाव डालकर रोमन कैथोलिक चर्च का स्थापना की थी। इसी के याद में कार्यक्रम आयोजित की गई । जिसमें मुख्य रूप से गुमला धर्म प्रांत के बिशप पाल लकड़ा ने फादर लिबन्स के जीवनी एवं कार्यों पर विस्तृत प्रकाश डालते हुए कहा कि फादर लिबन्स ने एक नारा दिया था कि मशाल और विश्वास का दीपक जलता रहे। इसी के तहत उन्होंने आदिवासी समाज के बीच जमींदारी प्रथा के जुर्म समाप्त करने का कार्य किया था। आदिवासियों के बीच भूत प्रेत के डर को समाप्त करने का कार्य भी किया है। इस क्षेत्र में सर्वप्रथम शिक्षा को बढ़ावा देने का कार्य किया। शिक्षा के क्षेत्र में कार्य करने के बाद गरीबी,शोषण एवं पूंजीवादी व्यवस्था से आजाद करवाने का कार्य किया।उनके कार्यों से आदिवासी समाज उनपर विश्वास करने लगे और ºीस्तीय धर्म अपनाने लगे। इस दौरान आशीष,मिस्सा पूजा एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया।इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से भिकार जेनरल सिप्रियन कुल्लू,फादर मतीयस,फादर आन्सेल्म,फादर निरंजन,फादर दयाकिशोर,फादर पतरस,फादर नोबर,फादर निकोलश, फादर विनोद,फादर पौलुस,सेतु कुमार एक्का,फॉलोरा मिज,रोशन बरवा आदि शामिल थे।

फादर लिबन्स के प्रतिमा का किया गया अनावरण

फादर लिबन्स जब पहली बार तेतरा गांव में अपना पड़ाव डाले थे ,तब वह तोरपा से घोड़ा में चलकर आये थे।इसी को लेकर तेतरा गांव में घोड़ा पर बैठा हुआ उनका प्रतिमा बनाया गया है। जिसका अनावरण गुमला धर्म प्रान्त के बिशप पाल लकड़ा के द्वारा किया गया।

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