दुर्गापूजा में नहीं सुनाई देगी डीजे की आवाज

गोड्डा मार्च के अंतिम सप्ताह से शुरू हुए कोरोना संक्रमण के बाद से लोगों की दिनचर्या बदली ह

By JagranEdited By: Publish:Thu, 22 Oct 2020 07:02 PM (IST) Updated:Thu, 22 Oct 2020 07:02 PM (IST)
दुर्गापूजा में नहीं सुनाई देगी डीजे की आवाज
दुर्गापूजा में नहीं सुनाई देगी डीजे की आवाज

गोड्डा: मार्च के अंतिम सप्ताह से शुरू हुए कोरोना संक्रमण के बाद से लोगों की दिनचर्या बदली है। वहीं कोरोना पर्व त्योहार पर भी खलल डाल रहा है। लोगों को पर्व त्योहार मनाने में अपनी पुरानी आदतों को भी त्यागना पड़ रहा है। कोरोना संक्रमण काल में उच्च साउंड क्षमता का डीजे बाजा जो आमतौर हानिकारक माना जाता है, एक तरह से बैन ही लग गया है।

इसके पहले होली, रामनवमी, चैती नवरात्र मुहर्रम, ईद, सावन माह, जन्माष्टमी जैसे पर्व गुजर चुके हैं लेकिन इन पर्व में लोगों को शारीरिक दूरी व भीड़ के कारण मनाने की आजादी नहीं मिल पाई है। कई माह तक धर्म स्थान के पट भी बंद रहे। इसके कारण भी डीजे सहित अन्य लाउडस्पीकर को अनुमति अबतक नहीं मिल पाई है जबकि डीजे पर एक तरह बैन ही लगा हुआ है। इससे लोग राहत भी महसूस कर रहे हैं लेकिन कम साउंड के बाजा पर बैन लगने से भी लोग निराश हैं। इसके कारण भी पर्व त्योहार फीका पड़ जा रहा है। इधर नई गाइडलाइन में शर्त के साथ पूजा के दौरान 55 डेसीबल वाले ध्वनि विस्तारक यंत्र को बजाने की अनुमति दी है जिसमें पूजा स्थल पर मंत्र, पाठ,आरती का प्रसारण लाउडस्पीकर से हो सकता है जबकि पहले से रिकार्ड गाना व डिजिटल रिकॉर्डिंग को बजाने की अनुमति नहीं होगी। वहीं दूसरी ओर डीजे पर बैन जारी रहेगा। डीजे की ध्वनि क्षमता 500 डेसीबल से अधिक है जिसमें ज्यादा शोर होता है।

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दुर्गा मंदिरों न तो सजावट, न ही पंडाल की अनुमति

जारी गाइडलाइन में दुर्गा मंदिरों में सजावट, लाइटिग व पंडाल आदि नहीं बनाए गए हैं। यहां तक की मेला भी नहीं लगना है। न ही दुकान सजनी है। यही कारण है कि अबतक दुर्गा पूजा में रौनक नहीं आ पाई है जबकि बेलभरण निमंत्रण दिया जा चुका है। यहां तक की मंदिर के पास भीड़ भी नहीं लगने दिया जा रहा है। इधर पूजा समितियों में भी सरकार के इस व्यवस्था से नाराजगी भी है। --------------------

कहीं भी शारीरिक दूरी का पालन नहीं विधायक अमित कुमार मंडल ने कहा कि जिले में प्रशासन शारीरिक दूरी का पालन नहीं करवा पा रहा है। हाट में बाजार में लगातार नियम टूट रहे हैं लेकिन धार्मिक स्थान खासकर मंदिरों व दुर्गा मंदिरों में सरकार व प्रशासन दबाव दे रहा है। यहां तक की भ्रमण करने वाले कई कनीय अधिकारी भी शारीरिक दूरी का पालन सरकारी वाहन में नहीं कर रहे है। कहा कि सरकार की मंशा को साफ समझा जा सकता है। कहा कि इस तरह की बंदिश का वे विरोध करते है नियम बराबर है सभी जगह शारीरिक दूरी का पालन होना चाहिए व भीड़ नहीं लगना चाहिए।

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