झारखंड में झामुमो व भाकपा माले के बिना भाजपा को रोकना संभव नहीं: दीपंकर भट्टाचार्य

Dipankar Bhattacharya. दीपंकर भट्टाचार्य के मुताबिक, झामुमो व भाकपा माले के बिना भाजपा के खिलाफ कोई भी गठबंधन कारगर नहीं होगा।

By Sachin MishraEdited By: Publish:Wed, 16 Jan 2019 01:52 PM (IST) Updated:Wed, 16 Jan 2019 02:56 PM (IST)
झारखंड में झामुमो व भाकपा माले के बिना भाजपा को रोकना संभव नहीं: दीपंकर भट्टाचार्य
झारखंड में झामुमो व भाकपा माले के बिना भाजपा को रोकना संभव नहीं: दीपंकर भट्टाचार्य

गिरिडीह, जेएनएन। भाकपा माले के राष्ट्रीय महासचिव दीपंकर भट्टाचार्य ने कहा है वामपंथी पार्टियों को दरकिनार कर झारखंड एवं बिहार में भाजपा को रोकना संभव नहीं है। साथ ही, झामुमो को आंदोलन की पार्टी बताते हुए कहा कि झामुमो एवं माले के बिना भाजपा के खिलाफ कोई भी गठबंधन कारगर नहीं होगा।

मौजूदा परिस्थिति में तीसरे मोर्चे की कोई गुंजाइश नहीं है। दीपंकर ने यह बातें बुधवार को बगोदर में दैनिक जागरण से खास बातचीत में कहीं। वे बगोदर में महेंद्र सिंह के शहादत दिवस पर आयोजित रैली में भाग लेने आए हैं।

गिरिडीह के बगोदर में माले की रैली में उमड़ा जनसैलाब।

कोडरमा लोकसभा सीट पर कहा है कि महागठबंधन में रहें या ना रहें माले इस सीट पर हर हाल में लड़ेगी और जीतेगी भी। कोडरमा में महागठबंधन के अंदर किसी दूसरी पार्टी का नाम उठना भी गठबंधन की विश्वसनीयता पर सवाल होगा। झाविमो प्रमुख बाबूलाल मरांडी की भाजपा के मामले में भूमिका को संदिग्ध बताया।

कहा कि 10 साल सांसद रहने के बाद उनका पिछले चुनाव में कोडरमा से पलायन करना आज भी रहस्य बना हुआ है। अपने गृह जिले में बाबूलाल दो-दो सीटों पर चुनाव हार गए। झाविमो चुनाव में और चुनाव के बाद भी भाजपा को मदद पहुंचाते रहा है। बगोदर विधानसभा सीट भी इसका उदाहरण है। जबकि माले ने मोदी लहर में भी कोडरमा में भाजपा को कांटे की टक्कर दी थी। माले के प्रत्याशी को करीब साढ़े तीन लाख वोट मिले थे।

दीपंकर ने बताया कि हेमंत सोरेन ने 17 के महागठबंधन की बैठक के लिए माले को भी न्योता दिया है। पार्टी के केंद्रीय कमेटी के सदस्य व पूर्व विधायक विनोद सिंह एवं राज्य सचिव जनार्दन प्रसाद को बैठक में भाग लेने के लिए अधिकृत किया गया है।

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